नोएडा : सत्ता में योगी सरकार के आते ही नोएडा विकास प्राधिकरण ने बिल्डर्स पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया हैं। प्राधिकरण के नियोजन विभाग ने अनिल शर्मा के स्वामित्व वाले आम्रपाली ग्रुप को सेक्टर-120 स्थित जीएच-03 प्लाट पर अवैध कंस्ट्रक्शन को तोड़ने के लिए नोटिस जारी किया है। जांच में सामने आया था कि यहाँ के निर्माण में नियमावली का उल्लघंन किया गया है।
प्राधिकरण ने नोटिस जारी करते हुए आम्रपाली ग्रुप को अवैध निर्माण स्वयं तोड़ने और नियोजन विभाग को रिपोर्ट देने के लिए सात दिन का समय दिया है। ऐसा नहीं करने पर प्राधिकरण स्वयं अवैध निर्माण तोड़ेगा और शमन शुल्क भी वसूलेगा।
ये भी देखें : OMG : GBU-43B है बमों की ‘मम्मी जी’, 32 किमी दूर से नजर आती है तबाही
दरसअल, आम्रपाली जोडियक के निवेशकों ने प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ बैठक में कहा कि टावरों में नक्शें के विपरीत 100 दुकानें अवैध तरीके से बना ली हैं। जिससे निवेशकों को परेशानी हो रही है। इसको लेकर नियोजन विभाग की टीम ने बुधवार को साइट का दौरा किया, वहां उसे अवैध तरीके से बनाईं गई दुकाने नजर आई। निर्माण कार्य में भवन नियमावली का भी उल्लघंन पाया गया। जिसके एवज में आम्रपाली को नोटिस जारी किया गया है।
प्राधिकरण एसीईओ शिशिर सिह ने आम्रपाली को निर्देश देते हुए कहा कि वह सभी टावरों का कंपलीशन शिड्यूल प्राधिकरण में जमा करे। पानी के कनेक्शन और बिजली के मुद्दे 20 दिन में आवेदन देकर निपटाए जाए। प्राधिकरण ने बताया कि 31 मार्च तक आम्रपाली की कुल देनदारी 201 करोड़ हो चुकी है।
वहीं बिल्डर ने अपना पक्ष रखते हुए कहा कि अभी उसे अपना प्रोजेक्ट पूरा करने के लिए करीब 45 करोड़ की जरूरत है। जबकि निवेशकों का आरोप है कि 770 करोड़ की परियोजना में करीब 640 करोड़ रुपए निवेशकों द्बारा दिए जा चुके है। इसके बाद भी समय पर पजेशन नहीं मिल सका है। आम्रपाली के सेक्टर-76 स्थित 176758 वर्गमीटर पर बने प्रोजेक्ट सिलिकॉन टावरों की पूरी जानकारी कंपलीशन शिड्यूल के हिसाब से 24 अप्रैल तक प्राधिकरण में जमा करने के निर्देश दिए है।