फतेहपुर: प्रदेश की सपा सरकार लोगों की सहुलियत के लिए मंगलवार को तहसील दिवस का आयोजन कराती है। जिसका उद्देश्य लोगों को उनकी समस्याओं से निजात दिलाना है, लेकिन यहां ऐसा नहीं हैं फरियादी हमेशा की तरह अपनी समस्या लेकर अधिकारियों के चक्कर लगाते हैं और अधिकारी मोबाइल में कभी बात करते तो कभी 'ये दोस्ती हम नहीं तोड़ेंगे' जैसे व्हाट्सएप ग्रुप में चैटिंग करने में व्यस्त रहे। इसका खामियाजा फरियादियों को भुगतना पड़ता है।
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क्या है मामला ?
-मामला फतेहपुर सदर तहसील दिवस का है।
-जिसका आयोजन मंगलवार को विकास भवन में किया गया था।
-जहां कुछ फरियादी अपनी समस्याओं को लेकर आए थे।
-लेकिन अधिकारी फरियादियों की समस्या में ध्यान ना देकर अपने मोबाईल पर व्यस्त दिखे।
-जिसमें ज्यादातर अधिकारी तो वाट्सअप चलाते रहे और कुछ पूरे टाईम मोबाईल पर बात करते रहे।
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रोते हुए तहसील दिवस से वापस लौट गए फरियादी
-इसका खामियाजा फरियादियों भुगतना पड़ा।
-फरियादी अपनी समस्याओं को जस के तस लेकर तहसील दिवस से वापस लौट गए।
-जिसमें कुछ फरियादी अपने आपको रोक तक नहीं पाए और रोज-रोज के अधिकारियों के दफ्तरों से तंग आकर रोने लगे।
-लेकिन इसका भी कोई खास असर अधिकारियों पर नहीं पड़ा।
अफसरों का नहीं है जूनियर पर कोई असर
-बता दें, कि जिले के आलाअधिकारी, डीएम और एसपी तक तहसील दिवस पर मौजूद रहे।
-लेकिन उसका भी कोई असर उनके जूनियरों पर नहीं दिखा।
-जब इस संबंध में अधिकारियों से बात करनी चाही तो उन्होंने वक्त का हवाला देकर किनारा काट लिया।