×

यूपी में बढ़ रही कोरोना की रफ्तार, 24 घंटे में 38 लोगों ने गंवाई जान, 2250 नए केस

यूपी में कोरोना वायरस बड़ी ही तेजी के साथ पांव पसार रहा है। बीते 24 घंटे में 2250 कोरोना के नए मरीज मिले हैं। इनमें से 38 मरीजों की मौत हो गई है। अगर हम जिलेवार कोरोना मरीजों के आंकड़े पर गौर करें तो पाएंगे की बीते 24 घंटे में लखनऊ में कोरोना के 392, कानपुर में 168, नोएडा में 125 वाराणसी में 73.प्रयागराज में 100 नये केस मिले हैं।

Newstrack
Published on: 19 July 2020 5:02 PM IST
यूपी में बढ़ रही कोरोना की रफ्तार, 24 घंटे में 38 लोगों ने गंवाई जान, 2250 नए केस
X

लखनऊ: यूपी में कोरोना वायरस बड़ी ही तेजी के साथ पांव पसार रहा है। बीते 24 घंटे में 2250 कोरोना के नए मरीज मिले हैं। इनमें से 38 मरीजों की मौत हो गई है। अगर हम जिलेवार कोरोना मरीजों के आंकड़े पर गौर करें तो पाएंगे की बीते 24 घंटे में लखनऊ में कोरोना के 392, कानपुर में 168, नोएडा में 125 वाराणसी में 73.प्रयागराज में 100 नये केस मिले हैं।

वहीँ गोरखपुर में 89,हरदोई में 68, झांसी में 104, शाहजहांपुर में 58 केस मिले हैं। जबकि कानपुर में 8 और बरेली में 4 लोगों की मौत हुई है। अगर हम इलाज के उपरांत स्वस्थ हुए मरीजों की बता करें अब तक प्रदेश में 29845 लोग इलाज के बाद पूरी तरह से ठीक होने के बाद अस्पतालों से डिस्चार्ज हुए हैं।

जबकि 1146 लोगों की कोरोना से मौत हुई है। यूपी में इस वक्त 18256 कोरोना के एक्टिव मामले है। जबकि 24 घंटे में कोरोना से 38 लोगों की जान जा चुकी है। अगर हम केवल राजधानी लखनऊ कि बात करें तो यहां पर कुल संक्रमितों की संख्या 2509 हो गई है।

कोरोना वार्ड में सैलाबः मरीजों में मचा हड़कंप, यहां का है मामला

दिखें ये लक्षण तो हो जाएं अलर्ट, जाएं अस्पताल

अनुसंधान कर्ताओं ने COVID-19 के तेजी से कम्युनिटी प्रसार के बीच इस बात का पता लगा लिया है कि कोरोना वायरस कितने प्रकार का होता है और उसके क्या लक्षण होते हैं। यदि आपको ये लक्षण दिखते हैं तो सिर्फ क्वारंटीन होना है। और सावधान रहना है अगर कोई दिक्कत होती है तो डॉक्टर या अस्पताल में संपर्क करना है।

अनुसंधान कर्ताओं के अनुसार कोरोना के पहले दो प्रकार के सबसे कम खतरनाक वायरस से संक्रमित होने पर फ्लू जैसे लक्षण होते हैं और साथ में बुखार हो भी सकता है और नहीं भी।

तीसरे प्रकार के कोरोना वायरस से संक्रमित होने पर डायरिया के लक्षण हो सकते हैं. जबकि चौथे, पांचवें और छठे प्रकार के कोरोना वायरस के संक्रमण में थकावट, कंफ्यूजन, सांस की तकलीफ जैसे लक्षण हो सकते हैं।

ये भी पढ़ें अभी हो जाएं सावधान, कोरोना काल में जानलेवा हो सकती है ये बीमारी

बहुत जरूरी है ये बात

ये सामान्य लक्षण दिखने पर खुद को क्वारंटीन कर लेना जरूरी है ताकि संक्रमण और न फैले। घबड़ाने या दहशत में आने की जरूरत इसलिए नहीं है क्योंकि अनुसंधान कर्ताओं के अनुसार पहले प्रकार के कोरोना वायरस से संक्रमित होने वाले 1.5 फीसदी मरीजों और दूसरे प्रकार के वायरस के संक्रमित मरीजों में 4.4 फीसदी मरीजों को ही सांस लेने के लिए चिकित्सकीय सहायता की जरूरत होती है।

इसके अलावा तीसरे प्रकार कोरोना वायरस के संक्रमण के मामलों में सिर्फ 3.3 फीसदी मरीजों को सांस लेने में सहायता दिए जाने की जरूरत होती है।

लेकिन कोरोना वायरस के चौथे, पांचवे और छठे प्रकार के संक्रमण के मामलों में ये आंकड़े 8.6 फीसदी, 9.9 फीसदी और 19.8 फीसदी देखे गए हैं। यानी ये लक्षण दिखने पर तत्काल अस्पताल जाकर डाक्टर के सुपरविजन में आ जाना चाहिए।

ये भी पढ़ें आ गई सुपर वुमेन: देगी दुनिया का पहला वैक्सीन, तोड़ेगी कोरोना का कहर

छठे प्रकार के कोरोना वायरस के मामलों में जिसमें सांस की तकलीफ शुरू से होती है ऐसे मरीजों में आधे मरीजों को हॉस्पिटल में भर्ती होने की जरूरत पड़ी। यानी इन्हें बिना देरी किये अस्पताल ले जाना चाहिए।

वैज्ञानिकों को सभी प्रकार के कोरोनो वायरस के मामलों में सिर दर्द और गंध महसूस करने की शक्ति में कमी आने के लक्षण भी मिले हैं। कुल मिलाकर ये कहा गया है कि अगर बीमार होने के पांचवें दिन ये पता चल जाता है कि मरीज कोरोना वायरस बीमारी की किस कैटेगरी में है तो वक्त रहते उसका बेहतर केयर किया जा सकता है।

Newstrack

Newstrack

Next Story