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हर तरफ छाया धुआं-धुआं, जहरीली हो रही देश की दिल्ली

बढ़ती जनसंख्या और उस वजह से हो रहे प्रदूषण के कारण पूरा वातावरण दूषित हो चूका है। देश की राजधानी दिल्ली में दम घुटने वाली हवा बह रही है।

Roshni Khan
Published on: 3 Sept 2023 5:23 PM IST (Updated on: 4 Sept 2023 8:02 AM IST)
हर तरफ छाया धुआं-धुआं, जहरीली हो रही देश की दिल्ली
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नई दिल्ली: बढ़ती जनसंख्या और उस वजह से हो रहे प्रदूषण के कारण पूरा वातावरण दूषित हो चूका है। देश की राजधानी दिल्ली में दम घुटने वाली हवा बह रही है। जिस वजह से केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) ने सिफारिश की है कि अगर संभव हो तो सरकारी और प्राइवेट दफ्तरों के कर्मियों को घर से काम करने की इजाजत दी जाए। वहीं, सड़क पर अकेले अपना वाहन निकालने की जगह कार पूलिंग और सार्वजनिक परिवहन का इस्तेमाल करने की अपील भी दिल्ली-एनसीआर के लोगों से की गई है।

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18 अक्टूबर शुक्रवार सुबह को CPCB ने दिल्ली-NCR के लिए गठित 49 कार्य समूहों (टास्क फोर्स) के साथ बैठक की गई। इसमें दिल्ली के साथ गाजियाबाद, नोएडा, गुरुग्राम, फरीदाबाद, सोनीपत, मेरठ व रोहतक की एजेंसियां शामिल हुईं। इस दौरान बताया गया कि ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (ग्रेप) लागू होने के बाद से 689 शियतें दर्ज की गईं हैं।

विशेषज्ञों ने बताया कि बदले मौसम व पराली के बढ़ते मामलों के बीच दिल्ली-NCR की हवा आने वाले दिनों में खराब होनी है। इसके लिए ग्रेप के तहत उठाए जाने वाले कदमों का सख्ती से पालन सुनिश्चित कराना है।

यह करें उपाय

CPCB ने सिफारिश की है कि निजी व सरकारी दफ्तरों को एडवायजरी जारी की जाए कि संभव होने पर वह अपने स्टाफ को घर से काम करने की इजाजत दें। वहीं कार पूलिंग व सार्वजनिक परिवहन के यूज़ को भी बढ़ावा दिया जाए। सभी प्राइवेट व सरकारी स्कूलों को सलाह है कि अपने बच्चों को ट्रांसपोर्ट सुविधा मुहैया कराएं, जिससे उनके घरवालों को अपना वाहन न निकालना पड़े। CPCB के सदस्य सचिव प्रशांत भार्गव ने बताया कि तीनों सिफारिशें सलाह देने वाली हैं, लेकिन इसकी हेल्प से वायु प्रदूषण को नियंत्रित रखने में बड़ी मदद मिलेगी।

15-15 दिन का लगाया जा रहा अंदाजा

दिल्ली-NRC के वायु प्रदूषण से निपटने को कारगर रणनीति तैयार करने के लिए CPCB अब 15-15 दिन का अंदाजा लगाया गया और सभी संबंधित एजेंसियों को जारी कर रहा है। इसके कारण यह है कि आमतौर पर मौसमी दशाएं 15 दिन तक नहीं बदलेंगी। इससे सभी एजेंसियों को पता चल जाएगा कि किस इलाके में किस वजह से प्रदूषण के बिगड़ने का अंदेशा है। जिस वजह से पहले ही सावधानी बरती जा सकेगी।

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कहां- कितना रहा AQI

गाजियाबाद 270

गुरुग्राम 258

दिल्ली 248

नोएडा 243

ग्रेटर नोएडा 222

फरीदाबाद 214



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Roshni Khan

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