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प्रधान का फर्जीवाड़ाः किसी के नाम से बना मकान दे दिया दूसरे को, डीएम कराएंगे जांच

यूपी की योगी सरकार सत्ता में आने के बाद जिस तरह जीरो टॉलरेंस और भ्रष्टाचार मुक्त प्रदेश की बात कर रही थी, लेकिन प्रदेश में भ्रष्टाचार रुकने का नाम नहीं...

Newstrack
Published on: 9 July 2020 11:40 AM IST
प्रधान का फर्जीवाड़ाः किसी के नाम से बना मकान दे दिया दूसरे को, डीएम कराएंगे जांच
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एटा: यूपी की योगी सरकार सत्ता में आने के बाद जिस तरह जीरो टॉलरेंस और भ्रष्टाचार मुक्त प्रदेश की बात कर रही थी, लेकिन प्रदेश में भ्रष्टाचार रुकने का नाम नहीं ले रहा है। जी हां, हम बात कर रहे है यूपी के जनपद एटा की और ऐसे गरीब और असहाय लोगों की जिनके पास अपना सर ढकने और रहने के लिए जगह नहीं है और जो सरकारी आवास के वास्तविकता में पात्र हैं।

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लेकिन ये सरकारी आवास ब्लॉक के कर्मचारियों की मिलीभगत से प्रधान द्वारा भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया। दरअसल पूरा मामला एटा के ब्लॉक शीतलपुर के ग्राम पंचायत औंन का है। जहां ग्राम पंचायत प्रधान किशलनलाल शाक्य और ग्राम सचिव संजय शर्मा की मिली भगत से ग्राम प्रधान ने तालेवर पुत्र गंगाराम के नाम से किसी बैंक में फर्जी तरीके से खाता खुलवाया जबकि पीड़ित प्रार्थी के पिता का नाम टीकाराम है।

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जिला अधिकारी ने दिए जांच के आदेश

पीएम आवास योजना के तहत प्रार्थी को मिलने वाला आवास कल्लू खां पुत्र बशीर खां को दे दिया गया। और तीन किश्तों में फ्राड करके 70 हजार, 40 हजार औऱ 10 हजार यानी कुल एक लाख बीस हजार रुपया निकाल लिया गया। आपको बता दें कि प्रार्थी दिल्ली एनसीआर में कहीं अपना भरण पोषण के लिए नौकरी करता है जब वह लॉकडाउन से पूर्व अपने गांव आया तो गांव के लोगों से उसको जानकारी हुई उसके बाद उसने खोजबीन की सारे प्रपत्र इकट्ठे किये। और प्रार्थी आज डीएम सुखलाल भारती के सामने अपनी शिकायत लेकर पहुंचा। डीएम सुखलाल भारती ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जिला विकास अधिकारी एसएन कुशवाह को जांच कर रिपोर्ट सौंपने की बात कही है।

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अब देखना ये होगा कि जांच कब तक पूर्ण होती है और जिला प्रशासन द्वारा भ्रष्टाचार में लिप्त ग्राम सचिव और ग्राम प्रधान पर किस तरह की कार्यवाही होती है।

रिपोर्ट: मोहसिन राशिद

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