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मोटापा कम होगाः न जिम, न एक्सरसाइज, न करें कम डाइट

आज के समय में सब बढ़ते वजन से परेशा है। कोरोना और लॉकडाउन के चलते  लोगों का वजन और बढ़ रहा है। लोग खान पान के हिसाब से वर्कआउट नहीं कर पा रही है। इसलिए बिना घर से बाहर निकले वजन घटाना चाहते हैं तो  रोज रस्सी कूदने का अभ्यास करें।

Suman  Mishra | Astrologer
Published on: 7 July 2020 2:39 PM GMT
मोटापा कम होगाः न जिम, न एक्सरसाइज, न करें कम डाइट
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लखनऊ आज के समय में सब बढ़ते वजन से परेशान है। कोरोना और लॉकडाउन के चलते लोगों का वजन और बढ़ रहा है। लोग खान पान के हिसाब से वर्कआउट नहीं कर पा रही है। इसलिए बिना घर से बाहर निकले वजन घटाना चाहते हैं तो रोज रस्सी कूदने का अभ्यास करें। अगर एक्सराइज आदि के लिए समय नहीं निकाल पा रहे हैं तो बचपन में खेले जाने वाला रस्सी कूद यानी स्किपिंग का खेल बेहद कम समय में ही फिट और स्लिम बना देगा।

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वजन कम होगा

रोजाना केवल 10 से 15 मिनट रस्सी कूदकर अपना वजन घटा सकती हैं। स्किपिंग यानी रस्सी कूदना एक बेहतरीन ऐरोबिक एक्सरसाइज है। इससे पूरे शरीर की एक्सरसाइज होती है। 10 मिनट तक लगातार रस्सी कूदकर आप 100 कैलोरी बर्न कर सकती हैं। लेकिन रस्सी कूद यानी स्किपिंग एक शॉर्ट ड्यूरेशन एक्सरसाइज है यानी इसे ज़्यादा से ज़्यादा २० मिनट तक ही करना चाहिए। ध्यान दें रस्सी कूदना एक खेल है। इसे करने के लिए हाथों और पैरों के बीच समन्वय बैठाने की आवश्यकता होती है। इसके लिए आपके बांहों और पैरों के बीच ट्यूनिंग होना जरूरी है।

फायदा

*जिस प्रकार एक्सरसाइज करने का निश्चित समय होता है, उसी तरह रस्सी कूदने का भी उचित समय सुबह है। इससे पूरे शरीर में रक्त संचार बेहतर हो सकता है। इसके अलावा शाम को भी रस्सी कूद सकते हैं। ये दोनों ही समय रस्सी कूदने के लिए बेहतर होते हैं।

*अगर आपने पहले कभी रस्सी नहीं कूदा है तो शुरुआत कम गिनती से करें। एक दिन में 50 बार रस्सी कूदने से शुरु करें। कुछ दिन के बाद जब यह आपके लिए आसान हो जाये तो 75-100 बार रस्सी कूदें। धीरे-धीरे एक दिन में 300 बार तक रस्सी कूद सकते हैं। कुछ बातें ध्यान में रखें कि रस्सी कूदते समय जब सांस फूलने लगे तो रस्सी कूदना बंद कर दें।

*दोनों पैरों को एकसाथ उठाकर रस्सी कूदना आसान और आम है। जो लोग पहली बार रस्सी कूदने के बारे में सोच रहे हैं, वो इस तरीके से शुरुआत कर सकते हैं। एक पैर से कूदा जाता है, जिससे लिए पूरे का शरीर संतुलन बनाना जरूरी होता है। अगर किसी ने रस्सी कूदना शुरू ही किया है, तो इसे न करे।

*इस तरह के रस्सी कूद में कूदने वाला अपने हाथों को सामने की तरफ क्रॉस कर लेता है। कई बार इस तरीके को करते समय रस्सी के पैरों में फंसकर गिरने का डर रहता है। इसलिए, यह तरीका सिर्फ अनुभवी लोग ही कर सकते हैं।

*सही समय और नियम से रस्सी कूदना हर किसी के लिए लाभदायक हो सकता है। आप अपने पूरे शरीर को कम समय में चुस्त दुरुस्त रखना चाहते हैं तो रस्सी कूदिये। रस्सी कूदने से हाथों, पैरों के शरीर के अन्ये अंगों का भी एक्सरसाइज हो जाता है और पूरा शरीर ऊर्जावान बन जाता है।

*रस्सी कूदने से दिल भी स्वस्थ रहता है। इसके कारण दिल तेजी से धड़कता है जिसके फलस्वरूप आक्सीजन अधिक मात्रा में फेफड़ों में जाती हैं व पूरे शरीर में रक्त का संचार तीव्र गति से होता है। इससे शरीर का तनाव कम होता है और शरीर के सभी अंग अधिक कार्यक्षमता से कार्य करते हैं।

*अगर कम हाइट से परेशान हैं और अपनी हाइट बढ़ाने के लिए कोई अभ्यास की तलाश कर रहे हैं तो रस्सी कूदना आपके लिए बहुत ही फायदेमंद हो सकता है।

*रस्सी कूदने से आपकी हाइट जल्दी बढ़ेगी। यह आपकी हड्डी और मांसपेशियों के विकास में मदद करता है।

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नुकसान

रस्सी कूदने के फायदे जोड़ों के लिए भी हो सकते हैं। नियमित रूप से रस्सी कूदने पर टखने, घुटने, कूल्हे और कंधों के जोड़ों की गतिविधि में तेजी आती है। इसका सकारात्मक असर जोड़ों पर दिखाई दे सकता है और उनमें सुधार हो सकता है। इस संबंध में और शोध की आवश्यकता है। ऐसे में उन अवस्थाओं में रस्सी नहीं कूदनी चाहिए। ये स्थितियों कुछ इस प्रकार हो सकती हैं ...

*जो लोग दिल से जुड़ी किसी भी तरह की बीमारी से जूझ रहे हैं, उन्हें रस्सी नहीं कूदनी चाहिए। अगर किसी की सर्जरी हुई है, जो पूरी तरह से ठीक नहीं हुई है, तो रस्सी कूदने से बचना चाहिए।

*उच्च रक्तचाप वालों को रस्सी नहीं कूदनी चाहिए। अगर वो फिर भी ऐसा करना ही चाहते हैं, तो पहले एक बार डॉक्टर से सलाह जरूर लें।

*रस्सी कूदने के लिए स्पोर्ट्स ब्रा पहनें, क्योंकि स्किपिंग से स्तन ऊपर नीचे अधिक हिलते है। इससे स्तन की मांसपेशियों में अधिक खिंचाव आ सकता है और हो सकता है आपके स्तन शिथिल भी हो जाएंगे।

*कई शोध में दावा है कि नंगे पैर यानि बिना जूते चप्पल के रस्सी कूदना बेहतर है क्योंकि यह आपके पैरों को मजबूत बनाता है। यह पैरों से संबंधित कई समस्याओं को ठीक करने में भी मदद करता है।

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Suman  Mishra | Astrologer

Suman Mishra | Astrologer

एस्ट्रोलॉजी एडिटर

मैं वर्तमान में न्यूजट्रैक और अपना भारत के लिए कंटेट राइटिंग कर रही हूं। इससे पहले मैने रांची, झारखंड में प्रिंट और इलेक्ट्रानिक मीडिया में रिपोर्टिंग और फीचर राइटिंग किया है और ईटीवी में 5 वर्षों का डेस्क पर काम करने का अनुभव है। मैं पत्रकारिता और ज्योतिष विज्ञान में खास रुचि रखती हूं। मेरे नाना जी पंडित ललन त्रिपाठी एक प्रकांड विद्वान थे उनके सानिध्य में मुझे कर्मकांड और ज्योतिष हस्त रेखा का ज्ञान मिला और मैने इस क्षेत्र में विशेषज्ञता के लिए पढाई कर डिग्री भी ली है Author Experience- 2007 से अब तक( 17 साल) Author Education – 1. बनस्थली विद्यापीठ और विद्यापीठ से संस्कृत ज्योतिष विज्ञान में डिग्री 2. रांची विश्वविद्यालय से पत्राकरिता में जर्नलिज्म एंड मास कक्मयूनिकेश 3. विनोबा भावे विश्व विदयालय से राजनीतिक विज्ञान में स्नातक की डिग्री

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