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Sakshi Kochar: सबसे कम उम्र में आसमानों में उड़ान भरने और बादलों से बात करने वाली बनीं 'साक्षी', जानिए इनके बारे में
Sakshi Kochar: साक्षी ने अपनी मेहनत से भारत देश की सबसे कम उम्र की कमर्सिअल पायलट का ख़िताब अपने नाम दर्ज करा। ऊन्हे यह ख़िताब मात्र 18 वर्ष की आयु में अपने 18वे जन्मदिन के अवसर पर मिला।
Sakshi Koachar: सपने देखना और सफलता पाने की कोई उम्र नहीं होती है। भारत के हिमाचल प्रदेश में जन्मी साक्षी कोचर ने अपनी लग्न और मेहनत से उम्र के सभी फासले तोड़ दिए। साक्षी ने अपनी मेहनत से भारत देश की सबसे कम उम्र की कमर्सिअल पायलट का ख़िताब अपने नाम दर्ज करा। ऊन्हे यह ख़िताब मात्र 18 वर्ष की आयु में अपने 18वे जन्मदिन के अवसर पर मिला। मात्र 10 वर्ष की उम्र से उनमे पायलट बनने का जूनून था।
भारत की सबसे काम उम्र की कमर्शियल पायलट
भारत की सबसे काम उम्र की कमर्शियल पायलट शाक्षी कोचर का जन्म वर्ष 2005 में हिमाचल प्रदेश के एक गाँव परवाणू में हुआ। व्यवसाय से ताल्लुक रखने वाले परिवार में इनका जन्म हुआ। इनकी पिता फुटवियर और परिधान के बिज़नेस में कार्यरत थे । पहले ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा के पूर्ण होते ही कमर्शियल पायलट बनने के लिए अपनी तैयारी प्रारम्भ कर दी। अपनी पायलट की ट्रेनिंग के दौरान ही वह सबसे पहले अपने माता-पिता और घर से अलग हुई। इतनी काम उम्र में पायलट की ट्रेनिंग को सफलतापूर्वक ख़त्म करना उनके लिए कोई आसान काम नहीं था।
हिमाचल से पूर्ण हुई प्रारंभिक शिक्षा
साक्षी की प्रारंभिक शिक्षा उनके मूल निवास परवाणू से ही पूर्ण हुई। कम उम्र से ही एविएशन इंडस्ट्री में दिलचस्पी रखने वाली शाक्षी ने अपनी 10वीं और 12वीं की शिक्षा चंडीगढ़ से पूरी की। 10वीं के बाद साइंस के विषय मैथ्स, फिजिक्स, केमिस्ट्री को चुना। अपनी स्कूल की शिक्षा पूर्ण होते ही शाक्षी ने मुंबई में स्काइलाइन एविएशन क्लब में दाखिला लेकर पायलट ट्रेनिंग प्रारम्भ की।
मुम्बई से करी एविएशन ट्रेनिंग
मुंबई के स्काइलाइन एविएशन क्लब से शाक्षी ने अपनी एविएशन ट्रेनिंग प्रारम्भ की। छह माह के थ्योरी अध्यापन के बाद उन्हें संयुक्त राष्ट्र अमेरिका के एक पायलट प्रशिक्षण केंद्र से कमर्शियल पायलट की ट्रेनिंग हासिल करी। शाक्षी जो अपने जीवन में कभी अकेले नही रही और एविएशन इंडस्ट्री की दिलचस्पी ने उसे मात्र १७ वर्ष की उम्र में 8500 मील की दूरी तय कर अपनी ट्रेनिंग का समय अमेरिका में अकेले गुज़ारा। मात्र 8 माह की ट्रेनिंग के बाद कमर्शियल पायलट के लाइसेंस के लिए अप्लाई करने पर उन्हें सफलता प्राप्त हुई।
मात्र 18 वर्ष की उम्र में उन्हें एक कमर्शियल पायलट का लाइसेंस सफलतापूर्वक हासिल हुआ। अपने १८वे जन्मदिन पर उन्हें यह कमर्सिअल लाइसेंस हासिल हुआ। साक्षी अपनी ख़ुशी ज़ाहिर करते हुए कहती हैं "एविएशन ट्रेनिंग एक बहुत ही महंगा व्यवसाय है और इसके लिए मैंने 70 लाख रुपये खर्च करे। एक बार नौकरी मिलने पर मई सभीब पैसे अपने माता- पिता को लौटा दूंगीं। मई अपने माता पिता को कुश देखना चाहती हूँ। "