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रोग नेशन पाकिस्तान की बर्बादी का पहला अध्याय आरंभ, चरमराई अर्थव्यवस्था
पुलवामा हमले के बाद जब इंडिया ने जवाबी स्ट्राइक की तो वो पाकिस्तान की बर्बादी का पहला अध्याय साबित हुई। महंगाई और झोल खाती अर्थव्यवस्था से वो पहले ही सकते में था। इसके बाद आर्थिक तंगी ने उसे अपने जाल में जकड़ लिया है।
कराची : पुलवामा हमले के बाद जब इंडिया ने जवाबी स्ट्राइक की तो वो पाकिस्तान की बर्बादी का पहला अध्याय साबित हुई। महंगाई और झोल खाती अर्थव्यवस्था से वो पहले ही सकते में था। इसके बाद आर्थिक तंगी ने उसे अपने जाल में जकड़ लिया है। देश की जीडीपी विकास दर 8 साल के निचले स्तर पर आने को तैयार बैठी है।
पाकिस्तान की जीडीपी विकास दर 3.3 प्रतिशत रह सकती है।
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देश के एग्रीकल्चर सेक्टर में आई गिरावट और आर्थिक धीमेपन का असर देश की अर्थव्यवस्था पर दिखने लगा है। अर्थशास्त्रियों के मुताबिक मौजूदा समय में पाकिस्तान की हालात बेहद गंभीर है।
बता दे कि यह 22वीं बार है जब पाकिस्तान के हालात इतने बदतर हो गए की उन्हें आईएमएफ से मदद लेनी पड़ रही है।
आईएमएफ पाकिस्तान को 6 अरब डॉलर दे रहा है लेकिन शर्तें काफी कड़ी हैं।
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इमरान के सामने मुश्किल हालात
वर्ष 2019-20 में पेश किया जाने वाला अगला बजट पीएम इमरान खान और उनकी सरकार के लिए अग्निपरीक्षा सरीखा होने वाला है। इस बजट में राजस्व में बढ़ोतरी, टैक्स में दी जा रही छूट में कटौती, टैक्स प्रशासनिक व्यवस्था में सुधार जैसे कदमों के जरिए प्राथमिक घाटा जीडीपी का 0.6 फीसदी करने का लक्ष्य पूरा करना होगा।