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Cash For Query Case: महुआ मोइत्रा पर फिर हमलावर हुए निशिकांत दुबे, लोकसभा के नियमों का हवाला देते हुए बोला हमला
Cash For Querry Case: संसद में मोदी सरकार के खिलाफ सबसे मुखर आलोचकों में शुमार तृणमुल कांग्रेस की तेजतर्रार महिला सांसद महुआ मोइत्रा पर बीजेपी हमलावर है। इस मामले को लेकर तृणमुल सांसद के खिलाफ लड़ाई का आगाज करने वाले झारखंड से बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने उन पर एकबार फिर निशाना साधा है।
Cash For Query Case: चर्चित कैश फॉर क्वेरी कांड को लेकर देश में सियासी घमासान मचा हुआ है। संसद में मोदी सरकार के खिलाफ सबसे मुखर आलोचकों में शुमार तृणमुल कांग्रेस की तेजतर्रार महिला सांसद महुआ मोइत्रा पर बीजेपी हमलावर है। इस मामले को लेकर तृणमुल सांसद के खिलाफ लड़ाई का आगाज करने वाले झारखंड से बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने उन पर एकबार फिर निशाना साधा है।
बीजेपी सांसद ने लोकसभा के नियमों का हवाला देते हुए कहा कि आपको ये समझना होगा कि सांसदों द्वारा पूछे गए सवालों के जवाब तक तक गोपनीय रहने चाहिए, जब तक सदन में प्रश्न का जवाब नहीं दिया जाता। दुबे ने कहा कि गोपनीयता का मतलब सूचना केवल और केवल सांसद तक सीमित रहे।क्योंकि सांसद जब प्रश्न पूछते हैं तो संसद शुरू होने के एक घंटा पहले उत्तर सांसद को मिलता है।
इससे शेयर मार्केट,कम्पनी की स्थिति में उतार चढ़ाव,देश की सुरक्षा में सेंध,दूसरे देशों के साथ अपने सम्बन्धों पर समय से पहले जानकारी मिल जाने पर आर्थिक,सुरक्षा से खिलवाड़ हो सकता है। आरोपी भ्रष्टाचारी सांसद (महुला मोइत्रा) को शायद हीरानंदानी जैसे PA ने यह पढ़कर नहीं बताया कि क्या नियम हैं। इसी के साथ बीजेपी सांसद ने चोरी और सीनाजोरी के मुहावरे का इस्तेमाल करते हुए महुआ पर तंज कसा।
महुआ के बचाव में उतरीं ममता
संसद में सवाल के बदले कैश मामले में घिरने के बाद टीएमसी सुप्रीमो और पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने खामोशी बरत ली थी। उनकी तरफ से अपनी पार्टी की एक तेजतर्रार महिला बीजेपी सांसद के बचाव में कोई बयान नहीं आया। ऐसे सियासी हलकों में महुआ मोइत्रा से उनकी नाराजगी से जुड़ी खबरें जोर पकड़ने लगीं। लेकिन अब ममता बनर्जी ने पहली बार इस मसले पर प्रतिक्रिया दी है।
गुरूवार को कोलकाता में टीएमसी के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कृष्णानगर से सांसद महुआ मोइत्रा का कैश फॉर क्वेरी मामले में बचाव किया और बीजेपी पर हमला बोला। ममता ने कहा कि बीजेपी महुआ को संसद से बाहर निकालने की योजना बना रही है। लेकिन इससे वह और अधिक लोकप्रिय हो जाएंगी। जो कुछ वह संसद के अंदर कहती थीं, अब वह वही बात बाहर करेंगी।
क्या है पूरा मामला ?
झारखंड की गोड्डा सीट से बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने लोकसभा स्पीकर ओम बिरला को 'री-इमरजेंस ऑफ नेस्टी कैश फॉर क्वेरी इन पार्लियामेंट' नाम से एक चिट्ठी लिखी थी। इसमें आरोप लगाया गया कि पश्चिम बंगाल की कृष्णानगर सीट से टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा को सदन में सवाल पूछने के लिए बिजनेसमैन दर्शन हीरानंदानी से गिफ्ट और कैश मिला। गोड्डा सांसद ने स्पीकर को लिखे लेटर के साथ एडवोकेट जय अनंत देहाद्रई की चिट्ठी भी लगाई थी।
रियल एस्टेट कारोबारी दर्शन हीरानंदानी ने भी इसकी पुष्टि करते हुए कहा था कि उनके पास महुआ मोइत्रा का लोकसभा का लॉगिन आईडी और पासवर्ड था। इससे वे खुद ही महुआ की तरफ से सवाल डालते थे। कारोबारी द्वारा आगे कहा गया कि महुआ का मकसद पीएम मोदी को बदनाम करना था। कारोबारी ने 19 अक्टूबर को जो एफिडेविट कमेटी को सौंपा था, उसमें ये बातें दर्ज थीं।
महुआ ने अगले दिन यानी 20 अक्टूबर को सरकार पर दर्शन के सिर पर बंदूक रखवाकर एफिडेविट साइन करवाने का आरोप लगाया था। बता दें कि टीएमसी सांसद खुद लॉगिन आईडी और पासवर्ड कारोबारी हीरानंदानी को देने और उनसे गिफ्ट लेने की बात स्वीकार चुकी हैं। एथिक्स कमेटी ने महुआ मोइत्रा को संसद से निष्कासित करने की सिफारिश की है। जिस पर संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान फैसला होना है।