Mamata Yadav: शाहजहांपुर जिला पंचायत अध्यक्ष ममता यादव के बारें में जानें, ससुर-पति से सीखे राजनीति के गुण
शाहजहांपुर में सियासी घमासान के बाद सपा प्रत्याशी बीनू सिंह के नाम वापसी के बाद यहां भारतीय जनता पार्टी की महिला प्रत्याशी ममता यादव निर्विरोध चुनी गई हैं।
Shahjahanpur News: उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में सियासी घमासान के बाद जिला पंचायत अध्यक्ष की सीट भाजपा के खाते में आ गई है समाजवादी पार्टी प्रत्याशी बीनू सिंह के नाम वापसी के बाद यहां भारतीय जनता पार्टी की महिला प्रत्याशी ममता यादव निर्विरोध चुनी गई है शाहजहांपुर की जिला पंचायत अध्यक्ष की सीट भारतीय जनता पार्टी से इसी परिवार में पिछले कई वर्षों से रही है
आपको बता दें शाहजहांपुर में जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए भारतीय जनता पार्टी से ममता यादव और समाजवादी पार्टी से बीनू सिंह सहित केवल दो ही प्रत्याशी जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए चुनाव मैदान में थे । जिसमें से सपा प्रत्यासी बीनू सिंह के अचानक नाम वापस लेते ही इसके बाद सपा प्रत्याशी ने कैबिनेट मिनिस्टर सुरेश कुमार खन्ना की मौजूदगी में भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लिया था अब भाजपा की ममता यादव का निर्विरोध जिला पंचायत अध्यक्ष चुना गया है।
भाजपा की ममता यादव निर्विरोध जिला पंचायत अध्यक्ष चुनी गई
दरअसल जिला पंचायत अध्यक्ष पद पूरे बरेली मंडल के शाहजहांपुर में सामान्य महिला अनारक्षित था जिसके लिए भाजपा ने निवर्तमान भाजपा के जिला पंचायत अध्यक्ष अजय प्रताप सिंह की पत्नी ममता यादव को प्रत्याशी बनाया था वही समाजवादी पार्टी ने बीनू सिंह को मैदान में उतारा था लेकिन बीनू सिंह ने अचानक भाजपा का दामन थाम लिया और अपना नाम वापस ले लिया जिसके बाद ममता यादव निर्विरोध जिला पंचायत अध्यक्ष चुनी गई।
परिवार से तीसरा सदस्य जिला पंचायत अध्यक्ष
ममता यादव नियामतपुर गांव की रहने वाली हैं। उन्होंने स्नातक तक शिक्षा ग्रहण की है। भाजपा की जिला पंचायत अध्यक्ष की प्रत्याशी ममता यादव की जीत के बाद उनके परिवार से तीसरा सदस्य जिला पंचायत अध्यक्ष बनेगा। ममता यादव के ससुर वीरेंद्र पाल सिंह यादव 2000 में जिला पंचायत अध्यक्ष बने थे तब सीट पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित थी। 2015 में सामान्य सीट पर ममता यादव के पति अजय प्रताप सिंह यादव जिला पंचायत अध्यक्ष निर्वाचित हुए थे। इस बार सीट महिला के लिए आरक्षित होने के कारण ममता यादव को भावलखेड़ा प्रथम से जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ाया गया था। वह निर्विरोध जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए चुनी गई हैं।
कैबिनेट मिनिस्टर सुरेश कुमार खन्ना के बेहद करीबी माने जाने वाले वीरेंद्र पाल सिंह यादव के परिवार में एक बार फिर से जिला पंचायत अध्यक्ष की सीट आ गई है पहले उनके बेटे अजय प्रताप सिंह यादव भाजपा से जिला पंचायत अध्यक्ष रहे हैं ममता यादव के ससुर वीरेंद्र पाल सिंह यादव भी भाजपा से जिला पंचायत अध्यक्ष रहे हैं। वहीं ममता यादव की सास लज्जावती दो बार जिला पंचायत सदस्य तथा तीन बार ग्राम प्रधान रह चुकी हैं वर्तमान में ममता यादव के देवर अभय यादव ग्राम प्रधान हैं ममता यादव के पति 2016 में जिला पंचायत अध्यक्ष बने थे उत्तर प्रदेश के सबसे कम उम्र के जिला पंचायत अध्यक्ष बने थे ममता यादव राजनीति में लंबे समय से सक्रिय हैं 2007 से लगातार तीन बार वह नियामतपुर गांव के प्रधान रही हैं।
भाजपा के दिग्गजों ने इस सीट पर कब्जा किया
दरअसल, 47 सदस्यीय शाहजहांपुर जिला पंचायत बोर्ड में भाजपा के पास 12 सदस्य हैं और ममता यादव को भाजपा से प्रत्याशी बनाया गया था वहीं सपा के पास 7 सदस्य हैं और उन्होंने बीनू सिंह को मैदान में उतारा था जिला पंचायत अध्यक्ष बनने के लिए 24 सीट पाले में होना आवश्यक था बसपा 8, कांग्रेस 2, महान दल 1, आम आदमी पार्टी 1, जेडीयू 1 तथा निर्दलीय 15 सदस्य निर्वाचित हुए थे कुल मिलाकर दोनों प्रत्याशियों में कांटे की टक्कर थी और दोनों ही प्रत्याशी अपनी जीत का दावा ठोक रहे थे नाम वापसी के दिन अचानक भारतीय जनता पार्टी के कैबिनेट मिनिस्टर सुरेश कुमार खन्ना की मौजूदगी में सपा प्रत्याशी बीनू सिंह ने भाजपा का दामन थाम लिया और नाम वापसी कर ली जिसके बाद ममता यादव निर्विरोध जिला पंचायत अध्यक्ष चुनी गई