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राम मंदिर ट्रस्ट की रूपरेखा तैयार, 6 से ज्यादा होंगे ट्रस्टी

राम मंदिर निर्माण के लिए ट्रस्ट में सोमनाथ ट्रस्ट की तरह केवल छह ट्रस्टी रखने पर सरकार सहमत नहीं है। इसमें ट्रस्टियों की संख्या ज्यादा रखे जाने पर सरकार गंभीरता से विचार कर रही है।

Shivakant Shukla
Published on: 11 Nov 2019 9:26 AM GMT
राम मंदिर ट्रस्ट की रूपरेखा तैयार, 6 से ज्यादा होंगे ट्रस्टी
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योगेश मिश्र

लखनऊ: राम मंदिर निर्माण के लिए बनने वाले ट्रस्ट की रूपरेखा तैयार करने के लिए केंद्र सरकार सोमनाथ मंदिर के लिए गठित ट्रस्ट का अध्ययन तकरीबन 15 दिन पहले कर चुकी है।

श्री श्री रविशंकर और अमित शाह हो सकते हैं शामिल

राम मंदिर निर्माण के लिए ट्रस्ट में सोमनाथ ट्रस्ट की तरह केवल छह ट्रस्टी रखने पर सरकार सहमत नहीं है। इसमें ट्रस्टियों की संख्या ज्यादा रखे जाने पर सरकार गंभीरता से विचार कर रही है। हालांकि अभी तक संख्या तय नहीं की जा सकी है। परंतु अध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर, रामलला के सखा त्रिलोकी नाथ पांडेय, विहिप के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष आलोक कुमार सहित तमाम नामों पर सहमति बनती नजर आ रही है। गृह मंत्री अमित शाह का चौकाने वाला नाम भी ट्रस्टियों में हो सकता है।

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केंद्र सरकार ने अयोध्या विवाद का हल निकालने के लिए श्री श्री रविशंकर की अगुवाई में एक तीन सदस्यीय कमेटी बनाई थी। श्री श्री रविशंकर इसके सदस्य थे। हालांकि यह समिति कोई हल नहीं ढ़ूंढ़ पाई। रामलला के दोस्त बन कर मुकदमा लड़ने वाले त्रिलोकी नाथ पांडेय भी ट्रस्ट के सदस्य बनाये जाएंगे।

निर्मोही अखाड़े को भी ट्रस्ट में जगह मिलने की उम्मीद

पांडेय की याचिका ही हिंदू हक में फैसले का आधार बनी। हालांकि यह याचिका पांडेय ने नहीं बल्कि देवकी नंदन अग्रवाल ने दाखिल की थी। उनके निधन के बाद पांडेय रामलला के सखा बने। यह याचिका रामलला विराजमान के नाम से दाखिल हुई थी। सर्वोच्च अदालत ने इसी के पक्ष में फैसला सुनाया है। निर्मोही अखाड़े को भी ट्रस्ट में जगह मिलने की उम्मीद की जानी चाहिए।

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विश्व हिंदू परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष आलोक कुमार और राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास भी ट्रस्ट के सदस्य बनाये जाएंगे। गोपाल सिंह विशारद के परिवार में किसी को ट्रस्ट का सदस्य बनने का अवसर भी हाथ लग सकता है। चारों शंकराचार्यों में से किसी एक व उनके प्रतिनिधि को भी ट्रस्ट में जगह मिल सकती है। राम मंदिर आंदोलन से जुड़े पुराने तीन-चार नेताओं के लिए भी जगह तैयार की जा रही है।

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ये लोग भी बन सकते हैं ट्रस्ट का हिस्सा

गृह मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार राम मंदिर निर्माण के लिए ट्रस्ट बनाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। इसके लिए अफसरों की एक टीम सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तकनीकी पहलुओं के अध्ययन के लिए बनाई गई है। टीम ने अपना काम करना शुरू कर दिया है। अटॉर्नी जनरल और कानून मंत्रालय से इसके लिए राय भी मांगी गई है।

इन सदस्यों के अलावा राम जन्मभूमि न्यास, निर्मोही अखाड़ा के सदस्य भी राम मंदिर निर्माण के लिए बनने वाले ट्रस्ट के सदस्य सकते हैं। सूत्रों के मुताबिक, मंदिर के मुख्य पुजारी के अतिरिक्त, राम मंदिर आंदोलन से जुड़े संगठनों को भी इस ट्रस्ट के हिस्सा बनाया जा सकता है। इसके अलावा एक सेवानिवृत अफसर और राज्यपाल व रिटायर जज को भी ट्रस्ट में जगह मिल सकती है।

Shivakant Shukla

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