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कोरोना संकट: मोदी सरकार के काम पर कांग्रेस में मतभेद, चौधरी ने बांधे तारीफों के पुल

कोरोना वायरस के संकट से निपटने के तरीकों को लेकर कांग्रेस में साफ तौर पर मतभेद दिख रहा है। एक ओर जहां पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सरकार की घेरेबंदी में लगे हुए हैं।

Vidushi Mishra
Published on: 27 April 2020 1:07 PM GMT
कोरोना संकट: मोदी सरकार के काम पर कांग्रेस में मतभेद, चौधरी ने बांधे तारीफों के पुल
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कोरोना संकट: मोदी सरकार के काम पर कांग्रेस में मतभेद, चौधरी ने बांधे तारीफों के पुल

नई दिल्ली। कोरोना वायरस के संकट से निपटने के तरीकों को लेकर कांग्रेस में साफ तौर पर मतभेद दिख रहा है। एक ओर जहां पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सरकार की घेरेबंदी में लगे हुए हैं तो वहीं पार्टी के वरिष्ठ नेता और लोकसभा में नेता विपक्ष अधीर रंजन चौधरी मोदी सरकार के कामकाज से पूरी तरह संतुष्ट हैं। चौधरी ने तो एक कदम और आगे बढ़ते हुए यहां तक कह दिया है कि आने वाले दिनों में भारत दुनिया में एक मॉडल के रूप में उभर सकता है।

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कोरोना संकट में सरकार का काम अच्छा

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता चौधरी ने मोदी सरकार की तारीफ करते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने कोरोना से जंग के दिनों में अच्छा काम करके दिखाया है।

उन्होंने कहा कि केंद्र के साथ ही राज्य सरकारों और डॉक्टरों की भूमिका की भी सराहना की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि जब हम कोरोना संकट के मामले में अमेरिका और यूरोप की ओर देखते हैं तब साफ हो जाता है कि हम इस संकट से निपटने में उनसे बहुत आगे हैं।

दुनिया के लिए मॉडल बन सकता है भारत

चौधरी ने कहा कि यदि कोरोना को हराने के लिए हम ऐसे ही ठोस कदम उठाते रहे तो आने वाले दिनों में भारत दुनिया के सामने एक मॉडल के रूप में उभर सकता है। उन्होंने कहा कि कोरोना के खिलाफ जंग में अभी तक हम दुनिया के अन्य देशों से आगे दिख रहे हैं।

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आयात से जुड़े दस्तावेज सार्वजनिक किए जाएं

उधर कांग्रेस के प्रवक्ता मनीष तिवारी ने कोरोना वायरस की जांच के लिए आयात की गई किट को लेकर मोदी सरकार की घेरेबंदी की है।

उन्होंने कहा कि जांच किट्स के आयात से जुड़े सभी दस्तावेज सार्वजनिक किए जाने चाहिए। इन दस्तावेजों के सार्वजनिक होने से ही देश के लोगों को पता चल सकेगा कि कौन लोग संकट के दिनों में भी ऐसी गतिविधियों में शामिल हैं।

कांग्रेस प्रवक्ता ने वीडियो लिंक के जरिए संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि एक कंपनी को चीन से पांच लाख जांच किट खरीदने का ठेका दिया गया। आईसीएमआर के कहने पर ही यह ठेका दिया गया। चीन से आयात की गई जांच किट की कीमत 245 रुपए प्रति किट बनती है जबकि 600 रुपए प्रति किट की दर से इसमें भारी मुनाफा कमाया गया।

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राहुल ने भी सौदे पर उठाए सवाल

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने भी जांच किटों के आयात में मुनाफाखोरी का मुद्दा उठाते हुए कहा कि पीएम मोदी को संकट के इन दिनों में भी मुनाफाखोरी करने वाले ऐसे लोगों पर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए।

उन्होंने खबर का हवाला देते हुए ट्वीट किया कि जब समूचा देश कोविड-19 आपदा से लड़ रहा है तब भी कुछ लोग अनुचित मुनाफा कमाने से नहीं चूकते। इस भ्रष्ट मानसिकता पर शर्म आती है, घिन आती है। उन्होंने ऐसे लोगों पर कार्रवाई की मांग करते हुए कहा कि देश ऐसे लोगों को कभी माफ नहीं करेगा।

145 फीसदी मुनाफाखोरी का आरोप

कांग्रेस अध्यक्ष ने जिस खबर का हवाला दिया है उसके मुताबिक आईसीएमआर को भेजी गई चीन से आयातित रैपिड टेस्ट किट में भारी मुनाफा कमाया गया है।

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इस खबर में कहा गया है कि इस सौदेबाजी में करीब 145 फ़ीसदी की भारी मुनाफाखोरी की गई है। इस किट की भारत में आयात लागत सिर्फ 245 रुपए ही है मगर इससे आईसीएमआर को 600 रुपए प्रति किट बेचा गया है।

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी द्वारा इस मुद्दे को उठाने के बाद यह मामला गरमाने लगा है। अभी तक सरकार की ओर से इस मुद्दे पर कोई जवाब नहीं दिया गया है।

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