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कोरोना संकट से बीसीसीआई को इतनी भारी चपत, खिलाड़ियों की सैलरी पर भी ग्रहण

भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के अध्यक्ष सौरव गांगुली का कहना है कि यदि इस साल आईपीएल का आयोजन नहीं हो पाता है तो बोर्ड को करीब चार हजार करोड़ रुपए का नुकसान उठाना पड़ेगा।

Shivani Awasthi
Published on: 15 May 2020 3:05 PM GMT
कोरोना संकट से बीसीसीआई को इतनी भारी चपत, खिलाड़ियों की सैलरी पर भी ग्रहण
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अंशुमान तिवारी

नई दिल्ली। कोरोना संकट की वजह से दुनिया भर में खेल आयोजनों पर ग्रहण लग गया है और तमाम प्रतियोगिताओं को रद्द करना पड़ा है। क्रिकेट की दुनिया को भी इस संकट ने काफी हद तक प्रभावित किया है और दुनिया भर के क्रिकेट बोर्ड को भारी नुकसान उठाना पड़ा है। दुनिया में सबसे अमीर माने जाने वाला क्रिकेट बोर्ड बीसीसीआई भी कोरोना वायरस की मार से अछूता नहीं है। आईपीएल के आयोजन पर मंडरा रहे संकट के कारण बीसीसीआई को भारी कीमत चुकानी पड़ सकती है।

चार हजार करोड़ का होगा नुकसान

भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के अध्यक्ष सौरव गांगुली का कहना है कि यदि इस साल आईपीएल का आयोजन नहीं हो पाता है तो बोर्ड को करीब चार हजार करोड़ रुपए का नुकसान उठाना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि इस नुकसान की भरपाई खिलाड़ियों के वेतन में कटौती करके की जा सकती है।

आईपीएल का आयोजन 29 मार्च से होना था मगर उस समय लॉकडाउन के कारण इसे 15 अप्रैल तक स्थगित कर दिया गया था। बाद में लॉकडाउन बढ़ने पर आईपीएल को अब अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है। अभी भी तय नहीं है कि आईपीएल का आयोजन हो पाएगा या नहीं।

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देखनी होगी वित्तीय स्थिति

एक अखबार को दिए इंटरव्यू में सौरव गांगुली ने कहा कि हमें बीसीसीआई की वित्तीय स्थिति की जांच करनी होगी। हमें यह देखना होगा कि हमारे पास कितना पैसा है और उसके बाद ही कोई फैसला लिया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि आईपीएल का 13 वां सीजन रद्द होने से बीसीसीआई को करीब चार हजार करोड़ का झटका लगेगा जो कि बहुत भारी नुकसान है।

फिर उठाना पड़ेगा यह कदम

बीसीसीआई के अध्यक्ष ने कहा यदि आईपीएल का आयोजन होता है तो हमें खिलाड़ियों की वेतन कटौती के बारे में नहीं सोचना पड़ेगा और हम स्थितियों को संभाल सकते हैं मगर अगर यह आयोजन रद्द होता है तो खिलाड़ियों के वेतन में कटौती की जा सकती है। उन्होंने कहा कि हम सरकार के फैसले का इंतजार कर रहे हैं। अगर सरकार की ओर से अनुमति मिलती है तो बोर्ड की ओर से शीर्ष खिलाड़ियों की ट्रेनिंग शुरू की जा सकती है। अगर सरकार की ओर से अनुमति मिली तो अगले कुछ महीनों में आईपीएल के आयोजन का एलान किया जा सकता है।

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खाली स्टेडियम से घटेगी दिलचस्पी

खाली स्टेडियम में आईपीएल के मैच कराने के संबंध में गांगुली ने कहा कि ऐसे आयोजन से आईपीएल के प्रति लोगों की दिलचस्पी और उत्साह कम हो जाएगा। उन्होंने कहा कि दर्शकों की मौजूदगी से खिलाड़ियों में अच्छे खेल के प्रति एक जज्बा पैदा होता है। उन्होंने कहा कि 1999 में ऐसी परिस्थितियों में खेल हो चुका है और उस समय भी लोगों के उत्साह में भारी कमी दिखी थी। गांगुली ने कहा कि यदि सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान रखते हुए कम लोगों की मौजूदगी में मैच का आयोजन कराया जाता है तो इसके लिए पुलिस को काफी सख्त रुख अपनाना पड़ेगा।

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Shivani Awasthi

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