एक साल में भारत में 1 लाख 19 हजार बच्चे हुए अनाथ, कोरोना ने छीन लिए मां-बाप

कोरोना संकरामं के चलते 21 देशों में 15 लाख से भी ज्यादा बच्चों के मां बाप , उनका पालन पोषण करने वालों से साथ छूट गया । देखभाल करने वालों या अपने माता पिता को खो दिया । इस मामले में भारत से 1 लाख 19 हजार बच्चे शामिल हैं।

Newstrack :  Network
Published By :  Monika
Update: 2021-07-21 06:06 GMT

कोरोना काल में कई बच्चे हुए अनाथ (सांकेतिक फोटो : सोशल मीडिया )

पूरी दुनिया कोरोना वायरस (coronavirus) के प्रकोप से खुद को बचा नहीं पाई। तबाही की लहर में लाखों जिंदगियों की जान गई । इस मुश्किल घड़ी में लोग फिर भी खुद को संभाल रहे हैं । लेकिन उन बच्चों पर इसका सबसे ज्यादा असर पड़ा जिनके माता पिता कोरोना महामारी की जंग लड़ते लड़ते गुजर गए । कोरोना संक्रमण के चलते 21 देशों में 15 लाख से भी ज्यादा बच्चों के मां- बाप या उनका पालन पोषण करने वालों का साथ छूट गया ।

खबरों की माने तो एक अध्ययन के मुतानिक भारत समेत 21 देशों में 15 लाख बच्चों ने महामारी के शुरूआती महीनों में ही कोरोना संक्रमण के चलते अपने बड़ों , देखभाल करने वालों या अपने माता पिता को खो दिया । इस मामले में भारत से 1 लाख 19 हजार बच्चे शामिल हैं। कुछ बच्चे ऐसे हैं जिन्होंने अपने दादा- दादी को खोला या माँ-बाप को खोया । इनमे से अधिक बच्चे ऐसे हैं जिनके माता पिता दोनों ही अब उनके साथ नहीं । जिस देश के बच्चों ने अधिक रिश्तेदारों को खोया है, उनमें दक्षिण अफ्रीका, अमेरिका ब्राजील, पेरू, मैक्सिको और भारत शामिल हैं।

रिपोर्ट्स की माने तो भारत में 2898 बच्चों ने अपने दादा- दादी में से किसी एक को ही खोला है, लेकिन 9 बच्चों ने दादा- दादी दोनों को खो दिया । भारत में प्रति 1 हजार बच्चों पर माता पता और संरक्षक के मरने की दर 0. 5 है।

पीएम मोदी और सीएम केजरीवाल ने उठाया ये कदम 

आपको बता दें, कोरोना की दूसरी लहर ने जब देश में दस्तक दी थी, उस दौरान देश में कई लोगों की मौत हुई, ऐसे में कई बच्चों के सिर से मां बाप या कमाऊ सदस्यों का साया उठ गया । तभी प्रधानमंत्री मोदी की तरफ से इन बच्चों के लिए मदद का हाथ बढ़ाया गया । इसी साल मई महीने में पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन योजना के तहत इन बच्चों को सहायता राशि देने का ऐलान किया गया था । 18 साल की उम्र वाले बच्चों को मासिक सहायता राशि और 23 साल में पीएम केयर्स से 10 लाख रुपए भी देखे की बात की गई थी ।

वहीं दूसरी तरफ दिल्ली के CM अरविंद केजरीवाल ने भी प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए ऐलान किया था कि जिन बच्चों के माता-पिता की कोरोना के कारण मौत हुई हैं उनके लिए दिल्ली सरकार परवरिश और पढ़ाई का खर्चा उठाएगी ।

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