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ग्राहकों की बल्ले-बल्ले: आरबीआई का बड़ा एलान, मिलेंगे ये फायदे

भारतीय रिजर्व बैंक ने आम आदमी को राहत देने के लिए बड़ा ऐलान किया है। आरबीआई ने बैंकों को निर्देश जारी कर कहा है कि बचत खातों से ऑनलाइन लेनदेन करते वक्त नेशनल इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर NEFT चार्ज नहीं वसूले जाएंगे।

Shivakant Shukla
Published on: 8 Nov 2019 4:40 PM IST
ग्राहकों की बल्ले-बल्ले: आरबीआई का बड़ा एलान, मिलेंगे ये फायदे
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नई दिल्ली: देश के सबसे बड़े सरकारी बैंक स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने ग्राहकों को राहत दी है। एसबीआई ने MCLR की दरों में सभी अवधि के लिए 0.05 फीसद तक कटौती की है। इससे ग्राहकों होम, ऑटो और पर्सनल लोन सस्ता हो जाएगा। नई दरें 10 नवंबर से प्रभावी होंगी।

बैंक ने 10 अक्टूबर 2019 को भी MCLR में 0.10 फीसद तक की कटौती की थी। ध्यान रहे कि RBI ने इस साल अब तक रेपो रेट में पांच बात कटौती की है। केन्द्रीय बैंक ने कुल 135 बेसिस पॉइंट्स की कमी की है। बैंक के मुताबिक, अब एक साल के लिए नई MCLR दरें 8.05 फीसद से घटकर 8 फीसद पर आ गई है। बैंक ने मौजूदा वित्त वर्ष में लगातार सातवीं बार दरें घटाई हैं।

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दरअसल, आरबीआई को ऐसी शिकायत मिली थी कि बैंक रेपो रेट में कटौती का पूरा लाभ ग्राहकों को नहीं दे रहे हैं। जिसके बाद केन्द्रीय बैंक ने रेपो रेट में कटौती के बाद सभी बैंकों से कहा है कि वह कटौती का लाभ तुरंत ग्राहकों को दें।

NEFT चार्ज नहीं वसूले जाएंगे

इसके साथ ही भारतीय रिजर्व बैंक ने आम आदमी को राहत देने के लिए बड़ा ऐलान किया है। आरबीआई ने बैंकों को निर्देश जारी कर कहा है कि बचत खातों से ऑनलाइन लेनदेन करते वक्त नेशनल इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर NEFT चार्ज नहीं वसूले जाएंगे। यह नियम 1 जनवरी 2020 से लागू होगा। इसका मतलब साफ है कि अगर आप 1 जनवरी 2020 से NEFT के जरिए ट्रांजैक्शन करेंगे तो आपको उसपर लगने वाले चार्जेज नहीं देने होंगे।

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जानें क्या होता है NEFT?

NEFT देश में बैंकों के जरिये फंड ट्रांसफर करने यानी एक से दूसरी जगह भेजने का तरीका है। इस तरीके का फायदा आम ग्राहक या कंपनियां उठाकर किसी दूसरी ब्रांच या किसी दूसरे शहर की शाखा में किसी भी व्यक्ति या संगठन अथवा कंपनी को भेज सकते हैं। आज की तारीख में लगभग हर बैंक ने एनईएफटी तकनीकी को अपना लिया है। इसके जरिये फंड भेजने के लिए ग्राहकों को सभी तरह की जानकारी भेजनी होती है।



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Shivakant Shukla

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