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वाह रे ट्रंप साहब: बुरे हालातों में भी ऐसा बयान, जबकि मौत का मचा है तांडव

कोरोना वायरस के आतंक से जूझ रहे अमेरिका की हालत बुरी तरह त्रस्त हो चुकी है। ऐसे में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बेहद चौंका देने वाला बयान दिया हैै जिसके बाद से उनकी बहुत आलोचना हो रही है।

Vidushi Mishra
Published on: 20 May 2020 3:38 PM IST
वाह रे ट्रंप साहब: बुरे हालातों में भी ऐसा बयान, जबकि मौत का मचा है तांडव
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वाह रे ट्रंप साहब: बुरे हालातों में भी ऐसा बयान, जबकि मौत का मचा है तांडव

नई दिल्ली: कोरोना वायरस के आतंक से जूझ रहे अमेरिका की हालत बुरी तरह त्रस्त हो चुकी है। ऐसे में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बेहद चौंका देने वाला बयान दिया हैै जिसके बाद से उनकी बहुत आलोचना हो रही है। ट्रंप का कहना है कि देश में कोरोना वायरस संक्रमण के मामले दुनिया में सबसे ज्यादा होना सम्मान की बात है। उन्होंने मंगलवार को व्हाइट हाउस में कहा, 'जब आप कहते हैं कि हम संक्रमण के मामलों में आगे हैं तो मैं इसे बिलकुल बुरा नहीं मानता।

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‘सम्मान के तमगे’

आगे उन्होंने कहा कि इसका मतलब है कि हमने किसी और से कहीं ज्यादा परीक्षण किया है। यह अच्छी बात है क्योंकि इससे पता चलता है कि हमारा परीक्षण बेहतर है। मैं इसे एक ‘सम्मान के तमगे’ के तौर पर देखता हूं।'

इसी सिलसिले में अमेरिका के जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी के मुताबिक, अमेरिका में अब तक कोरोना के 15 लाख 70 हजार से भी अधिक केस सामने आए हैं। वहीं 93 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। इसके बाद दूसरे नंबर पर रूस है जहां लगभग तीन लाख लोग संक्रमित हैं।

अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप के इस बयान की डेमोक्रेटिक नेशनल कमेटी ने आलोचना की है। इस कमेटी ने कहा कि देश में कोरोना के 10 लाख से ज्यादा मामले मिलना पूरी तरह से हमारे नेतृत्व की असफलता है। इससे पहले पिछले हफ्ते हुई सीनेट की बैठक में भी परीक्षण पर सवाल उठाए गए थे।

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अब तक हुए परीक्षण पर्याप्त नहीं

वहीं रिपब्लिकन सांसद मिट रोम्नी का कहना है कि देश का परीक्षण रिकॉर्ड अच्छा नहीं है। उन्होंने कहा कि हमारे यहां फरवरी- मार्च में मामले आने शुरू हुए। ऐसे में अब तक हुए परीक्षण पर्याप्त नहीं हैं। इसमें खुश होने की बात नहीं है।

इस पर अमेरिका के सेंटर्स फॉर डीजीज कंट्रोल के मुताबिक, मंगलवार तक अमेरिका में एक करोड़ 60 लाख कोरोना परीक्षण हुए हैं। ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी आधारित एक वैज्ञानिक प्रकाशन के अनुसार, अमेरिका परीक्षण के आधार पर काफी पीछे है। यह प्रत्येक एक हजार लोगों के परीक्षण के मामले में दुनिया में 16वें स्थान पर है।

वहीं सूची में अमेरिका आइसलैंड, न्यूजीलैंड, रूस और कनाडा जैसे देशों से पीछे है। पिछले एक हफ्ते में अमेरिका रोजाना तीन से चार लाख परीक्षण कर रहा है।

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Vidushi Mishra

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