'बिग बॉस 16' कंटेस्टेंट्स शिव ठाकरे और अब्दु रोजिक ने किया क्राइम? जाएंगे जेल?

Shiv Thakare-Abdu Rozik: 'बिग बॉस 16' कंटेस्टेंट्स शिव ठाकरे और अब्दु रोजिक एक बड़ी मुसीबत में फंस गए हैं। दोनों को ईडी ने समन जारी किया है। आइए आपको बताते हैं क्या है पूरा मामला?

Written By :  Ruchi Jha
Update: 2024-02-22 06:46 GMT

Shiv Thakare-Abdu Rozik (Image Credit: Social Media)

Shiv Thakare-Abdu Rozik: 'बिग बॉस 16' में नजर आने वाले शिव ठाकरे और अब्दू रोजिक को लेकर एक बड़ी खबर सामने आ रही है। दरअसल, दोनों को प्रवर्तन निर्देशालय (ED) ने समन भेजा है। ईडी ने दोनों को मनी लॉन्ड्रिंग केस में पूछताछ के लिए बुलाया है। दरअसल, शिव ठाकरे और अब्दु रोजिक को जेल में बंद ड्रग माफिया अली असगर शिराजी से जुड़े मामले में पूछताछ के लिए बुलाया गया है। इस मामले में शिव ठाकरे का बयान गवाह के रूप में लिया जा रहा है।

कौन है अली असगर शिराजी?

खबरों के मानें, अली असगर शिराजी 'हसलर्स हॉस्पिटैलिटी प्राइवेट लिमिटेड' (Hustlers' Hospitality Pvt Ltd) नाम से एक कंपनी चलाता था और ये कंपनी कई अलग-अलग स्टार्ट-अप को फाइनैंस करती थी। इस कंपनी ने शिव ठाकरे और अब्दू रोजिक के स्टार्ट-अप को भी फाइनैंस किया था, जिनमें शिव ठाकरे का फूड एंड स्नैक रेस्ट्रॉन्ट 'ठाकरे चाय एंड स्नैक्स' और अब्दु रोज़िक का फास्ट फूड स्टार्ट-अप 'बुर्गीर' ब्रैंड शामिल है।


नार्को-फंडिंग से पैसा कमाती थी ये कंपनी

खबरों के मुताबिक, अली की इस कंपनी ने नार्को-फंडिंग के जरिए पैसा कमाया है। ये पैसे हसलर्स हॉस्पिटैलिटी के जरिए इन्वेस्टमेंट के तौर पर उन्हें दी गई थी और बताया जा रहा है कि शिराजी ने कथित तौर पर स्टार्ट-अप में काफी निवेश किया था। रिपोर्ट्स की मानें, तो शिव ठाकरे और अब्दु को जब नार्को बिजनेस में शिराजी के शामिल होने की बात पता लगी थी, तो दोनों ने तुरंत उनसे अपना कॉन्ट्रैक्ट खत्म कर लिया था।


सामने आया शिव ठाकरे का बयान

रिपोर्ट्स के अनुसार, इस मामले में शिव ठाकरे ने अपना बयान दर्ज करवाया है, जिसमें उन्होंने कहा है कि उनकी मुलाकात 2022 में किसी के माध्यम से हसलर्स हॉस्पिटैलिटी के निर्देशक क्रुणाल ओझा से हुई थी और क्रुणाल ने उन्हें ठाकरे चाय और स्नैक्स के लिए पार्टनरशिप डील का ऑफर दिया था। शिव ठाकरे ने बताया कि उनके समझौते के अनुसार हसलर्स हॉस्पिटैलिटी ने ठाकरे चाय एंड स्नैक्स में अच्छी खासी रकम लगाई थी। ठाकरे ने ईडी को यह भी बताया कि अपने स्टार्टअप के लिए पैसों की मदद लेते समय वह न तो शिराजी से मिले थे और न ही उनके बारे में जानते थे।



 


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