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नेपाल में अयोध्यापुरी: केपी ओली की बड़ी तैयारी, अब यहां दिखेगा ऐसा नजारा
अयोध्या के नेपाल में होने का दावा करने के बाद पड़ोसी देश के चितवन जिले की नगरपालिका 40 एकड़ की जमीन पर अयोध्यापुरी धाम का निर्माण करने जा रही है।
काठमांडू: बीते दिनों नेपाल के प्रधानमंत्री के.पी. ओली शर्मा ने बेतुका बयान देते हुए कहा था कि ‘भारत ने सांस्कृतिक अतिक्रमण के लिए नकली अयोध्या का निर्माण किया है जबकि असली अयोध्या नेपाल में है।’ अब अयोध्या के नेपाल में होने का दावा करने के बाद चितवन जिले की नगरपालिका 40 एकड़ की जमीन पर अयोध्यापुरी धाम का निर्माण करने जा रही है। जी हां, चितवन जिले की माडी नगरपालिका ने अयोध्यापुरी धाम का निर्माण करने के लिए 40 एकड़ जमीन आवंटित करने का फैसला किया है।
बैठक के दौरान धाम को लेकर किया गया फैसला
केपी ओली के दावे के मुताबिक, नेपाल के चितवन में ही भगवान श्री राम का जन्म हुआ था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, माडी के मेयर ठाकुर प्रसाद धाकल ने बताया कि 29 सितंबर को हुई बैठक के दौरान ही अयोध्यापुरी धाम को लेकर फैसला किया गया है। कुछ समय पहले नेपाल के प्रधानमंत्री ने कहा था कि भारत की अयोध्या नकली है, जबकि असली अयोध्या नेपाल के चितवन में है।
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(फोटो- सोशल मीडिया)
40 एकड़ जमीन पर होगा अयोध्यापुरी धाम का निर्माण
उन्होंने भगवान श्री राम का जन्म चितवन जिले में ही होने का दावा किया था। ओली ने कहा था कि हम अब भी मानते हैं कि हमने भारतीय राजकुमार राम को अपनी नेपाली सीता दी थी। ओली के इस बयान के बाद उनकी काफी आलोचना हुई। साथ ही इससे भारत और नेपाल के बीच तनाव और बढ़ गया था। वहीं इस बीच अब नेपाल चितवन में 40 एकड़ जमीन पर अयोध्यापुरी धाम का निर्माण कराने जा रहा है।
इस बारे में माडी के मेयर ठाकुर प्रसाद धाकल ने बताया कि हमने वर्तमान में अयोध्यापुरी पार्क की 40 एकड़ जमीन अयोध्यापुरी धाम के लिए आवंटित की है। ओली ने श्री राम की जन्मभूमि नेपाल में होने का दावा करने के बाद माडी नगरपालिका के साथ बैठक की थी और इसे लेकर ज्यादा सबूत जुटाने के लिए पुरातात्विक खुदाई करने के निर्देश दिए थे। इस काम में ओली ने अपना पूरा सहयोग देने की बात भी कही थी।
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धाम के लिए तैयार किया गया मास्टर प्लान
मेयर धाकल ने आगे कहा कि हमारे पास 50 बीघा अतिरिक्त जमीन है, अगर कोई तकनीकी परेशानी होती है तो हम इस जमीन का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि अयोध्यापुरी धाम के लिए मास्टर प्लान तैयार कर लिया गया है, जल्द ही इसकी एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार की जाएगी। इससे पहले ओली ने ठोरी और माडी के स्थानीय जनप्रतिनिधियों को भगवान श्रीराम की जन्मभूमि पर भव्य मंदिर बनाने के लिए निर्देश दिए थे।
केपी ओली शर्मा (फोटो- सोशल मीडिया)
अयोध्या के तौर पर विकसित होगी ये जगह
केवल इतना ही नहीं ओली ने ठोरी के पास स्थित माडी नगरपालिका का नाम अयोध्यापुरी करने का भी निर्देश दिया है। इसके अलावा वहां आसपास की जगहों का अधिग्रहण कर अयोध्या के तौर पर विकसित करने को भी कहा और साथ ही राम के जन्मस्थान पर भव्य राम मंदिर का निर्माण और राम-सीता और लक्ष्मण की बड़ी प्रतिमा स्थापित करने को कहा है।
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स्थापित होगी राम-सीता और लक्ष्मण की बड़ी प्रतिमा
ओली ने इस रामनवमी के मौके पर भूमि पूजन करके मंदिर निर्माण का काम शुरू करने और दो साल बाद रामनवमी के ही अवसर पर मूर्ति का अनावरण करने के हिसाब से काम को आगे बढ़ाने की बात कही है। इसके अलावा उन्होंने माडी के पास रहे वाल्मिकी आश्रम, सीता के वनवास के दौरान रहे जंगल, लव-कुश के जन्मस्थान को भी विकसित करने के निर्देश दे दिए हैं।
बयान के चलते हुए थे आलोचना का शिकार
बता दें कि पीएम ओली के राम वाले बयान पर उनकी भारत में तो आलोचना हुई ही, साथ ही उनके देश में भी इस बयान को लेकर उनकी काफी आलोचना की गई। विपक्ष के तमाम नेताओं ने प्रधानमंत्री के इस बयान को गैर-जरूरी करार दिया था और कहा था कि इससे भारत-नेपाल के संबंधों को नुकसान पहुंचेगा।
वहीं ओली के बयान के बाद बढ़ते विवाद को देखते हुए नेपाल के विदेश मंत्रालय ने स्पष्टीकरण जारी किया था। मंत्रालय ने अपने बयान में कहा था कि प्रधानमंत्री ओली की टिप्पणी किसी भी तरह से राजनीतिक नहीं है और किसी की भावनाओं को आहत करने का कोई उद्देश्य नहीं था। उनकी टिप्पणी का मकसद अयोध्या या उसके सांस्कृतिक महत्व को कम करना नहीं था।
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