×

TRENDING TAGS :

Aaj Ka Rashifal

बंगाल चुनाव: BJP में शामिल होंगे शुभेंदु अधिकारी, मिली Z सिक्युरिटी

तृणमूल से शुभेंदु अधिकारी विधायक के पद से इस्तीफा दे देंगे। इसी के साथ तृणमूल व मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ 20 वर्षों का साथ खत्म हो जाएगा।

Newstrack
Published on: 15 Dec 2020 4:59 PM IST
बंगाल चुनाव: BJP में शामिल होंगे शुभेंदु अधिकारी, मिली Z सिक्युरिटी
X
बीजेपी नेता के इस आरोप पर प्रतिक्रिया देते हुए, बंगाल के उप संसदीय मामलों के मंत्री तापस रॉय ने कहा है कि शुभेंदु अधिकारी गलत आरोप लगा रहे हैं।

कोलकाता: पश्चिम बंगाल की राजनीति में आजकल भूचाल आया हुआ है। भारतीय जनता पार्टी का ममता सरकार पर लगातार सियासी हमला हो रहा है। इस बीच तृणमूल के बागी कद्दावर नेता व विधायक शुभेंदु अधिकारी शनिवार(19 दिसंबर) को केंद्रीय गृहमंत्री व कद्दावर नेता अमित शाह की मौजूदगी में भाजपा का झंडा थाम सकते हैं। अमित शाह शुभेंदु के गढ़ मेदिनीपुर पहुंच रहे हैं।

20 वर्षों का साथ हो जायेगा खत्म

तृणमूल से शुभेंदु विधायक के पद से इस्तीफा दे देंगे। इसी के साथ तृणमूल व मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ 20 वर्षों का साथ खत्म हो जाएगा। अधिकारी के भाजपा में शामिल होने की खबर को इस बात से भी बल मिल रहा है कि केंद्र सरकार ने उन्हें तीन दिन पहले सोमवार को ही जेड श्रेणी की सुरक्षा देने का निर्णय ले लिया।

Shubhendu Adhikari with bjp-3

राज्य सरकार की ओर से मिली सुरक्षा लौटा चुके हैं शुभेंदु

यहां बताना आवश्यक है कि रविवार को एक गैर राजनीतिक सभा से तृणमूल व ममता पर नाम लिए बिना निशाना साधा था। उन्होंने कहा कि नंदीग्राम आंदोलन किसी व्यक्ति का नहीं था, यह लोगों का था। उन्होंने कहा कि आज भी उन्हें किसी पद के लिए कोई लालच नहीं है। दरअसल, पिछले माह शुभेंदु ने मंत्री पद से इस्तीफा देने से पहले उन्होंने राज्य सरकार की ओर से मिली सुरक्षा लौटा दी थी।

ये भी देखें: दिल्ली आंदोलन से लौट रहे पंजाब के 4 किसानों की अलग -अलग सड़क हादसों में मौत

तृणमूल नेतृत्व ने उन्हें मनाने की पूरी कोशिश की लेकिन बात नहीं बनी। इस बीच शुभेंदु के करीबी स्थानीय नेताओं व कार्यकर्ताओं को तृणमूल ने पार्टी से निकालना शुरू कर दिया है। इसके बाद ही माने जाने लगा कि शुभेंदु के तृणमूल को छोड़ने की सिर्फ घोषणा ही बाकी है।

2007 के नंदीग्राम आंदोलन में थे पोस्टर ब्वॉय

बताते चलें कि 2006 में तृणमूल के टिकट पर कांथी दक्षिण विधानसभा सीट से पहली बार विधायक निर्वाचित हुए। 2007 के नंदीग्राम आंदोलन में शुभेंदु पोस्टर ब्वॉय बन गए। इसके बाद 2009 में तमलुक से सांसद निर्वाचित हुए। इसके बाद वह 2014 में पुनः सांसद निर्वाचित हुए।

Shubhendu Adhikari with bjp-2

ये भी देखें: फिर शाहीन बाग प्रदर्शन: जल्द शुरू होगा आंदोलन, पुलिस ने बढ़ाई सुरक्षा

शुभेंदु अधिकारी का पार्टी छोड़ने का कारण

हालांकि 2016 में नंदीग्राम से विधायक चुने जाने के बाद उन्होंने सांसद पद छोड़ दिया और बंगाल के परिवहन मंत्री बने। उनका राजनीतिक करियर का ग्राफ लगातार बढ़ता जा रहा था। परंतु, 2019 में लोकसभा चुनाव में भाजपा को जबर्दस्त जीत मिलने और चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर की नियुक्ति के बाद पार्टी में जैसे ही ममता के सांसद भतीजे अभिषेक बनर्जी का कद बढ़ा वह क्षुब्ध हो गए और उसी का नतीजा है कि अब वह तृणमूल को अलविदा कहने जा रहे हैं। उनके भाई दिव्येंदु अधिकारी तमुलक और पिता शिशिर अधिकारी कांथी से तृणमूल के सांसद हैं।

दोस्तों देश दुनिया की और खबरों को तेजी से जानने के लिए बनें रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलों करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।



\
Newstrack

Newstrack

Next Story