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Rajasthan News: राजस्थान में वसुंधरा और सचिन से ज्यादा इस भगवाधारी बाबा को सीएम बनते देखना चाहते हैं लोग?
Rajasthan News: महंत बालकनाथ योगी राजस्थान के अलवर से बीजेपी के सांसद हैं। पार्टी ने उन्हें तिजारा विधानसभा से चुनाव मैदान में उतारा है। बीजेपी के फायरब्रांड नेताओं में शामिल बालकनाथ का पहनावा योगी आदित्यनाथ की तरह रहता है। इसलिए उन्हें लोग राजस्थान का योगी भी कहते हैं।
Rajasthan News: राजस्थान में लगातार दूसरी बार फिर सत्ता में कांग्रेस आएगी या भाजपा की सरकार बनेगी यह तो कहना अभी मुश्किल होगा। इसका फैसला तो तीन दिसंबर को चुनाव परिणाम आने के बाद ही तय होगा। लेकिन इस बीच एग्जिट पोल ने कई चैंकाने वाले अनुमान लगाए हैं। नतीजों से पहले आए एग्जिट पोल ने बीजेपी और कांग्रेस दोनों की धड़कनें बढ़ा दी हैं। आजतक एक्सिस माई इंडिया एग्जिट पोल में कांग्रेस और बीजेपी में कड़ी टक्कर दिख रही है। अगर आंकड़ों की बात करें तो कांग्रेस 86 से 106, बीजेपी 80 से 100 सीटें जीतती दिख रही है। सर्वे में मुख्यमंत्री पद के लिए एक ऐसा नाम भी सामने आया है, जिसने सभी को दिया है।
आजतक एक्सिस माई इंडिया एग्जिट पोल में जब लोगों से मुख्यमंत्री पद के लिए सवाल किया गया तो पहली पसंद अशोक गहलोत रहे। सर्वे में जिन लोगों से बात हुई है, उनमें गहलोत को 32 प्रतिशत लोग सीएम बनते देखना चाहते हैं। हालांकि, दूसरे नंबर पर इस लिस्ट में न तो वसुंधरा राजे का नाम है और न ही सचिन पायलट का। सीएम पद के लिए दूसरे नंबर पर लोगों की पसंद हैं महंत बालकनाथ योगी। सर्वे में शामिल 10 फीसदी लोग बालकनाथ योगी को मुख्यमंत्री के रूप में देखना चाहते हैं।महंत बालकनाथ योगी अलवर से भाजपा के सांसद हैं। पार्टी ने उन्हें तिजारा विधानसभा से चुनाव मैदान में उतारा है। बीजेपी के फायरब्रांड नेताओं में शामिल बाबा बालकनाथ का पहनावा योगी आदित्यनाथ की तरह रहता है। इसलिए उन्हें लोग राजस्थान का योगी भी कहते हैं। बाबा बालकनाथ की अलवर और उसके आसपास के इलाकों में मजबूत पकड़ मानी जाती है। यही वजह है कि बीजेपी ने विधानसभा चुनाव में भी उनपर भरोसा जताया है। यही नहीं वे बीजेपी के हिंदुत्ववादी एजेंडे पर भी फिट बैठते हैं। यही वजह है कि चुनाव से पहले जब राजस्थान में बीजेपी ने अपनी इकाई का ऐलान किया था, तब उन्हें उपाध्यक्ष बनाया गया।
कौन हैं महंत बालकनाथ योगी-
महंत बालकनाथ योगी का जन्म 16 अप्रैल 1984 को राजस्थान के अलवर जिले के कोहराना गांव में एक किसान परिवार में हुआ था। उनके पिता का नाम सुभाष यादव और मां का नाम उर्मिला देवी है। बालकनाथ माता पिता की इकलौती संतान हैं और उनके परिवार में उनके दादा फूलचंद यादव और दादी मां संतरो देवी है। उनका परिवार बहुत लंबे समय से जनकल्याण और साधु संतों की सेवा करता रहा है।
6 साल की उम्र में छोड़ा घर
उनके परिवार ने उन्हें मात्र 6 वर्ष की उम्र में अध्यात्म का अध्ययन करने के लिए महंत खेतानाथ के पास भेज दिया था। महंत खेतानाथ ने ही उन्हें बचपन में गुरुमख नाम दिया था। महंत खेतानाथ से अपनी शिक्षा दीक्षा को लेने के बाद वो महंत चांद नाथ के पास आ गए। महंत चांद नाथ ने उनकी बालक के समान प्रवृत्तियों को देखकर उन्हें बालकनाथ कहना शुरू किया था। महंत चांद नाथ ने उन्हें 29 जुलाई 2016 को अपना उत्तराधिकारी चुना था। महंत बालक नाथ योगी हिंदू धर्म के नाथ संप्रदाय के आठवें संत हैं। बालक नाथ योगी बाबा मस्तनाथ विश्वविद्यालय के चांसलर भी है।
योगी आदित्यनाथ के करीबी माने जाते हैं
योगी की तरह भगवा कपड़ों में दिखने वाले बाबा बालकनाथ अकसर अपने आक्रामक तेवरों के कारण से चर्चा में बने रहते हैं। बाबा बालकनाथ ने 2019 में पहला लोकसभा चुनाव जीता। उन्होंने कांग्रेस के कद्दावर नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री भंवर जितेंद्र सिंह को 3 लाख से अधिक वोटों से मात दी थी। बाबा बालकनाथ उसी नाथ संप्रदाय के महंत हैं, जिससे योगी आदित्यनाथ जुड़े हैं। बालकनाथ रोहतक स्थित बाबा मस्तनाथ मठ के महंत हैं। नाथ संप्रदाय की परंपरा के मुताबिक, योगी आदित्यनाथ राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं, तो रोहतक की गद्दी को उपाध्यक्ष की पदवी हासिल है। ऐसे में वे सीएम योगी के भी करीबी माने जाते हैं।
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टोबीसी कैटेगरी से आते हैं-
बाबा बालकनाथ ओबीसी कैटेगरी से आते हैं। चुनाव आयोग में दाखिल नामांकन के मुताबिक बालकनाथ की उम्र 39 साल है। उनके पास नकदी 45 हजार रुपए है। भारतीय स्टेट बैक शाखा पार्लियामेंट हाउस संसद भवन नई दिल्ली में 13 लाख 29 हजार पांच सौ अठावन रुपए (13,29558 ) जमा है। इसके अलावा एसबीआई तिजारा शाखा में एक अन्य बैंक खाते में 5 हजार की राशि जमा है। इस हिसाब से बैंक में कुल जमा राशि 13,79,558 है। उन्होंने 12वी तक पढ़ाई कर रखी है।