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Jaya Kishori Life: कैसे बनी जया शर्मा एक साधरण लड़की से कथावाचक जया किशोरी
Jaya Kishori Life: जया किशोरी जी मात्रा 9 साल से कथावाचन कर रहीं हैं। आज हम आपको उनके जीवन के बारे में विस्तार से बताने रहे हैं और आपको जया शर्मा से जया किशोरी तक के सफर से रूबरू करवाएंगे।
Jaya Kishori: आज के समय में जया किशोरी जी को हर कोई जानता और पहचानता है। वो भगवान् श्री कृष्णा की अनंत भक्त है और लोगों को अपनी मोटिवेशनल बातों और भजनो मंत्रमुग्ध कर लेतीं है। किशोरी जी सोशल मीडिया पर भी काफी एक्टिव हैं साथ ही अपने भक्तों से वो इसके द्वारा भी जुडी रहतीं हैं। उनकी कई प्रेरणादायक बातें लोगों का मन मोह लेती है। साथ ही यही वजह है कि आज हर उम्र के लोग उनकी फैन लिस्ट में शामिल हैं साथ ही उनके फॉलोवर्स भी हैं। वहीँ जया किशोरी जी मात्रा 9 साल से कथावाचन कर रहीं हैं। आज हम आपको उनके जीवन के बारे में विस्तार से बताने रहे हैं और आपको जया शर्मा से जया किशोरी तक के सफर से रूबरू करवाएंगे।
कैसे बनी जया शर्मा, जया किशोरी
जया किशोरी बेहद कम उम्र से कृष्णा जी की भक्ति में लीं रहीं हैं उनकी कथा और भजन लोगों को खूब पसंद आता है साथ ही साथ लोग उनकी ख़ूबसूरती की भी खूब चर्चा करते हैं। दरअसल किशोरी जी लुक्स में किसी भी बॉलीवुड एक्ट्रेस से कम नहीं हैं। वो भगवान् की भक्ति में पूरी तरह से तनलीन रहतीं हैं साथ ही उन्हें आज के युग की मीरा बाई भी कहा जाता है। वही आज हम आपको जया किशोरी के बारे में हर एक पहलू बताने जा रहे हैं।
जया किशोरी का जन्म 13 जुलाई 1995 में राजस्थान के एक छोटे से गाँव सुजानगढ़ में हुआ था। उनकीकथा सुनने वाले लोग उन्हें काफी ज़्यादा एडमायर करते हैं और उनकी कथा को काफी ध्यान से सुनते हैं। साथ ही इतना ही नहीं उनके भक्त उनके निजी जीवन से जुडी कई बातों को जानना चाहते हैं जिसके बारे में किशोरी जी ज़्यादा बात नहीं करतीं हैं। आपको बता दें कि जया जी की माता का नाम गीता देवी हरितपल है और इनके पिताजी का नाम शिव शंकर शर्मा है। जया जी की एक छोटी बहन भी है जिनका नाम चेतना शर्मा है। फिलहाल उनका पूरा परिवार कोलकाता में रहता है।
अगर पढ़ाई की बात करें तो उन्हें पढ़ने का काफी शौक था। जया जी ने बीकॉम किया हुआ है। वहीँ अपनी पढ़ाई के साथ उन्होंने अध्यात्म को भी भरपूर समय दिया। इतना ही नहीं किशोरी जी ने अपनी 12th की पढ़ाई के समय श्रीमद भागवत कथा को तैयार किया था। वो पढ़ाई के साथ साथ भजन ,गीता के पाठ सब कुछ उन्होंने अपने भक्तों को सुनाया है। लेकिन इस बीच आपको बता दें कि अपना अधिकतर समय अध्यात्म को देना चाहती थी।
जया जी की प्राथमिक शिक्षा को Shri Shikshayatan School, Mahadevi Birla World Academy (महादेवी बिरला वर्ल्ड अकैडमी)कोलकाता में हुई थी। वैसे आपको बता दें कि जया जी का परिवार भी अध्यात्म की ओर रुझान रखता है। मात्र 6-7 साल की उम्र में जया जी का आध्यात्मिक की ओर चलना स्वीकार किया। बचपन में जया के दादा-दादी उन्हें भगवान् श्री कृष्ण जी की कहानियां सुनाया करते थे। जिसका ऊपर काफी प्रभाव पड़ा और वो अध्यात्म की ओर प्रेरित हुईं। ऐसे जया शर्मा, जया किशोरी बनीं।