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हंगामेदार होगा संसद का मानसून सत्र, एलएसी सहित इन मुद्दों पर घेरेगा विपक्ष

संसद का मानसून सत्र सोमवार से शुरू होने वाला है इसके लिए रविवार देर शाम तक तैयारियों को अंतिम रूप दिया गया। मानसून सत्र के दौरान विपक्ष ने सरकार को घेरने की पूरी तैयारी कर ली है।

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Published on: 13 Sept 2020 9:07 PM IST
हंगामेदार होगा संसद का मानसून सत्र, एलएसी सहित इन मुद्दों पर घेरेगा विपक्ष
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हंगामेदार होगा संसद का मानसून सत्र, एलएसी सहित इन मुद्दों पर घेरेगा विपक्ष

अंशुमान तिवारी

नई दिल्ली: संसद का मानसून सत्र सोमवार से शुरू होने वाला है इसके लिए रविवार देर शाम तक तैयारियों को अंतिम रूप दिया गया। मानसून सत्र के दौरान विपक्ष ने सरकार को घेरने की पूरी तैयारी कर ली है। विपक्ष एलएसी पर भारत और चीन के बीच बढ़ते तनाव, आर्थिक सुस्ती और कोरोना संकट काल में बढ़ती बेरोजगारी जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों को उठाने की तैयारी में है। विपक्ष की तैयारियों को देखते हुए मानसून सत्र के दौरान हंगामे के आसार दिख रहे हैं। कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों ने मानसून सत्र के दौरान सरकार की ओर से लाए जाने वाले 11 विधायकों में से चार का विरोध करने की रणनीति तैयार की है।

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विपक्ष ने की इन मुद्दों पर चर्चा की मांग

मानसून सत्र सत्र से पहले हुई कार्यमंत्रणा समिति की बैठक में विपक्ष ने एलएसी पर भारत और चीन के बीच पैदा हुए गतिरोध, बढ़ती बेरोजगारी और आर्थिक मंदी जैसे मुद्दों पर चर्चा कराने की मांग की। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला की अध्यक्षता में हुई इस बैठक से साफ हो गया कि विपक्ष मानसून सत्र के दौरान इन मुद्दों को जोर-शोर से उठाएगा। द्रमुक नेता टीआर बालू ने बताया कि उन्होंने जीएसटी में राज्यों को उचित हिस्सा न मिलने और क्रीमी लेयर संशोधित करने जैसे मुद्दों पर चर्चा कराने की मांग की है।

बैठक के बाद लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला कहा कि सभी दलों ने सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से संचालित करने में मदद करने का आश्वासन दिया है मगर विपक्ष के तेवर देखते हुए यह तय माना जा रहा है कि संसद का मानसून सत्र हंगामेदार होगा।

सरकार हर मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार

बैठक के बाद संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने कहा कि सरकार हर महत्वपूर्ण मुद्दे पर चर्चा करने के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि विपक्षी दलों को यह नहीं सोचना चाहिए कि सरकार चर्चा से भाग रही है। बैठक में जोशी के अलावा केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल और मुरलीधरन ने भी हिस्सा लिया। संसदीय कार्य मंत्री ने कहा कि बैठक सौहार्दपूर्ण माहौल में हुई।

उन्होंने बताया कि संसद सत्र का एजेंडा पर चर्चा करने के लिए मंगलवार को फिर सभी दलों की बैठक की जाएगी। उन्होंने उम्मीद जताई कि विपक्ष के सहयोग से सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से चलेगी।

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छाया रहेगा एलएसी पर तनाव का मुद्दा

मानसून सत्र के दौरान भारत और चीन के बीच बढ़ते गतिरोध का मुद्दा छाए रहने की संभावना है। यह पूछे जाने पर कि क्या सरकार भारत और चीन के बीच सैन्य विवाद के मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार है, संसदीय कार्य मंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा और देश के रणनीतिक हितों को ध्यान में रखते हुए ही इस बाबत कोई भी फैसला लिया जाएगा।

सूत्रों का कहना है कि मानसून सत्र के पहले दिन संक्षिप्त कार्रवाई ही होगी। इस दिन पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी और एक सांसद के निधन के कारण शोक जताने के बाद सदन की कार्यवाही स्थगित हो जाएगी।

अन्य दलों के संपर्क में कांग्रेस

उधर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने कहा कि पार्टी समान सोच वाले दलों के संपर्क में है। उन्होंने बताया कि कांग्रेस ने संसद के दोनों सदनों में कृषि से जुड़े तीन विधेयकों और बैंकिंग नियमन कानून का जोरदार विरोध करने का फैसला किया है। उन्होंने बताया कि विपक्ष कोरोना महामारी से निपटने के सरकार के तरीकों पर भी सवाल उठाएगा।

सरकार विपक्ष को बोलने का मौका दे

उन्होंने कहा कि कांग्रेस सीमा पर चीन के साथ गतिरोध, अर्थव्यवस्था की बुरी हालत, महामारी के कारण कारोबार बंद होने, कुटीर और मध्यम लघु उद्योगों की बंदी और हवाई अड्डों के निजीकरण जैसे मुद्दों पर सदन में चर्चा चाहती है।

उन्होंने कहा कि हमें सरकार से उम्मीद है कि इन महत्वपूर्ण मुद्दों पर विपक्ष को बोलने का मौका दिया जाएगा और सरकार विपक्ष के सवालों का जवाब देगी। उन्होंने बताया कि कांग्रेस ने समान सोच वाले विपक्षी दलों के साथ विभिन्न महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की है और हम इन मुद्दों को लेकर सरकार को जरूर घेरेंगे।

मानसून सत्र में दिखेंगे कई बदलाव

संसद के मानसून सत्र के लिए सरकार की ओर से काफी तैयारियां की गई हैं और इस बार सत्र के आयोजन कई तरह के बदलाव दिखाई पड़ेंगे। मानसून सत्र 14 सितंबर से शुरू होकर एक अक्टूबर तक चलेगा और इस दौरान एक भी अवकाश नहीं होगा। सूत्रों का कहना है कि भारतीय इतिहास में पहली बार लोकसभा के सांसद राज्यसभा में राज्यसभा के सांसद लोकसभा में बैठेंगे।

रिपोर्ट नेगेटिव होने पर ही संसद में प्रवेश

संसद में प्रवेश से पहले सांसदों के साथ ही अधिकारियों और परिसर में आने वाले सभी लोगों को कोरोना की निगेटिव जांच रिपोर्ट दिखानी होगी। उसके बाद ही सदन में प्रवेश की अनुमति दी जाएगी। बैठक से पहले पूरे संसद परिसर को सैनिटाइज किया गया है। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने रविवार को संसद के चप्पे-चप्पे का निरीक्षण कर तैयारियों का जायजा लिया। इस बार सोशल डिस्टेंसिंग के नियम का पालन करने के लिए संसद में बैठने की नई व्यवस्था की गई है।

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