Manipur Violence: उग्रवादियों के हमले में घिरी मणिपुर पुलिस, असम राइफल्स ने ऐसे बचाई जान, वायरल हो रहा वीडियो

Manipur Violence: मणिपुर पुलिस के जवान कहीं ऑपरेशन के लिए जा रहे थे, तभी बीच रास्ते में घात लगाकर उग्रवादियों ने उन पर हमला कर दिया।

Written By :  Krishna Chaudhary
Update:2023-11-07 09:08 IST

Manipur Violence  (photo: social media )

Manipur Violence: मणिपुर में इस साल मई में शुरू हुई जातीय हिंसा की आग अभी पूरी तरह ठंडी नहीं हुई है। राज्य में अभी भी तनावपूर्ण हालात बने हुए हैं। केंद्रीय बलों की तैनाती के बावजूद हथियारबंद गुटों पर अंकुश नहीं लगाया जा सका है। राज्य में आम लोगों के साथ-साथ सुरक्षाबल भी उग्रवादियों के निशाने पर हैं। एक ऐसी ही घटना का वीडियो इन दिनों सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

मणिपुर पुलिस के जवान कहीं ऑपरेशन के लिए जा रहे थे, तभी बीच रास्ते में घात लगाकर उग्रवादियों ने उन पर हमला कर दिया। पहाड़ की चोटी से ताबड़तोड़ हो रही फायरिंग से नीचे पुलिस फंस गई। कुछ जख्मी भी हुए। मणिपुर पुलिस का वहां से बचना मुश्किल लग रहा था। तभी पिक्चर में असम राइफल्स की एंट्री होती है। वे अपनी जान खतरे में डालकर पुलिस को बचाते हैं।

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क्या है पूरी घटना ?

म्यांमार सीमा से सटे तेंगनौपाल जिले के मोरेह नामक कस्बे में 31 अक्टूबर को मणिपुर पुलिस के एक अधिकारी चिंगथम आनंद कुमार की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। उन्हें स्नाइपर्स ने अपना निशाना बनाया था। घटना की जानकारी मिलने के बाद पुलिस टीम को मौके पर रवाना किया गया। उग्रवादियों ने घटनास्थल पर पहुंचने से पहले ही इंफाल-मोरेह नेशनल हाईवे-102 पर पुलिस टीम को घेर लिया और ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी।

उग्रवादी पहाड़ियों पर पोजिशन ले रखे थे, जहां से वे नीचे दनादन पुलिस पर गोलियां दाग रहे थे। गोलीबारी में पुलिस का एक जवान बुरी तरह जख्मी भी हो जाता है। पुलिस इस हमले से जूझ ही रही थी कि तभी असम राइफल्स की टीम वहां आ पहुंची और उन्हें रेस्क्यू किया। असम राइफल्स ने एक-एक कर घायल पुलिसकर्मियों को अपनी गाड़ी में बैठाया और उन्हें अस्पताल ले गए। इंटरनेट पर इस घटना से जुड़ा वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है।

दरअसल, राज्य में हिंसा को रोकने के लिए तैनात असम राइफल्स का मणिपुर पुलिस से कई बार टकराव हो चुका है। दोनों ऑपरेशन को लेकर ग्राउंड पर एक-दूसरे से भिड़ चुके हैं। जिसके कई वीडियो भी सामने आए थे। मैतेई समुदाय लगातार राज्य में उनकी तैनाती का विरोध कर रहा है। ऐसे में यह घटना मणिपुर पुलिस और असम राइफल्स के बीच रिश्तों को सामान्य करने में मददगार साबित हो सकती है।

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फिर बढ़ाया इंटरनेट बैन

मणिपुर में इंटरनेट बैन को फिर आगे बढ़ा दिया गया है। अब राज्य में 8 नवंबर तक इंटरनेट सेवा पर पाबंदी रहेगी। कानून – व्यवस्था की नाजुक स्थिति को देखते हुए यह फैसला लिया गया है। राज्य सरकार का कहना है कि धीरे-धीरे उन जिलों में इंटरनेट सेवा बहाल की जाएगी, जहां हालात तेजी से सुधर रहे हैं। दरअसल, सितंबर में इंटरनेट सेवा बहाल करने के बाद एक वायरल वीडियो के कारण राज्य में फिर से अशांति फैल गई थी। जिसके बाद फिर से सरकार को इस पर रोक लगानी पड़ी।

3 मई को बीजेपी शासित इस पूर्वोत्तर राज्य में शुरू हुई जातीय हिंसा में अब तक 180 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। सैंकड़ों घायल हुए हैं और हजारों लोग अपने घरों से विस्थापित हुए हैं।

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