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Hardoi News: कुम्हारी कला से जुड़े लोगो के बहुरे दिन, मिट्टी के लिए तालाब हुआ आवंटित, जल्द मिलेगी यह सुविधा
Hardoi News: केंद्र में व प्रदेश में भाजपा की सरकार आने के बाद हस्तशिल्प को बढ़ावा दिया गया जिसके बाद उत्तर प्रदेश में कुम्हार कला बोर्ड का भी गठन किया गया।
Hardoi News: प्राचीन समय से मिट्टी के बने बर्तनों का काफी चलन रहा है। हालांकि समय के साथ मिट्टी के बर्तनों के स्थान पर प्लास्टिक, एलमुनियम और स्टील ने कब्जा जमा लिया। रेलवे स्टेशनों पर कुल्लड़ में बिकने वाली चाय अब प्लास्टिक के कप में बिक रही है। हालांकि आज भी लोगों को मिट्टी के बर्तनों में भोजन करना या चाय पीना काफी पसंद आता है। लोगों को मिट्टी के बर्तन से उठने वाली सोंधी खुशबू काफी आकर्षित करती है। गांव से लेकर शहर तक मिट्टी के बर्तनों का प्रचलन बंद होने के साथ-साथ इनका बनना भी काफी कम हो गया है। उसके पीछे भी कई अहम वजह हैं। सबसे बड़ी वजह है कि कुम्हारों को कुल्हड़, मिट्टी के बर्तन बनाने के लिए मिट्टी ही उपलब्ध नहीं हो पा रही थी। केंद्र में व प्रदेश में भाजपा की सरकार आने के बाद हस्तशिल्प को बढ़ावा दिया गया जिसके बाद उत्तर प्रदेश में कुम्हार कला बोर्ड का भी गठन किया गया। बोर्ड का गठन होने के बाद कुम्हारों के दिन बहुरे हैं और उन्हें मिट्टी निकालने के लिए तालाबों का आवंटन किया गया है साथ ही कुमारों को कई महत्वपूर्ण सुविधाएं भी दी गई है।
जल्द मिलेगी विद्युत से चलने वाली चाक
हरदोई में कुम्हारी का कार्य प्रजापति समाज के लोग करते हैं। इस समाज के लोग दीपावली में हम लोगों के घरों को जगमगाने के लिए अभी से ही दिये, गणेश लक्ष्मी भगवान की प्रतिमा व खिलौने आदि को बनाना शुरू कर दीया है। कुम्हारी का काम करने वाले प्रजापति समाज के लोगों ने बताया कि जबसे प्रदेश में योगी सरकार बनी है तब से उनको काफी राहत मिली है। सरकार द्वारा कुम्हारों के कल्याण के लिए कुम्हारी कला बोर्ड का गठन किया है। इस बोर्ड के गठन के बाद से कुम्हार को काफी राहत मिली है। पहले कुम्हारों को मिट्टी निकालने के लिए बड़ी समस्याएं होती थी लेकिन अब बोर्ड के गठन के बाद सरकार ने कुम्हारों को तालाब आवंटित कर दिए हैं जिससे कि वह आसानी से मिट्टी निकाल सकते हैं।
कुम्हारों ने बताया कि मिट्टी मिलने के बाद अब वह पुनः मटका, सुराही, घड़ा समेत मिट्टी के बर्तन बनाने शुरू कर दिए हैं। कुम्हारों ने बताया कि योगी सरकार में उन्हें लगातार प्रोत्साहन दिया जा रहा है। हाल ही में उत्तर प्रदेश सरकार में आबकारी मंत्री व हरदोई के विधायक नितिन अग्रवाल ने भी कुम्हारों को सम्मानित करने का काम किया है। कुम्हारी का काम करने वाले जगमोहन ने बताया कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा जल्द ही कुम्हारों को बिजली से चलने वाली चाक भी आवंटित की जाएगी जिससे कि कुम्हारी का काम और आसान हो जाएगा और मिट्टी से बनने वाले वस्तुओं में साफ सफाई और सुंदरता आएगी। अभी तक हाथ से चलित चाक का प्रयोग कुम्हार कर रहे हैं। सरकार द्वारा विद्युत चलित चाक का आवेदन मांगा गया है जल्द ही कुम्हारों को विद्युत चलित चाक भी उपलब्ध हो जाएगी।
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क्या बोली एसडीएम
सदर एसडीएम स्वाति शुक्ला ने बताया कि पूरी तहसील का प्रयास रहता है कि कुम्हारों को ज्यादा से ज्यादा तालाबों का आवंटन हो सके उनको निशुल्क मिट्टी मिल सके तो हम लोगों के द्वारा मानक से कहीं ऊपर जाकर तालाब आवंटन किया गया है। कुम्हारों को जिससे निशुल्क मिट्टी भी मिलती है और इनका प्रोत्साहन भी होता है। कुल 120 व्यक्तियों को तालाब का आवंटन किया है। कुम्हारी कला मिट्टी निकालने के लिए 38 शहर के और लगभग 82 के आसपास ग्रामीण क्षेत्र के कुम्हार शामिल है। विद्युत चलित चाक के लिए भी पत्र लिखा गया है लिस्ट बनाकर के शासन को भेजा गया है।
विद्युत चलित चाक खादी ग्राम उद्योग से मिलती है उनसे बात भी हुई है इस वित्तीय वर्ष में जितने भी आवंटन हुए हैं उन सभी को विद्युत चलित चाक उपलब्ध हो जाएगी।एसडीएम सदर स्वाति शुक्ला ने कहा कि जनपद में जितने भी कार्यक्रम होते हैं उसमें कुम्हारी कला से जुड़े लोगों को आमंत्रित किया जाता है।उनका स्टॉल लगाया जाता है इनकी जो कला है उसको प्रोत्साहित करने के लिए विज्ञापन के लिए इनका स्टॉल लगाया जाता है जिससे इनकी बिक्री भी बढ़ती है और लोग इनकी कला भी देखते हैं।