Meerut: हवा में लटका जुर्रानपुर पुल, रेल मंत्रालय ने मेरठ विकास प्राधिकरण से मांगा स्पष्टीकरण, मचा हड़कंप

Meerut News: मामला रेल मंत्री के दरबार में जाने के बाद रेलवे द्वारा इस मामले में मेरठ विकास प्राधिकरण से स्पष्टीकरण मांगने के बाद गंभीर हुए मेरठ विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष अभिषेक पांडेय ने प्रस्तावित रिंग रोड का निरीक्षण किया है।

Report :  Sushil Kumar
Update: 2023-12-08 14:05 GMT

हवा में लटका जुर्रानपुर पुल (Social Media)

Meerut News: उत्तर प्रदेश के मेरठ में हापुड़ रोड (Hapur Road) से दिल्ली रोड के लिए जुर्रानपुर रेलवे फाटक (Jurranpur Railway Gate) के पास रेलवे द्वारा पुल का निर्माण करीब 12 साल पहले शुरू हुआ था। जिस रिंग रोड के लिए वह बना था, वह प्रोजेक्ट हवा-हवाई ही रह गया। मगर, अब रेल मंत्रालय इस मामले में गंभीर है। मंत्रालय ने मेरठ विकास प्राधिकरण (Meerut Development Authority) से इस मामले में जवाब-तलब किया है। रेल मंत्रालय की इस कार्रवाई से प्राधिकरण में हड़कंप मचा है।

दरअसल, नवंबर-2011 में MDA की रिपोर्ट के आधार पर तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने जुर्रानपुर रेलवे ओवरब्रिज का शिलान्यास किया था। रेलवे की ओर से हवा में रेलवे लाइन के ऊपर पुल का निर्माण कर दिया गया। 2013 में बिना दोनों तरफ लिंक रोड के ही रेलवे ने पुल निर्माण कर अपना काम समाप्त कर दिया। तब से हवा में लटके पुल को लेकर लगातार सवाल उठ रहे हैं।

सांसद ने रेल मंत्री से किया निवेदन 

हाल ही में स्थानीय सांसद राजेंद्र अग्रवाल (MP Rajendra Agarwal) ने जुर्रानपुर रेलवे फाटक को लेकर केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव (Union Railway Minister Ashwini Vaishnav) से निवेदन किया था कि रेल मंत्रालय की ओर से मेरठ विकास प्राधिकरण से उसकी ढिलाई को लेकर जवाब मांगा जाए।

MDA ने सेतु निगम को जिम्मेदार बताया  

सूत्रों के अनुसार, समझौते के तहत रिंग रोड के लिए ओवर ब्रिज रेलवे द्वारा बनाया जाना है, जबकि उससे जोड़ने के लिए एप्रोच रोड व पूरी रिंग रोड मेरठ विकास मेरठ विकास प्राधिकरण को बनानी है। रेलवे ने तो पुल बना दिया लेकिन, मेरठ विकास प्राधिकरण जिसके द्वारा इसके दोनों ओर अप्रोच रोड तैयार कराई जानी है उसने अपना काम नहीं किया। मामले में एमडीए ने सेतु निगम को जिम्मेदार बताया। वहीं सेतु निगम ने एमडीए वीसी का 2011 का पत्र दिखाकर बता दिया है कि जमीन उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी एमडीए की है।

मामला अब रेल मंत्री के दरबार में

बहरहाल, मामला रेल मंत्री के दरबार में जाने के बाद रेलवे द्वारा इस मामले में मेरठ विकास प्राधिकरण से स्पष्टीकरण मांगने के बाद गंभीर हुए मेरठ विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष अभिषेक पांडेय ने प्रस्तावित रिंग रोड का निरीक्षण किया है। अभिषेक पांडेय के अनुसार, इस मामले में पूरी रिपोर्ट रेल मंत्रालय को भेजी जाएगी।

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