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नोटों का बदला लुक: हो रहा था घाटा, डिजाइन चेंज करने का बताया कारण

देश में नोटबंदी हुए 3 साल बीत चुके हैं। इन सालों में केंद्र सरकार और रिजर्व बैंक ने प्रचलन में चल रहे सभी नोटों का लुक बदल दिया है। 2016 के बाद से जो नोट छप रहे हैं वे पहले की तुलना में छोटे हो गए हैं।

Vidushi Mishra
Published on: 8 Nov 2019 12:41 PM IST
नोटों का बदला लुक: हो रहा था घाटा, डिजाइन चेंज करने का बताया कारण
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नई दिल्ली : देश में नोटबंदी हुए 3 साल बीत चुके हैं। इन सालों में केंद्र सरकार और रिजर्व बैंक ने प्रचलन में चल रहे सभी नोटों का लुक बदल दिया है। 2016 के बाद से जो नोट छप रहे हैं वे पहले की तुलना में छोटे हो गए हैं। रिजर्व बैंक ने कहा कि नए नोटों का साइज इंटरनेशनल लेवल की तर्ज पर किया गया है। अब के नोट पहले की अपेक्षा बहुत रंग-बिरंगे हो गए हैं।

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नोटों में किया ये बदलाव

केंद्र सरकार ने नोटबंदी के समय पुराने 500 और 1000 के नोट बदलकर 2000 और 500 रुपये का नया नोट जारी किया था। इन नए नोटों का आकार पहले चल रहे नोटों की तुलना में बहुत कम था। सभी नोटों में एक खास बात यह देखने को मिली, कि इनकी चौड़ाई तो एक समान है, लेकिन लंबाई में मूल्य के हिसाब से अंतर रखा गया है। इसके अलावा भारतीय रिजर्व बैंक ने 200 रुपये का नया नोट जारी किया।

बात करें अगर 2000 के नोट की तो ये सबसे ज्यादा लंबा है वहीं 10 रुपये के नए नोट की लंबाई सबसे ज्यादा छोटी है। रिजर्व बैंक और केंद्र सरकार ने 2000 और 500 के नोट बंद किए, लेकिन पहले से चल रहे 100, 50, 20 और 10 रुपये के नोट को बंद नहीं किया। यह नोट अभी भी पहले की तरह चल रहे हैं। इनमें नए नोट डिजाइन किए गए हैं।

नोटों की जानकारी

नए 2000 रुपये के नोट के पिछले भाग पर मंगलयान की तस्वीर छापी गयी है। विशेष तौर पर इसे भारत के मार्स मिशन के नाम से जाना जाता है।

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इसी के साथ 500 रुपये की नई नोट पर भारत के सबसे प्रचलित स्मारक लाल किले की तस्वीर छापी गयी है। प्रत्येक वर्ष गणतंत्र दिवस और स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर भारत के प्रधानमंत्री लाल किले पर ध्वज फहराते हैं और देश की जनता को संबोधित करते हैं।

बात करें अगर 200 रुपये के नोट के पीछे छपा सांची स्तूप मध्यप्रदेश के विदिशा जिले में स्थित है। जिसका निर्माण महान सम्राट अशोक के कार्यकाल में हुआ था। सांची का स्तूप भारत की सबसे प्राचीन संरचनाओं में से एक है।

इसके साथ ही 50 रुपये के नोट के पीछे हंपी मंदिर का चित्र बना है। ये मंदिर कर्नाटक की तुंगभद्रा नदी के किनारे स्थित है। हंपी मंदिर पत्थर से बना रथ वास्तुकला का अद्भुत नमूना है, जो रथ के आकार में है।

फिर 10 रुपये के नए नोट पर 13 वी शताब्दी में निर्मित भगवान सूर्य का चक्र के साथ 24 पहियों वाले रथ पर सवार सात घोड़ों का चित्र छपा है। जिसे सूर्य मंदिर के नाम से जाना जाता है और यह ओडिशा के कोणार्क में स्थित है।

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10, 50, 100, 200, 500 और 2000 रुपये

आठ नवंबर 2016 को नोटबंदी के बाद 20 रुपये का नया नोट इसी साल अगस्त में जारी किया गया था। ये सातवीं नई करेंसी है। अब तक 10, 50, 100, 200, 500 और 2000 रुपये के नए नोट जारी किए जा चुके हैं। रिजर्व बैंक के आंकड़ों के मुताबिक 31 मार्च, 2016 तक देश में 20 रुपये के 492 करोड़ नोट चलन में थे। मार्च 2018 में इनकी संख्या बढ़कर 1000 करोड़ हो गई। तब देश के कुल नोटों में 20 रुपये के नोट 9.8 फीसदी थे।

10 रुपये पर 70 पैसे की लागत

रिजर्व बैंक (आरबीआई) से मिली जानकारी के मुताबिक, 10 रुपये के एक नोट की छपाई में 70 पैसे खर्च होते हैं, जबकि 2,000 रुपये का एक नोट 4.18 रुपये में छपता है। लेकिन दोनों नोटों के मूल्य में भारी फर्क है। नोटों की छपाई वाले कागजों की कीमतों में लगातार इजाफा हो रहा है।

40 पैसे में पहले 10 रुपये मूल्य का नोट छपता था, जो अब 70 पैसे में छपता है। इस कारण भी छोटे नोटों की छपाई का खर्च बड़े नोटों की छपाई के मुकाबले बढ़ रहा है।

सरकार ने एक, दो और पांच रुपये के नोट समय रहते इसलिए बंद कर दिए थे क्योंकि उनके छपाई का खर्च लगातार बढ़ रहा था। एक समय ऐसा भी आया, जब एक रुपये के नोट की छपाई उसके मूल्य से ज्यादा हो गई।

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Vidushi Mishra

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