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सोनिया के करोड़पति मित्र कंगाल, ED ने जब्त की धन-संपत्ति
नौ मई शनिवार को प्रवर्तन निदेशालय ने बताया कि धन शोधन के एक मामले से जुड़ी जांच के जरिए उसने प्रमोटेड एसोसिएट जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) और कांग्रेस नेता मोती लाल वोरा की 16.38 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त करने का आदेश दिया है।
नई दिल्ली: नौ मई शनिवार को प्रवर्तन निदेशालय ने बताया कि धन शोधन के एक मामले से जुड़ी जांच के जरिए उसने प्रमोटेड एसोसिएट जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) और कांग्रेस नेता मोती लाल वोरा की 16.38 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त करने का आदेश दिया है। प्रवर्तन निदेशालय ने बताया कि जो संपत्ति जब्त की जा रही है उसमें मुंबई स्थित एक 9 मंजिला भवन शामिल है, जिसमें दो बेसमेंट हैं और वह 15,000 वर्ग मीटर में बना हुआ है।
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16.38 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त
बयान में कहा कि अपराध के धन से अर्जित 16.38 करोड़ रुपये कीमत की संपत्ति जब्त की गई है। इमारत बांद्रा ईस्ट में ईपीएफ ऑफिस, कला नगर के पास प्लॉट नंबर 2 और सर्वे नंबर 341 पर है।
साथ ही धन शोधन निषेध कानून के जरिए प्रमोटेड एसोसिएट जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) और उसके अध्यक्ष-सह-प्रबंध निदेशक मोती लाल वोरा के खिलाफ जब्ती का प्रोविजनल आदेश जारी हुआ है।
गांधी परिवार के सदस्य भी शामिल
बता दें कि मोती लाल वोरा एजेएल के प्रबंध निदेशक हैं। एजेएल वरिष्ठ कांग्रेसी नेताओं द्वारा कंट्रोल की जाती है। इसमें गांधी परिवार के सदस्य भी शामिल हैं।
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वहीं नेशनल हेराल्ड अखबार इस समूह को संचालित करता है। सन् 1938 में जवाहरलाल नेहरू ने नेशनल हेराल्ड अखबार की स्थापना की थी। तब से इसे कांग्रेस का मुखपत्र माना जाता है।
इसके बाद सन् 1956 में एजेएल एक कंपनी बनी। साल 2008 में इसके सारे पब्लिकेशंस बंद कर दिए गए। तब कंपनी पर 90 करोड़ रुपये का कर्ज था। कांग्रेस ने 'यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड' नाम से कंपनी बनाई।
इसके डायरेक्टर्स में सोनिया गांधी, राहुल गांधी, मोतीलाल वोरा, सैम पित्रोदा, ऑस्कर फर्नांडीज और सुमन दुबे के नाम शामिल थे। इसमें सोनिया-राहुल के पास 76 फीसदी शेयर थे।
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