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अब पश्चिम बंगाल: दिखे BJP के आक्रामक तेवर, मिशन के लिए बनाई ये खास रणनीति

बिहार विधानसभा चुनाव के बाद अब भारतीय जनता पार्टी पश्चिम बंगाल में होने वाले विधानसभा चुनाव में पूरी ताकत झोंकने की तैयारी में जुट गई है। पश्चिम बंगाल में भाजपा ने आक्रामक चुनावी रणनीति अपनाने की योजना बनाई है।

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Published on: 23 Nov 2020 3:44 AM GMT
अब पश्चिम बंगाल: दिखे BJP के आक्रामक तेवर, मिशन के लिए बनाई ये खास रणनीति
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अब पश्चिम बंगाल: दिखे BJP के आक्रामक तेवर, मिशन के लिए बनाई ये खास रणनीति

अंशुमान तिवारी

कोलकाता: बिहार विधानसभा चुनाव के बाद अब भारतीय जनता पार्टी पश्चिम बंगाल में होने वाले विधानसभा चुनाव में पूरी ताकत झोंकने की तैयारी में जुट गई है। पश्चिम बंगाल में भाजपा ने आक्रामक चुनावी रणनीति अपनाने की योजना बनाई है। पार्टी के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अगुवाई में रणनीति को अंतिम रूप दिया जा रहा है। राज्य में विधानसभा की 294 सीटें हैं और शाह की मंशा 200 सीटों पर जीत हासिल करने की है।

भाजपा के 294 नेता पहुंचेंगे बंगाल

पश्चिम बंगाल के चुनाव में ममता बनर्जी को उखाड़ फेंकने के लिए भाजपा की ओर से योजनाओं को अंतिम रूप दिए जाने का काम शुरू हो गया है। भाजपा हर विधानसभा सीट पर अपना ध्यान केंद्रित करना चाहती है। भाजपा के एक शीर्ष पदाधिकारी का कहना है देश के विभिन्न हिस्सों से जल्द ही भाजपा के 294 नेता पश्चिम बंगाल पहुंचेंगे। इन नेताओं को स्थानीय इकाई के साथ मिलकर काम करने को कहा गया है। हर निर्वाचन क्षेत्र के लिए 45 सदस्यीय टीम बनाई गई है और ये नेता भी इस टीम का हिस्सा होंगे।

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स्थानीय टीम की मदद की जिम्मेदारी

भाजपा से जुड़े सूत्रों के मुताबिक दूसरे राज्यों से नेताओं के पश्चिम बंगाल पहुंचने का सिलसिला 26 नवंबर से शुरू हो जाएगा। पश्चिम बंगाल में स्थानीय टीम को मदद करने के लिए केंद्रीय नेताओं और मंत्रियों के साथ ही बिहार, उत्तर प्रदेश, गुजरात और कर्नाटक सहित अन्य राज्यों के नेताओं और मंत्रियों को जिम्मेदारी सौंपी गई है।

नड्डा और शाह हर महीने करेंगे दौरा

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के अध्यक्ष जेपी नड्डा का पूरा ध्यान अब पश्चिम बंगाल पर केंद्रित हो गया है। पार्टी से जुड़े सूत्रों के अनुसार दोनों नेता अब हर महीने बंगाल का दौरा करेंगे और अपनी यात्रा के दौरान कम से कम दो दिन तक राज्य के विभिन्न इलाकों का दौरा कर फीडबैक लेंगे। पश्चिम बंगाल में स्थानीय भाजपा टीम भी आक्रामक तरीके से ममता बनर्जी को सत्ता से बेदखल करने की कोशिशों में जुटी हुई है।

2011 से सत्ता पर काबिज हैं ममता

दूसरी और ममता बनर्जी भी तृणमूल कांग्रेस की चुनावी तैयारियों में जुटी हुई है। ममता बनर्जी ने 2011 में चुनाव जीतकर वामदलों के 34 साल के शासन का अंत किया था। इसके बाद वे 2016 का विधानसभा चुनाव जीतने में भी कामयाब रही थीं। ममता बनर्जी को भी पता है कि भाजपा ने उनके खिलाफ पूरी ताकत झोंक रखी है और इस कारण वे भी अपनी पार्टी के संगठन को मजबूत बनाने में जुटी हुई हैं।

लोकसभा चुनाव में भाजपा ने सबको चौंकाया

भाजपा ने पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान पश्चिम बंगाल में अपनी ताकत दिखाई थी। पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान पार्टी ने 42 में से 18 सीटें जीतकर हर किसी को चौंका दिया था। नवंबर की शुरुआत में अपनी पश्चिम बंगाल यात्रा के दौरान अमित शाह ने भी इस बात को रेखांकित करते हुए कहा था कि उस समय हमारी मशीनरी छोटी थी मगर आने वाले विधानसभा चुनाव में हम बड़े पैमाने पर काम करेंगे और अपने मिशन में जरूर कामयाबी हासिल करेंगे। उनका कहना था कि हमारा मिशन 200 विधानसभा सीटों पर जीत हासिल करने का है।

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सूत्रों का कहना है कि भाजपा के साथ ही संघ पदाधिकारियों का एक बड़ा वर्ग भी इस बार के चुनाव में ममता को सत्ता से बेदखल करने के काम में जुटेगा। संघ के नेता भाजपा पदाधिकारियों के स्थानीय नेताओं के साथ मिलकर काम करेंगे। संघ में भी ऐसे लोगों की पहचान की जा रही है जिन्हें पश्चिम बंगाल में जिम्मेदारी सौंपी जाएगी। प्रत्येक लोकसभा सीटों के लिए अलग-अलग टीमों का गठन करने की तैयारी है। इसके साथ ही पार्टी सोशल मीडिया के अभियान पर भी जोर देने में पार्टी जुट गई है। राष्ट्रीय आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय को पहले ही पश्चिम बंगाल का अतिरिक्त प्रभार सौंपा जा चुका है।

आंकड़े जुटाने में पेशेवर एजेंसियों की मदद

भाजपा की ओर से विधानसभा सीटों से जुड़े आंकड़ों को जुटाने और उनका विश्लेषण करने का काम भी चल रहा है। इसके लिए तीन पेशेवर एजेंसियों की मदद ली गई है। बाहर से आने वाले भाजपा नेताओं और पदाधिकारियों से यह भी कहा गया है कि वे किसी होटल या गेस्ट हाउस में न रुकें। उनसे स्थानीय संघ प्रचारकों या भाजपा कार्यकर्ताओं के घरों पर रहने को कहा गया है।

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