Mukhtar Ansari: मुख्तार अंसारी के परिवार पर चढ़ा एक और मुकदमा, व्यापारी नेता को जेल बुलाकर धमकाने का आरोप

Mukhtar Ansari: अंसारी परिवार के गृह जनपद गाजीपुर की सदर कोतवाली में व्यापारी नेता अबु फकर खां ने छह लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया है। जिनमें जेल में बंद मुख्तार अंसारी, उसके विधायक बेटे अब्बास अंसारी और फरार पत्नी अफ्शां अंसारी भी शामिल हैं।

Krishna Chaudhary
Published on: 14 Aug 2023 10:01 AM GMT
Mukhtar Ansari: मुख्तार अंसारी के परिवार पर चढ़ा एक और मुकदमा, व्यापारी नेता को जेल बुलाकर धमकाने का आरोप
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मुख्तार अंसारी: Photo- Social Media

Mukhtar Ansari: पूर्वांचल के कुख्यात माफिया डॉन और बाहुबली राजनेता मुख्तार अंसारी और उसके परिवार पर मुकमदों का अंबार लगा हुआ है। अंसारी परिवार के सदस्य या तो जेल में हैं या फरारी काट रहे हैं। उन पर लगे मुकदमों की फेहरिस्त में एक नया मामला दर्ज हुआ है। अंसारी परिवार के गृह जनपद गाजीपुर की सदर कोतवाली में व्यापारी नेता अबु फकर खां ने छह लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया है। जिनमें जेल में बंद मुख्तार अंसारी, उसके विधायक बेटे अब्बास अंसारी और फरार पत्नी अफ्शां अंसारी भी शामिल हैं।

व्यापारी नेता ने माफिया डॉन मुख्तार पर जेल में बुलाकर धमकी देने का आरोप लगाया है। मामला साल 2012 का बताया जा रहा है। पीड़ित व्यापारी नेता अबु फकर का आरोप है कि उस दौरान उसे लखनऊ जेल बुलाकर धमकी दी गई थी। बसपा और सपा सरकार में अंसारी परिवार के रूतबे को देखते हुए वो इतने दिनों तक चुप बैठा था। गाजीपुर कोतवाली पुलिस ने उसकी तहरीर पर मामला दर्ज कर लिया है। जल्द ही मामले की जांच शुरू की जाएगी।

इस संबंध में गाजीपुर पुलिस की टीम बांदा जेल में बंद माफिय़ा मुख्तार अंसारी और कासगंज जेल में बंद उसके बड़े बेटे और मऊ सदर से विधायक अब्बास अंसारी से पूछताछ कर सकती है। जबकि मामले में आरोपी बनाए गए अंसारी परिवार की तीसरी सदस्य अफ्शां अंसारी लंबे समय से फरार चल रही हैं। अन्य मामलों में भी यूपी पुलिस को उनकी तलाश है।

बहू निकहत को मिली थी सुप्रीम कोर्ट से जमानत

मुकदमों के मकड़जाल में फंसे अंसारी परिवार को दो दिन पहले लंबे समय बाद तब बड़ी राहत मिली थी, जब सुप्रीम कोर्ट ने मुख्तार की बहू और अब्बास अंसारी की पत्नी निकहत बानो को जमानत दे दी। निकहत को अपने विधायक पति अब्बास से चित्रकूट जेल में अवैध तरीके से मुलाकात करने के सिलसिले में गिरफ्तार किया गया था। वह महीनों से उसी जेल में बंद थीं। जबकि अब्बास अंसारी को वहां से हटा कर कासगंज जेल शिफ्ट कर दिया गया था। शीर्ष अदालत ने मानवीय आधार पर निकहत की जमानत अर्जी मंजूर की थी।

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