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अमेरिका ने ईरान को बताया दुनिया के लिए सबसे बड़ा खतरा

ईरान ने रविवार को कहा कि वह पश्चिमी देशों के साथ हुए परमाणु समझौते में तय की गई यूरेनियम संवर्धन की सीमा का उल्लंघन करने वाला है। वहीं अमेरिका ने चेतावनी देते हुए कहा है कि समझौते में तय की गई सीमा को पार करके ईरान आग से खेल रहा है।

Vidushi Mishra
Published on: 8 July 2019 10:32 AM IST
अमेरिका ने ईरान को बताया दुनिया के लिए सबसे बड़ा खतरा
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नई दिल्ली : ईरान ने रविवार को कहा कि वह पश्चिमी देशों के साथ हुए परमाणु समझौते में तय की गई यूरेनियम संवर्धन की सीमा का उल्लंघन करने वाला है। वहीं अमेरिका ने चेतावनी देते हुए कहा है कि समझौते में तय की गई सीमा को पार करके ईरान आग से खेल रहा है। अंतराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी ने इस मुद्दे पर 10 जुलाई को एक विशेष बैठक बुलाई है।

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परमाणु समझौते के उल्लंघन पर जताई चिंता

ईरान ने यह घोषणा तब की है जब फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने ईरानी राष्ट्रपति हसन रूहानी से बात कर परमाणु समझौते के उल्लंघन पर चिंता जताई थी। रूहानी ने कहा था कि यूरोप के देशों को कुछ ऐसा करना चाहिए जिससे परमाणु समझौता बच सके।

ईरान के उप विदेश मंत्री अब्बास अरगची ने कहा कि ईरान यूरेनियम उत्पादन को बढ़ाएगा और यह कुछ एक घंटों में 3.67 फीसदी से ज्यादा होगा। उन्होंने कहा कि ईरान अब भी चाहता है कि परमाणु समझौता बना रहे, लेकिन अमेरिका और यूरोप के देश अपनी प्रतिबद्धता से पीछे हट रहे हैं। ईरान ने परमाणु समझौते पर बाकी हस्ताक्षरकर्ता देश फ्रांस, जर्मनी, ब्रिटेन, चीन और रूस को 60 दिनों का वक्त दिया था कि वे अमरीकी प्रतिबंध से बचाएं।

ईरान जा रहा यूरेनियम संवर्धन बढ़ाने

अरगची ने कहा कि 60 दिनों की समय सीमा खत्म हो चुकी है, इसलिए ईरान यूरेनियम संवर्धन बढ़ाने जा रहा है। ईरान के परमाणु ऊर्जा संगठन के प्रवक्ता बेहरोज कमालवंदी ने कहा कि हम यूरेनियम संवर्धन को किसी भी स्तर पर ले जाएंगे। इसकी कोई सीमा और मात्रा नहीं होगी।

ईरान के वरिष्ठ अधिकारियों ने कहा कि परमाणु समझौते पर हस्ताक्षर करने वाले जर्मनी, फ्रांस और ब्रिटेन जैसे यूरोपीय देश जब तक तेहरान को अमेरिका के आर्थिक प्रतिबंधों से बचाने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाते हैं तब तक उनका देश हर 60 दिनों में परमाणु समझौते को लेकर अपनी प्रतिबद्धताओं को कम करता रहेगा।

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अधिकारियों ने कहा कि कल सुबह जब अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए) सैंपल इकट्ठा करेगी तो इसके कुछ घंटों बाद ईरान का यूरेनियम उत्पादन 3.67 फीसदी से ज्यादा हो जाएगा। ईरान ने मई महीने में यूरेनियम का उत्पादन शुरू कर दिया था। शर्तों के हिसाब से ईरान के पास जितने यूरेनियम होने चाहिए उससे पहले से ही ज्यादा हैं।

अमेरिका ने 2018 में तोड़ा था समझौता

ट्रंप प्रशासन 2018 में एकतरफा फैसला लेते हुए ईरान के साथ हुए परमाणु समझौते से पीछे हट गया था। इसके बाद से अमेरिका ईरान पर कई कड़े प्रतिबंध लगा चुका है। गौरतलब है कि परमाणु हथियार बनाने के लिए यूरेनियम को 90 फीसदी तक संवर्धित करने की जरूरत पड़ती है और 20 फीसदी तक के स्तर पर इसे ले जाना वास्तव में उसी दिशा में कदम है। ईरान इनकार करता है कि वो यूरेनियम संवर्धन परमाणु हथियारों के लिए बढ़ा रहा है।

यूरेनियम संवर्धन को बढ़ाना है बहुत ही खतरनाक कदम

इस बीच, इस्राइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा कि यूरेनियम संवर्धन को बढ़ाना ईरान का बहुत ही खतरनाक कदम है। नेतन्याहू ने कहा कि यूरेनियम संवर्धन को किसी भी स्तर ले जाने की घोषणा करना संयुक्त सुरक्षा परिषद के तहत किए गए वादों का उल्लंघन है। साथ ही उन्होंने यूरोपीय देशों से ईरान पर कड़े प्रतिबंध लगाने की मांग की है।

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