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दिल्ली में LG और केजरीवाल फिर आमने-सामने, इस फैसले पर छिड़ी जंग

एलजी अनिल बैजल ने सीएम केजरीवाल के फैसले पर रोक लगा दी। इसपर अब सीएम केजरीवाल ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि एलजी ने लोगों की परेशानी बढ़ा दी है।

Shivani Awasthi
Published on: 8 Jun 2020 5:41 PM GMT
दिल्ली में LG और केजरीवाल फिर आमने-सामने, इस फैसले पर छिड़ी जंग
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नई दिल्ली: कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों में दिल्ली के लोगों के बेहतर इलाज के लिए मुख्यमन्त्री अरविदं केजरीवाल ने बड़ा फैसला लिया था, जिसके तहत राजधानी के सरकारी और निजी अस्पतालों में सिर्फ दिल्ली के निवासियों का ही इलाज होता लेकिन एलजी अनिल बैजल ने सीएम केजरीवाल के इस फैसले पर रोक लगा दी। इसपर अब सीएम केजरीवाल ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि एलजी ने दिल्ली के लोगों की परेशानी बढ़ा दी है।

केजरीवाल की एलजी के फैसले पर प्रतिक्रिया

मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने अस्पतालों में सिर्फ दिल्ली निवासियों के इलाज के फैसले पर एलजी के रोक लगाने को लेकर ट्वीट कर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने ट्वीट पर लिखा, 'LG साहिब के आदेश ने दिल्ली के लोगों के लिए बहुत बड़ी समस्या और चुनौती पैदा कर दी है। देशभर से आने वाले लोगों के लिए कोरोना महामारी के दौरान इलाज का इंतज़ाम करना बड़ी चुनौती है। शायद भगवान की मर्ज़ी है कि हम पूरे देश के लोगों की सेवा करें। हम सबके इलाज का इंतज़ाम करने की कोशिश करेंगे।'



डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने दी प्रतिक्रिया

वहीं डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने भी अपनी प्रतिक्रिया देते हुए ट्वीट किया, 'बीजेपी की राज्य सरकारें PPE किट घोटालों और वेंटिलेटर घोटालों में व्यस्त हैं। दिल्ली सरकार सोच समझकर, ईमानदारी से इस डिज़ास्टर को मैनेज करने की कोशिश कर रही है। यह बीजेपी से देखा नहीं जा रहा इसलिए LG पर दबाव डालकर घटिया राजनीति की है।'

क्या है मामला :

बता दें कि केजरीवाल ने रविवार ने फैसला लिया था, जिसके मुताबिक दिल्ली सरकार के अस्पतालों और प्राइवेट अस्पतालों में केवल दिल्ली के निवासियों का इलाज होगा। जबकि दिल्ली में स्थित केंद्र सरकार के अस्पतालों में सभी का इलाज होगा। कोरोना के बढ़ते मामलों के मद्देनजर दिल्ली कैबिनेट ने यह निर्णय लिया।

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वहीं इसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने नियम भी बनाये थे। नियमानुसार, इलाज के लिए अस्पताल में आईडी प्रूफ देना होता। जिससे ये साबित हो सके कि मरीज दिल्ली निवासी ही है। आईडी प्रूफ में वोटर कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट, आधार कार्ड, बिजली-पानी या फोन का बिल, राशन कार्ड आदि में से कुछ भी दिखा कर इलाज कराया जा सकता था।

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