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Imran Khan Arrest Update: दूसरी पारी अब शायद ही खेल पाएं इमरान खान
Imran Khan Arrest Update: इमरान खान का टाइम खराब चल रहा है। अभी तो वह भ्रष्टाचार के एक मामले में गिरफ्तार किए गए हैं। जबकि उनके खिलाफ तो ढेरों केस दर्ज हैं। 70 वर्षीय इमरान नवंबर के एक हत्या के प्रयास से भी बच गये थे।
Imran Khan Arrest Latest Update: पिछले साल अविश्वास मत के जरिये पद से हटाए जाने के बाद से पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने कसमें खाईं हैं कि वह फिर से देश की कप्तानी करेंगे। लेकिन अब गिरफ्तारी के चलते इमरान की कसम पूरी होने की उम्मीद बहुत कम है। पाकिस्तान में राजनीतिक विरोधियों, खासकर सेना की नज़र से उतर गए नेताओं का हश्र बहुत अच्छा नहीं रहा है। नवाज़ शरीफ़, आसिफ अली जरदारी, परवेज़ मुशर्रफ से लेकर जुल्फिकारअली भुट्टो तक की कहानी अच्छी नहीं रही है।
चल रहा खराब समय
इमरान खान का टाइम खराब चल रहा है। अभी तो वह भ्रष्टाचार के एक मामले में गिरफ्तार किए गए हैं। जबकि उनके खिलाफ तो ढेरों केस दर्ज हैं। 70 वर्षीय इमरान नवंबर के एक हत्या के प्रयास से भी बच गये थे। इस साल अक्टूबर के पहले पाकिस्तान में आम चुनाव होने हैं। पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति बहुत खराब है, देश में नाटकीय रूप से उग्रवादी हमले बढ़ते जा रहे हैं। इन सब की पृष्ठभूमि में इमरान का राजनीतिक नाटक खेला जा रहा है। इमरान खान की अपनी गिरफ्तारी के खिलाफ उनके समर्थकों को हिंसक विरोध प्रदर्शनों के लिए सड़कों पर बुलाया जा रहा है। इन हालातों में इमरान और पाकिस्तान की राजनीतिक संभावनाएं स्पष्ट नहीं हैं।
जन समर्थन
2018 में प्रधानमंत्री बनने पर इमरान खान को वास्तविक लोकप्रिय समर्थन मिला, लेकिन वह अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने और गरीबों की दुर्दशा में सुधार करने के वादों को पूरा करने में विफल रहे। उनकी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी को लाखों लोगों ने वोट दिया था। पीटीआई ने पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी और पाकिस्तान मुस्लिम लीग-एन के दशकों के प्रभुत्व को पलट दिया था। बाद में यही दोनों विरोधी समूह इमरान खान के खिलाफ एकजुट हो गए।
इमरान खान का विज़न पाकिस्तान को सातवीं से 14 वीं शताब्दी के इस्लामी स्वर्ण युग जैसा बनाना था। वह पाकिस्तान को मुस्लिम दुनिया में सांस्कृतिक, आर्थिक और वैज्ञानिक उत्कर्ष की अवधि के आधार पर एक कल्याणकारी राज्य का सपना दिखा रहे थे। लेकिन वह पाकिस्तान की वित्तीय स्थिति में सुधार करने में फेल हो गए। इसके अलावा अफगानिस्तान में 2021 में तालिबान के सत्ता में लौटने के बाद से सुरक्षा की स्थिति भी बिगड़ गई। कुल मिलाकर इमरान के पक्ष में हालात नहीं हैं। सेना उनके खिलाफ है। सरकार भी पीछे पड़ी हुई है। देखना है कि इमरान पर शाहबाज शरीफ कितना भारी पड़ते हैं।