'PM मोदी हमारे स्टार प्रचारक', कांग्रेस ने ऐसा क्यों कहा?
Congress on PM Modi: कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बीजेपी पर निशाना साधा। कांग्रेस पार्टी ने महिला आरक्षण बिल के मुद्दे पर भी घेरा। उन्होंने कहा, इस बिल को पहली बार 1989 में राजीव गांधी के प्रधानमंत्री रहते लाया गया था।
Congress on PM Modi: संसद का विशेष सत्र हाल ही में संपन्न हुआ। इस स्पेशल सेशन में महिला आरक्षण बिल (Women Reservation Bill) को दोनों सदनों लोकसभा और राज्यसभा सदनों से पारित किया गया। महिला आरक्षण बिल पर कांग्रेस ने भी केंद्र सरकार को समर्थन दिया। इस बिल के समर्थन वक़्त लोकसभा में कांग्रेस की सांसद सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) ने कहा, 'राजीव गांधी का सपना अभी तक आधा ही पूरा हुआ। इस महत्वपूर्ण बिल के पारित होने से मेरे जीवनसाथी का सपना पूरा होगा।'
वहीं, मंगलवार (26 सितंबर) को कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा (Pawan Khera PC) ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधा। आपको बता दें कि, मध्य प्रदेश चुनाव की तैयारियों का जायजा लेने और बीजेपी कार्यकर्ताओं को संबोधित करने के लिए प्रधानमंत्री मोदी 25 सितंबर को मध्य प्रदेश पहुंचे थे।
'19 साल से बीजेपी सरकार, फिर भी कांग्रेस-कांग्रेस'
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन के दौरान कांग्रेस पर जोरदार हमला बोला। उन्हीं मुद्दों को केंद्र में रखकर कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा (Congress spokesperson Pawan Khera) ने कहा, 'जिस राज्य में 19 साल से उनकी (बीजेपी) सरकार हो, वहां 51 मिनट के भाषण में 44 बार कांग्रेस का वो (प्रधानमंत्री मोदी) नाम लेते हैं। ये क्या बताता है? उनके पास अपनी सरकार की उपलब्धि बताने को कुछ नहीं है।'
पवन खेड़ा- PM मोदी हमारे 'स्टार प्रचारक'
कांग्रेस नेता ने प्रधानमंत्री मोदी पर तंज कसा। उन्होंने कहा, 'जहां-जहां पीएम मोदी के पांव पड़े, चाहे वो हिमाचल प्रदेश हो या कर्नाटक, वहां हमारी (कांग्रेस) सरकार बनी। इसलिए हम मानते हैं कि प्रधानमंत्री मोदी हमारे 'स्टार प्रचारक' हैं'। पवन खेड़ा आगे कहते हैं, 'हमें वो इसलिए अच्छे नहीं लगते क्योंकि झूठ बोलते हैं। अगर, वो थोड़ा सच बोलना शुरू कर दें तो वो हमें हमारे सबसे अच्छे 'स्टार प्रचारक' बन जाएंगे।'
महिला आरक्षण के बहाने अटल-आडवाणी पर वार
कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता पवन खेड़ा ने महिला आरक्षण बिल पर भी पार्टी के विचार रखे। उन्होंने कहा, 'इस बिल को पहली बार साल 1989 में लाया गया था। तब देश के प्रधानमंत्री राजीव गांधी थे। इस बिल को लोकसभा से पारित किया गया। मगर, राज्यसभा से पारित न हो सका। सवाल है क्यों नहीं हो सका? उन्होंने पूछा, वो सात लोग कौन थे जिन्होंने महिला आरक्षण बिल के विरोध में वोट दिए? कांग्रेस प्रवक्ता ने उन नेताओं के नाम भी गिनवाए। कहा, 'अटल बिहारी वाजपेयी, लाल कृष्ण आडवाणी, राम जेठमलानी, जसवंत सिंह आदि ने इस बिल का विरोध किया।' कांग्रेस नेता ने कहा, इस बिल को लाने में आपने 10 साल गंवा दिए। अभी भी इस बिल को लागू कराने में और 10 साल लगेंगे।'
बीजेपी ने कभी गरीबों की परवाह नहीं की
पवन खेड़ा ने गरीबी के मुद्दे पर बीजेपी को घेरा। उन्होंने कहा, 'आप कहते हैं कि कांग्रेस को गरीबों की परवाह नहीं है। यह मनरेगा ही था जिसने 23 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकाला। उन्होंने आगे कहा, 'राजस्थान में प्रधानमंत्री ने अशोक गहलोत (PM Modi on Ashok Gehlot) सरकार की आलोचना की, मगर ये भूल गए कि कुछ समय पहले उन्होंने राज्य सरकार को कोविड-19 महामारी (Covid-19 pandemic) के दौरान अच्छे काम के लिए प्रमाण पत्र दिया था।'