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फिर हाथी की मौत से दुखी हुआ पूरा देश, हादसे ने ले ली जान

पश्चिम बंगाल में हुई इस घटना की जानकारी देते हुए वन अधिकारियों ने कहा कि हाथी के बच्चे की मौत के बाद गांव वालों ने उनके झुंड को वापस जंगल की ओर खदेड़ दिया।

SK Gautam
Published on: 24 Jun 2020 12:10 PM GMT
फिर हाथी की मौत से दुखी हुआ पूरा देश, हादसे ने ले ली जान
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नई दिल्ली: खाने की तलाश में जंगल से गांव और शहर की तरफ आये हाथियों के झुण्ड के एक नवजात बच्चे की मौत हो गई। ये घटना पश्चिम बंगाल के एक गांव में हुई है। वन अधिकारियों ने जानकारी दी कि पश्चिम बंगाल के अलीपुरद्वार जिले के जलदापारा नेशनल पार्क (Jaldapara National Park) से सटे एक गांव में हाथियों के झुंड ने हमला किया था। इस हमले में हाथी के बच्चे की मौत करंट लगने से हुई है।

बिजली का तार हाथी के बच्चे पर गिरा

बता दें कि पुरबा मदारीहाट गांव में बुधवार सुबह हुई इस घटना में एक पेड़ बिजली के तार पर गिर गया। बिजली का तार हाथी के बच्चे् पर गिरा और वह उसकी चपेट में आ गया जिसके कारण हाथी के बच्चे की तुरंत मौत हो गई। पश्चिम बंगाल में हुई इस घटना की जानकारी देते हुए वन अधिकारियों ने कहा कि हाथी के बच्चे की मौत के बाद गांव वालों ने उनके झुंड को वापस जंगल की ओर खदेड़ दिया।

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करीब तीन महीने का बच्चा और उसकी मां कुएं में गिर गए थे

हालांकि इस घटना में और हाथियों व लोगों की मौत होने से बच गई। बता दें कि इसके पहले एक घटना में पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी के पास सलुगड़ा में एक कुंए से हाथी के बच्चे और उसकी मां को बचाया गया था। वन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया था कि हाथी का करीब तीन महीने का बच्चा और उसकी मां बेकार पड़े कुएं में रविवार देर रात गिर गए थे, जो बंगाल सफारी के पास स्थित सेना के शिविर के नजदीक है।

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झुंड से बिछड़ गए हथिनी और उसका बच्चा

अधिकारी ने बताया था कि उन्हें सुखमा, मल और गोरुमारा के वन कर्मियों ने घंटों की मशक्कत के बाद रविवार-सोमवार की रात करीब तीन बजे कुंए में से सुरक्षित निकाल लिया। पशु शायद अपने झुंड से बिछड़ गए होंगे और अंधेरे की वजह से कुंए में गिर गए होंगे। हथिनी मौके से चली गई और वापस नहीं आई जबकि उसके बच्चे को गोरुमारा अभयारण्य वन लाया गया था।

SK Gautam

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