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'CAA' पर सुलग उठा यूपी : मायावती ने बसपाइयों से की ये बड़ी अपील

नागरिकता संशोधन कानून को लेकर यूपी में हुए हिंसक प्रदर्शन के बाद बसपा सुप्रीमो मायावती ने पार्टी कार्यकर्ताओं से नागरिकता संशोधन कानून का शांतिपूर्वक विरोध करने की अपील की है।

Aditya Mishra
Published on: 20 Dec 2019 3:36 PM GMT
CAA पर सुलग उठा यूपी : मायावती ने बसपाइयों से की ये बड़ी अपील
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लखनऊ: नागरिकता संशोधन कानून को लेकर यूपी में हुए हिंसक प्रदर्शन के बाद बसपा सुप्रीमो मायावती ने पार्टी कार्यकर्ताओं से नागरिकता संशोधन कानून का शांतिपूर्वक विरोध करने की अपील की है।

उन्होंने कहा है कि वह पार्टी कार्यकर्ताओं से अपील करती हैं कि इस समय व्याप्त इमरजेंसी जैसे हालात में सड़क पर न उतरें। मायावती ने कहा कि हमने शुरु से ही इस कानून का विरोध किया है लेकिन हम दूसरी पाटियों की तरह हिंसा और सामाजिक संपत्ति को बर्बाद करने में विश्वास नहीं रखते हैं।

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मायावती ने की ये बड़ी अपील

मीडिया से बात करते हुए शुक्रवार को बसपा सुप्रीमों ने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा लाये गये नये नागरिकता संशोधन कानून तथा एनआरसी को भी ज़बर्दस्ती थोपे जाने को लेकर पूरे देश में जो जगह-जगह व्यापक जन आक्रोश व्याप्त है तो बसपा पूरे तौर से इसके साथ है।

किन्तु इस मामले में मैं अपनी पार्टी के लोगों से यह भी अपील व अनुरोध भी करती हूँ कि वे देश में वर्तमान में व्याप्त इमरजेन्सी जैसे दमनकारी हालात के मद्देनज़र रखते हुये दूसरी पार्टियों के लोगों की तरह सड़कों पर कतई भी ना उतरें बल्कि वे इसके विरोध में डाक या मेल आदि द्वारा ही अपना लिखित में ज्ञापन सम्बन्धित राज्य के डीएम, सीएम व गवर्नर आदि को भेजेेें तो यह देश के वर्तमान हालात में ज़्यादा उचित व बेहतर होगा।

दूसरी पार्टियों के लोगांे की तरह सड़कों पर निकलकर हिंसा व तोड़फोड़ तथा सरकारी सम्पत्ति को नुकसान पहुंचाने आदि का काम कतई भी न करें। इससे जनता को परेशानी होती है तथा सरकारी सम्पत्ति की भी भारी क्षति होती है इसीलिए बसपा इसके खिलाफ है व इनसे ज्यादातर दूर ही रहती है।

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संसद के दोनों सदनों में भी इसका विरोध

उन्होंने कहा कि बसपा ने केन्द्र सरकार द्वारा धर्म के आधार पर लाए गये नये नागरिकता संशोधन बिल को विभाजनकारी व असंवैधानिक मानकर इसका प्रारम्भ से ही विरोध किया है और फिर संसद के दोनों सदनों में भी इसका विरोध करते हुए इसके खिलाफ में अपना मतदान भी किया है।

इतना ही नहीं बल्कि पूरी तरह से लोकतांत्रिक पद्धति अपनाते हुए इस सम्बंध में बसपा का संसदीय दल राष्ट्रपति से मिला और इस कानून की वापसी के साथ-साथ जामिया व अलीगढ़ में हुई हिंसा व पुलिस बर्बता आदि की उच्च-स्तरीय न्यायिक जांच की भी लिखित ज्ञापन के जरिये मांग भी की।

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Aditya Mishra

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