TRENDING TAGS :

Aaj Ka Rashifal

डीजल-पेट्रोल के दामों में वृद्धि के खिलाफ सड़कों पर उतरी कांग्रेस, किया जोरदार प्रदर्शन

भारतीय लोक संस्कृति में रचा-बसा पान हिंदुस्तानी समाज में कबसे शुरू हुआ, यह तो ठीक से नहीं कहा जा सकता। मगर इतना जरूर कहा सकता है कि इसका प्रचलन वैदिक काल से ही माना जाता है।

Aditya Mishra
Published on: 16 March 2020 7:29 PM IST
डीजल-पेट्रोल के दामों में वृद्धि के खिलाफ सड़कों पर उतरी कांग्रेस, किया जोरदार प्रदर्शन
X

लखनऊ: प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने कहा है कि केन्द्र सरकार द्वारा कच्चे तेल के दामों में लगभग तीन गुने की भारी कमी के बावजूद डीजल और पेट्रोल के उत्पाद शुल्क पर तीन रूपये प्रति लीटर की बढ़ोत्तरी करके तेल कम्पनियों के मालिक पूंजीपति मित्रों मुनाफाखोरी का रास्ता खोला गया है।

अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के मूल्य में हुई भारी कमी होने के बावजूद आम जनता केा इसका लाभ न मिलने और मुनाफाखोरी के खिलाफ तथा असमय वर्षा, ओलावृष्टि और तेज हवाओं के चलते हुई फसलों की भारी बर्बादी और इस आपदा से हुई लगभग चार दर्जन लेागों की दुखद मृत्यु पर समुचित आर्थिक मुआवजा प्रदान किये जाने की मांग को लेकर सोमवार को प्रदेश कांग्रेस ने सभी जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शन कर विरोध जताया।

प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता बृजेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि पेट्रोल और डीजल के दामों में कमी किये जाने और केन्द्र सरकार द्वारा लगाये गये उत्पाद शुल्क को वापस लेने की मांग को लेकर आज प्रदेश के सभी जनपदों में जिला एवं शहर कांग्रेस कमेटियों के तत्वावधान में कांग्रेसजनों द्वारा व्यापक धरना-प्रदर्शन का आयोजन किया गया और सम्बन्धित जनपदों के जिलाधिकारियों को ज्ञापन के माध्यम से मांग पत्र सौंपा गया।

ये भी पढ़ें.,.जोर का झटका: पेट्रोल और डीजल के दामों में हुई बढ़ोत्तरी, जानें नए रेट्स

कांग्रेस ने किया जोरदार प्रदर्शन

इसी क्रम में सोमवार को राजधानी लखनऊ के जीपीओ पार्क स्थित राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने सैंकड़ों कांग्रेसजनों द्वारा विशाल धरना-प्रदर्शन किया गया।

कांग्रेस का कहना है कि मौजूदा समय में कच्चे तेल की कीमत 30 डाॅलर प्रति बैरल के नीचे पहुंच गया है। जबकि यूपीए की सरकार में जब कच्चे तेल की कीमत लगातार 100 डाॅलर प्रति बैरल से ऊपर थी तब पेट्रोल 71 रुपये और डीजल 55 रुपये प्रति लीटर बिक रहा था तथा सरकार द्वारा पेट्रोल पर उत्पाद शुल्क 9 रुपये तथा डीजल पर 3 रुपये 50 पैसे था।

यही जब 1991-92 में 30 डालर प्रति बैरल से नीचे कच्चा तेल था तो कांग्रेस सरकार जनता को 17 रुपये में पेट्रोल और 13 रुपये प्रति लीटर डीजल मुहैया करा रही थी। लेकिन मौजूदा सरकार को जनता के हितों की कोई फिक्र नहीं है।

आज 30 डालर प्रति बैरल कच्चा तेल सबसे न्यूनतम स्तर होने के बावजूद भी पेट्रोल 70 रुपये और डीजल 65 रुपये प्रति लीटर खरीदने के लिए देश और प्रदेश की जनता को मजबूर किया जा रहा है।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि असमय वर्षा, ओलावृष्टि, तेज हवा से हमारे प्रदेश के किसानों की फसलों की बहुत ज्यादा क्षति हुई है तथा लगभग चार दर्जन से अधिक लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है। प्रदेश सरकार पूरी तरह उदासीन होकर सिर्फ शोशेबाजी कर रही है।

भाजपा सरकार जनता की जेब पर डाका डाल रही है: कांग्रेस

कांग्रेस पार्टी मृतकों को बीस-बीस लाख रूपये एवं किसानों की बर्बाद हुई फसलों का पूरा मुआवजा दिये जाने की मांग करती है। उन्होंने कहा कि 90 प्रतिशत देश की जनता डीजल और पेट्रोल की उपभोक्ता है चाहे वह कृषि क्षेत्र में आने वाले ट्रैक्टर, पम्पिंग सेट या अन्य कृषि संयत्र अथवा स्वयं के उपयोग के लिए दो पहिया और चार पहिया वाहन हों, माल ढुलाई एवं यातायात के साधन आदि सभी में डीजल और पेट्रोल की खपत होती है।

ऐसे में देश और प्रदेश की भाजपा सरकार मंहगाई को नियंत्रित करने एवं जनता के हितों पर ध्यान न देकर अपने पूंजीपति मित्रों के माध्यम से तेल कंपनियों को मुनाफाखोरी करवा रही है और आम जनता की जेब पर डाका डाल रही है।

उन्होने कहा है कि पार्टी केन्द्र और राज्य की भाजपा सरकार द्वारा पेट्रोलियम पदार्थों पर की जा रही इस मुनाफाखोरी के खिलाफ जनता के हित में इसका लाभ दिलाये जाने और उत्पाद शुल्क को वापस लेने तथा अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत के अनुपात में तेल के दामों में कमी किए जाने की मांग पर निरन्तर सड़क से सदन तक संघर्ष करती रहेगी।

BJP नेताओं के खिलाफ पोस्टर लगाने पर फंसी कांग्रेस, लिया गया ये एक्शन



\
Aditya Mishra

Aditya Mishra

Next Story