झूठ परोसने वाले जॉनसन एंड जॉनसन की लंका लगाने को तैयार DCGI

जॉनसन एंड जॉनसन ने अपने एक विज्ञापन में सरकार की प्रयोगशाला टेस्ट रिपोर्ट का हवाला देते हुए प्रदर्शित किया कि यह पाउडर एस्बेस्टस से मुक्त है। डीसीजीआई ने कहा कि किसी भी सरकारी विश्लेषक की किसी जांच रिपोर्ट के आधार पर कोई भी विज्ञापन प्रकाशित करने की औषधि एवं प्रसाधन सामग्री कानून, 1940 की धारा 29 के तहत अनुमति नहीं है।

Update: 2019-03-06 06:47 GMT
झूठ परोसने वाले जॉनसन एंड जॉनसन की लंका लगाने को तैयार DCGI

नई दिल्ली: जॉनसन एंड जॉनसन कंपनी को वैधानिक प्रावधानों का उलंघन किए जाने के मामले में भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) ने नोटिस भेजा है। इस नोटिस में पूछा है कि उसने वैधानिक प्रावधानों का उल्लंघन क्यों किया और अपने बेबी पाउडर पर सरकार की प्रयोगशाला टेस्ट रिपोर्ट का हवाला देते हुए विज्ञापन क्यों प्रकाशित किया।

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जानिए क्या है मामला

आपको बता दें, जॉनसन एंड जॉनसन ने अपने एक विज्ञापन में सरकार की प्रयोगशाला टेस्ट रिपोर्ट का हवाला देते हुए प्रदर्शित किया कि यह पाउडर एस्बेस्टस से मुक्त है। डीसीजीआई ने कहा कि किसी भी सरकारी विश्लेषक की किसी जांच रिपोर्ट के आधार पर कोई भी विज्ञापन प्रकाशित करने की औषधि एवं प्रसाधन सामग्री कानून, 1940 की धारा 29 के तहत अनुमति नहीं है।

अमेरिकी कंपनी जॉनसन एंड जॉनसन को यह बात दशकों से पता थी कि उनके टैल्कम पाउडर में एस्बेस्टस है और एस्बेस्टस से कैंसर का खतरा है। यह खुलासा रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में हुआ है।

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गौरतलब है कि औषधि निरीक्षकों ने पहले भी डीसीजीआई के आदेश पर दिसंबर में देशभर में थोक क्रेताओं, खुदरा विक्रेताओं और वितरकों से कंपनी के विभिन्न बेबी उत्पादों के नमूने जब्त कर लिए थे।

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