×

बाहुबली पूर्व सांसद धनंजय सिंह को नहीं मिली जमानत, कोर्ट ने दिया ये आदेश

कोर्ट ने धनंजय सिंह के आपराधिक इतिहास का पता लगाकर 15 जुलाई को कोर्ट को बताने का आदेश दिया है। बता दें कि बाहुबली पूर्व सांसद धनंजय सिंह को इलाहाबाद हाईकोर्ट से राहत नहीं मिली है।

Newstrack
Published on: 9 July 2020 6:16 PM IST
बाहुबली पूर्व सांसद धनंजय सिंह को नहीं मिली जमानत, कोर्ट ने दिया ये आदेश
X

प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बाहुबली पूर्व सांसद धनंजय सिंह की जमानत अर्जी पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार के अधिवक्ता से पूर्व सांसद की ओर से अपने आपराधिक इतिहास को लेकर दिये गये तथ्यों की सत्यता की जानकारी मांगी है। कोर्ट ने धनंजय सिंह के आपराधिक इतिहास का पता लगाकर 15 जुलाई को कोर्ट को बताने का आदेश दिया है। बता दें कि बाहुबली पूर्व सांसद धनंजय सिंह को इलाहाबाद हाईकोर्ट से राहत नहीं मिली है।

उसके खिलाफ कुल 38 आपराधिक केस दर्ज हैं

धनंजय सिंह ने जमानत अर्जी दाखिल कर कहा है कि उसके खिलाफ कुल 38 आपराधिक केस दर्ज हैं, जिसमें से 24 में वह बरी हो चुका है। एक केस में डिस्चार्ज हुआ है। 4 केस में फाइनल रिपोर्ट लग चुकी है। 3 केस वापस ले लिये गये हैं। अब केवल 5 आपराधिक मुकदमे ही उनके खिलाफ चल रहे हैं। इस आधार धनंजय सिंह ने कोर्ट से जमानत पर रिहा किए जाने की मांग की है।

ये भी देखें: विकास दुबे: 5 लाख के इनाम के लिए रेस में सबसे आगे चल रहे ये चेहरे

अगली सुनवाई होगी 15 जुलाई को

धनंजय सिंह की जमानत अर्जी पर अब अगली सुनवाई 15 जुलाई को होगी। यह आदेश जस्टिस डी के सिंह की एकलपीठ ने धनंजय सिंह की जमानत अर्जी पर सुनवाई करते हुए दिया है।

क्या है पूरा मामला

गौरतलब है कि अभिनव सिंहल ने जौनपुर के लाइन बाजार थाने में 10 मई 2020 को एक एफआईआर दर्ज करायी, जिसमें याची के खिलाफ पिस्टल लेकर धमकी व गाली देने का आरोप लगाया गया है। शिकायतकर्ता का कहना है कि उसे फोन पर धमकी दी जा रही थी। वह एसटीपी साइट पर था, विक्रम सिंह साथियों के साथ गाड़ी लेकर आए और उसे जबरन धनंजय सिंह के घर ले गए। वह अपने आदमियों से मटीरियल सप्लाई कराना चाहते हैं।

ये भी देखें: बायकाट चीनः अब ग्राहकों पर भारी पड़ा बैन, कीमतें आसमान पर

घटिया बालू व मटीरियल एसटीपी में लगाने का आरोप

जेई से घटिया बालू व मटीरियल एसटीपी में लगाने का आरोप लगवाया और वापस छोड़ दिया। शिकायतकर्ता ने कहा है कि क्वालिटी वर्क किया जायेगा। जानमाल की हिफाजत के लिए प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है। सत्र न्यायालय ने जेई द्वारा घटना की पुष्टि के आधार पर जमानत अर्जी खारिज कर दी है। जिसके बाद हाईकोर्ट में जमानत अर्जी दाखिल की गई है।

Newstrack

Newstrack

Next Story