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बड़ा आरोपः यूपी में सरकार ही बनी बेटियों का ‘काल, किसने कहा

भाकपा ने उत्तर प्रदेश के वामपंथी दलों की इस समझदारी को फिर दोहराया है कि राज्य सरकार स्थितियों को संभाल नहीं पा रही और वह शासन करने का नैतिक अधिकार खो बैठी है।

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Published on: 12 Aug 2020 9:55 AM IST
बड़ा आरोपः यूपी में सरकार ही बनी बेटियों का ‘काल, किसने कहा
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भाकपा ने कहा यूपी में सरकार ही बनी बेटियों का ‘काल'

लखनऊ: भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी, उत्तर प्रदेश राज्य सचिव मण्डल ने उत्तर प्रदेश में जंगलराज और महिलाओं एवं लिकाओं की जिन्दगीध् आबरू पर उसके कहर पर गहरी चिन्ता, दुख और आक्रोश जताया है। भाकपा राज्य सचिव मंडल ने अपनी जिला इकाइयों और सहयोगी संगठनों से अपील की कि वे स्थानीय स्तर पर तत्काल प्रतिरोध जताएं।

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भाकपा ने उत्तर प्रदेश के वामपंथी दलों की इस समझदारी को फिर दोहराया है कि राज्य सरकार स्थितियों को संभाल नहीं पा रही और वह शासन करने का नैतिक अधिकार खो बैठी है।

पार्टी के राज्य सचिव डॉ. गिरीश ने कही ये बात

पार्टी के राज्य सचिव डॉ. गिरीश ने कहा कि अभी हापुड़ की बच्ची की चीखें विचलित कर ही रहीं थी, उरई (जालौन) की लड़कियों की पुलिस प्रताड़ना और उससे विचलित हुयी एक लड़की की आत्महत्या की भयावह खबरें व्यथित कर ही रहीं थीं कि एक और होनहार बेटी- बुलंदशहर की सुदीक्षा आज शोहदों की छेड़छाड़ का शिकार बन कर जान से हाथ धो बैठी।

सरकार आज बेटियों का ‘काल’ बन कर रह गयी है

बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ का नारा देने वाली सरकार आज बेटियों का ‘काल’ बन कर रह गयी है। उत्तर प्रदेश में हर तरह के अपराधों की बाढ़ आयी हुयी है और हर जनपद में अखबारों के कई कई पन्ने स्थानीय अपराधों की खबर से भरे रहते हैं। बागपत में भाजपा नेता की हत्या तो सुर्खियों में आनी ही थी, लेकिन, प्रदेश में हत्याओं का अंबार लगा हुआ है। जमीनों- जायदादों को लेकर झगड़े भी रिकार्ड तोड़ रहे हैं। अपहरण, फिरौती और फिरौती लेकर भी हत्या, लूट और ठगी की वारदातें भी बढ़ी संख्या में हो रही हैं।

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अर्थाभाव और अव्यवस्था से लोग बड़े पैमाने पर आत्महत्याएं कर रहे हैं। लेकिन महिला हिंसा ने तो अब तक के सारे रिकार्ड तोड़ दिये हैं। भाजपा राज आज अपराध राज बन गया है। यह भी तमाम तमाम एंकाउंटर्स के वाबजूद। क्योंकि लोगों की नजर में ये एंकाउंटर राजनैतिक हैं और अपराध करने वालों पर इसका कोई असर नहीं पड़ रहा है। उत्तर प्रदेश की पुलिस की कारगुजारियां अपने आप में सवालों के घेरे में हैं। वह अपराधों को रोक नहीं पा रही है और आम लोगों पर कहर वरपा रही है।

इस सबकी कोई जिम्मेदारी लेने को तैयार नहीं है। जनता इस जंगलराज को भोगने को अभिशप्त है। लोगों में यह सवाल गहराता जा रहा है कि जब सरकार अपने दायित्वों का निर्वाह कर नहीं पा रही तो फिर क्यों सत्ता में बनी हुयी है। भाकपा ने बुलंदशर, हापुड़, उरई और प्रदेश भर की महिला हिसा के दोषियों के विरूध्द कड़ी से कड़ी कार्यवाही की मांग की है।

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