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Moradabad news: RSS ने मनाया हिंदू नववर्ष, 24 स्थानों से निकला पथ संचलन
Moradabad news: शहर में 24 स्थानों से पूरे अनुशासन में स्वयंसेवकों ने पथ संचलन निकाला। जिसे देखकर शहर के आम लोग भी उत्साहित नजर आए। वैसे तो भारतीय नववर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा 22 मार्च से प्रारंभ हुआ लेकिन रविवार होने के कारण आज पथ संचलन का कार्यक्रम किया गया।
Moradabad news: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ भारतीय नववर्ष को अपने प्रमुख उत्सव के रूप में मनाता है। इसी क्रम में रविवार को पूर्ण गणवेश में RSS का पथ संचलन निकाला गया। शहर में 24 स्थानों से पूरे अनुशासन में स्वयंसेवकों ने पथ संचलन निकाला। जिसे देखकर शहर के आम लोग भी उत्साहित नजर आए। वैसे तो भारतीय नववर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा 22 मार्च से प्रारंभ हुआ लेकिन रविवार होने के कारण आज पथ संचलन का कार्यक्रम किया गया।
शहर में कई जगह लोगों ने पथ संचलन का पुष्प वर्षा कर अभूतपूर्व स्वागत किया। इस अवसर पर वक्ताओं ने भारतीय कालगणना का महत्व बताते हुए कहा कि पूरे विश्व में जितने भी कैलेंडर हैं, केवल भारतीय कैलेंडर ही प्रमाणिक और वैज्ञानिक है। केवल भारतीय पंचांग के द्वारा ही बता सकता कि किस दिन चंद्र ग्रहण या किस दिन सूर्य ग्रहण होगा।
मुरादाबाद : RSS ने मनाया हिंदू नववर्ष, 24 स्थानों से निकला पथ संचलन@RSSorg @DrMohanBhagwat #Hindunavvarsh pic.twitter.com/97k0aWEMij
— Newstrack (@newstrackmedia) March 26, 2023
‘लॉर्ड मैकाले ने बंद कराए थे गुरुकुल’
पथ संचलन के बाद RSS से जुड़े वक्ताओं ने बताया कि भारतीय संस्कृति को नष्ट करने हेतु अंग्रेजों की सरकार में एक योजना के तहत लॉर्ड मैकाले ने अट्ठारह सौ पचास में एक सर्वे कराया। जिसमें उत्तर भारत में 97% साक्षरता एवं दक्षिण भारत में 100% साक्षरता की रिपोर्ट आई। लार्ड मैकाले ने भारतीय शिक्षा पद्धति का अध्ययन किया तो पता लगा कि भारत में 73,2000 गुरुकुल हैं, जिनमें 18 विषयों की वर्तमान हायर एजुकेशन की शिक्षा दी जाती है। उस समय देश के अंदर 75,0000 गांव थे, यानी लगभग एक गांव में एक गुरुकुल का औसत था। लार्ड मैकाले ने इन सभी गुरुकुलों को अवैध घोषित कर दिया। 1858 में इंडियन एजुकेशन एक्ट लागू कर उनको बंद करवा दिया। अंग्रेजी शिक्षा को कानूनी घोषित किया गया। एक योजना के तहत हमारी संस्कृति को नष्ट कर दिया गया और भारतीय शिक्षा नीति को समाप्त कर दिया गया।
‘भारतीय संस्कृति पर करें गर्व’
वक्ताओं ने कहा कि यह अवसर है कि हम अपनी संस्कृति पर गर्व करें और इसको हर घर-घर में पहुंचाएं। आज का दिन सृष्टि की रचना का प्रथम दिन माना जाता है। इसके अतिरिक्त चैत्र शुक्ल प्रतिपदा से अन्य प्रसंग भी जुड़े हैं। आज ही के दिन भगवान श्री राम का राज्याभिषेक हुआ, आज ही के दिन धर्मराज युधिष्ठिर का राज्याभिषेक हुआ, संत झूलेलाल जी की जयंती, विक्रम संवत का शुभारंभ, सिख परंपरा के द्वितीय गुरु अंगद देव का प्रकट उत्सव, आर्य समाज की स्थापना, संघ संस्थापक डॉ. हेडगेवार जी का जन्मदिन सहित अनेक ऐसे प्रसंग हैं, जो भारतीय नव वर्ष के दिन से जुड़े हुए हैं। आज का यह उत्सव पूरे देश में अलग-अलग क्षेत्र में अलग-अलग प्रकार से मनाया जाता है। इस समय नव वर्ष के स्वागत में प्रकृति अपना सौंदर्य प्रदर्शित करती है।
इनकी रही मौजूदगी
इस अवसर पर प्रमुख रूप से प्रांत व्यवस्था प्रमुख अजय गोयल सुगंध, विभाग प्रचारक वतन कुमार, विभाग संघचालक ओम प्रकाश शास्त्री, विभाग प्रचार प्रमुख पवन कुमार जैन, महानगर संघचालक डॉ. विनीत गुप्ता, महानगर कार्यवाह सुरेंद्रपाल सिंह, महानगर प्रचारक विवेक कुमार, संदीप सिंघल, कमलकांत राय, देवेश सिंह, विपिन चौधरी, अनिल कुमार, विकास गोयल, दिनेश गुप्ता, डॉ. महेन्द्र, शरद जैन, मयंक जी, सुभाष कत्याल, राहुल जैन, गोपाल टंडन, उम्मेद राजपुरोहित, अमन जैन, विवेक गुप्ता, अर्जुन अग्रवाल, सौरभ गर्ग, नमन जैन, बाल स्वयंसेवक इवान जैन आदि स्वयंसेवक उपस्थित रहे।