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मोदी को दूंगा रामनामी: आमत्रण पत्र से खुश हुए इकबाल अंसारी, कही ये बात

आमंत्रण पत्र मिलने के बाद इकबाल अंसारी बेहद उत्साहित है। उन्होंने कहा कि वह मंदिर निर्माण प्रधानमंत्री मोदी के आगमन पर उन्हे रामचरितमानस और रामनामी भेंट करेगें। उन्होंने कहा, मैं भी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वागत के लिए तैयार बैठा हूं।

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Published on: 3 Aug 2020 11:00 AM GMT
मोदी को दूंगा रामनामी: आमत्रण पत्र से खुश हुए इकबाल अंसारी, कही ये बात
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लखनऊ। अयोध्या में होने वाले षिलान्यास कार्यक्रम मेंषामिल होने के लिए बाबरी मस्जिद के पक्षकार इकबाल अंसारी को आयोजकों ने पहला आमन्त्रण पत्र बता दिया कि यह एक लोकतांत्रिक देष है और यहां की एकताा और अखण्डता कोई हिला नहीं सकता है।

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आमंत्रण पत्र मिलने के बाद इकबाल अंसारी बेहद उत्साहित

आमंत्रण पत्र मिलने के बाद इकबाल अंसारी बेहद उत्साहित है। उन्होंने कहा कि वह मंदिर निर्माण प्रधानमंत्री मोदी के आगमन पर उन्हे रामचरितमानस और रामनामी भेंट करेगें। उन्होंने कहा, मैं भी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वागत के लिए तैयार बैठा हूं। इसके लिए रामनामी और मानस जैसी अयोध्या की अनमोल धरोहर खरीदकर रख ली है। इकबाल अंसारी ने कहा, रामनामी हो या मानस, यह जितना हिंदुओं के लिए आदरयोग्य है, उतनी ही मुस्लिमों के भी लिए महत्वपूर्ण है।

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अंसारी के पिता हाशिम अंसारी बाबरी मस्जिद के मुख्य पक्षकार

इकबाल अंसारी के पिता हाशिम अंसारी न सिर्फ बाबरी मस्जिद के मुख्य पक्षकार थे। जो राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद के मालिकाना हक से जुड़े मुकदमे के शुरूआती वादियों में से एक थे। बल्कि राम मंदिर आंदोलन के अगुआ रामचंद्र परमहंस के करीबी दोस्त भी थे। दोनों के बीच दोस्ती भी ऐसी की मुकदमा लड़ने के लिए एक ही रिक्षे पर बैठकर एक साथ जाया करते थे। हातिम अंसारी के निधन के बाद इकबाल अंसारी ही अपने पिता की ओर से बाबरी मस्जिद का मुकदमा देख रहे थे। हाषिम असारी की 2016 में मौत हो गई थी। जिसके बाद मुकदमे की जिम्मेदारी इकबाल अंसारी ने ले लिया।

आमंत्रण आया, तो भूमिपूजन में अवश्य जाऊंगा

पिछले साल नवम्बर में सुप्रीम कोर्ट ने, विवादित स्थल पर राम मंदिर बनाए जाने के पक्ष में फैसला सुना दिया. आमंत्रण मिलने से पहले मो. इकबाल ने कहा था कि आमंत्रण आया, तो भूमिपूजन में अवश्य जाऊंगा। हमारा मजहब हमें सभी धर्मों का आदर सिखाता है। हम हिंदू धर्म के लाखों देवी-देवताओं के साथ सभी पीर-पैगंबर का सम्मान करते हैं। उन्होने कहा कि हमें राम के बताए रास्ते पर चलना चाहिए। वह पूर्व में भी आपसी सौहार्द्र को बढ़ाने वाले बयान देते रहे हैं। इससे पहले भी इकबाल अंसारी ने कहा था कि उन्हें अयोध्या में बन रहे राम मंदिर से बहुत खुशी है। हालांकिे वह अयोध्या में मस्जिद के बनाए गए ट्रस्ट से वो नाराज हैं. इसको लेकर उन्होंने कहा था कि उन्हें ट्रस्ट से कोई लेना देना नहीं है।

रिपोर्ट- श्रीधर अग्निहोत्री, लखनऊ

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