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किसानों ने यह काम किया तो होगा भारी नुकसान, जुर्माना तो लगेगा, मिट्टी को भी नुकसान

किसानों की ओर से खेतों में कोई भी फसल का अवशेष जलाने पर पकड़े जाने पर जुर्माना देना पड़ता है। पिछले साल कई किसानों पर रिपोर्ट दर्ज होने के साथ ही जुर्माना भी वसूला गया था। सेटेलाइट से भी खेतों की निगरानी हुई थी।

Dharmendra kumar
Published on: 18 April 2020 6:39 PM GMT
किसानों ने यह काम किया तो होगा भारी नुकसान, जुर्माना तो लगेगा, मिट्टी को भी नुकसान
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कन्नौज: किसानों की ओर से खेतों में कोई भी फसल का अवशेष जलाने पर पकड़े जाने पर जुर्माना देना पड़ता है। पिछले साल कई किसानों पर रिपोर्ट दर्ज होने के साथ ही जुर्माना भी वसूला गया था। सेटेलाइट से भी खेतों की निगरानी हुई थी। उधर, वैज्ञानिकों का कहना है कि अवशेष में आग लगाने से मिट्टी के जरूरी तत्व मर जाते हैं और फसल उत्पादन पर विपरीत प्रभाव पड़ता है।

यूपी के कन्नौज जनपद के ब्लॉक जलालाबाद क्षेत्र के अनौगी में स्थित कृषि विज्ञान केंद्र के मृदा वैज्ञानिक डॉ. खलील खान कहते हैं कि जो किसान इन दिनों गेहूं फसल की खेतों में कंबाइन मशीन से कटाई कर रहे हैं, वह बचे हुए अवशेष में आग न लगाएं। ऐसा करने से मिट्टी में मौजूद जीवांश कार्बन और सूक्ष्मजीव जलकर नष्ट हो जाते हैं। इससे मिट्टी के स्वास्थ्य पर भी गलत असर पड़ता है।

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मृदा वैज्ञानिक डॉ. खान ने बताया कि खेतों में फसल अवशेष जलाने से मिट्टी के गुणवधर्म भी प्रभावित होते हैं, जिससे मिट्टी का रंग व जलधारण क्षमता भी प्रभावित होती है। वैज्ञानिक डॉ. खान का कहना है कि किसान रोटावेटर खेत में चलाकर मई के पहले सप्ताह में खेत में पानी भरकर हल्की यूरिया डाल दें। या वेस्ट डी कंपोजर डाल दें, इससे फसल अवशेष खेत में ही सड़कर खाद बन जाएगा। इससे मिट्टी का जीवांश भी बढ़ेगा और फसल के लिए मिट्टी भी स्वस्थ्य होगी। साथ ही फसल उत्पादन भी गुणवत्ता युक्त होगा।

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केवीके अध्यक्ष व वरिष्ठ कृषि वैज्ञानिक डॉ. वीके कनौजिया ने बताया कि कोरोना वायरस के संक्रमण से बचने के लिए सभी किसान खेतों में काम करते वक्त मुंह पर अंगौछा या रूमाल या मास्क जरूर बांधें। साथ ही फिजिकल डिस्टेंसिंग भी बनाए रखें। लॉकडाउन का भी पालन करें। इससे खुद व समाज को संक्रमित होने से रोका जा सकता है।

जिला कृषि अधिकारी राममिलन सिंह परिहार ने बताया कि पिछले साल मक्का फसल अवशेष में आग लगाने के कई मामले पकड़े गए थे। इसमें कई किसानों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराते हुए जुर्माना वसूला गया था। इससे पहले किसानों को जागरूक भी किया गया था, लेकिन जिन लोगों ने बात नहीं मानी, उनके खिलाफ ही कार्रवाई हुई।

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डीडी कृषि आरएन सिंह ने बताया कि अब अधिकारी और कर्मचारी के साथ ही सेटेलाइट से निगरानी होती है, अगर कोई व्यक्ति फसल अवशेष में आग लगाते हुए दिखता है तो उसकी जानकारी तुरंत सम्बंधित जिले के विभाग को भेज दी जाती है। उसके बाद आग लगाने वाले व्यक्ति या किसान पर कार्रवाई होती है। उन्होंने बताया कि अब तक चली किसान पाठशालाओं के जरिए भी किसानों को फसल अवशेष में आग न लगाने की सलाह दी गई थी।

Dharmendra kumar

Dharmendra kumar

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