Delhi Election: AAP के कई विधायकों ने दिखाए बागी तेवर,टिकट कटने के बाद चुनाव लड़ने का ऐलान
Delhi Election: दिल्ली में आम आदमी पार्टी ने सभी 70 सीटों पर अपने उम्मीदवार घोषित कर दिए हैं जबकि कांग्रेस ने 21 सीटों पर अपने पत्ते खोल दिए हैं।
Delhi Election: दिल्ली के विधानसभा चुनाव में टिकट कटने के बाद आम आदमी पार्टी के कई विधायक बागी तेवर अपनाते हुए दिख रहे हैं। टिकट कटने के बाद आप के चार विधायकों ने चुनाव लड़ने का अपना इरादा खुलकर जाहिर कर दिया है जबकि बाकी कई अन्य विधायक उसी रास्ते पर चलते हुए दिख रहे हैं। जिन विधायकों ने चुनाव लड़ने का ऐलान किया है,उन्होंने अभी तक यह साफ नहीं किया है कि वे निर्दलीय चुनाव मैदान में उतरेंगे या किसी पार्टी के टिकट पर।
दिल्ली में आम आदमी पार्टी ने सभी 70 सीटों पर अपने उम्मीदवार घोषित कर दिए हैं जबकि कांग्रेस ने 21 सीटों पर अपने पत्ते खोल दिए हैं। दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी में अभी भी मंथन का दौर चल रहा है और पार्टी ने अभी तक एक भी सीट पर अपना प्रत्याशी घोषित नहीं किया है। ऐसे में टिकट कटने के बाद आप के कुछ विधायक भाजपा और कांग्रेस में अपना समीकरण साधने की कोशिश में भी जुटे हुए हैं।
चार विधायक बने बागी,कई और दिखा सकते हैं तेवर
आम आदमी पार्टी ने इस बार सत्ता विरोधी रुझान से निपटने और कई क्षेत्रों में विधायकों से नाराजगी को देखते हुए अपने 20 मौजूदा विधायकों का टिकट काट दिया है। इनमें से तीन विधायकों के परिजनों को टिकट दिया गया है जबकि दो विधायकों ने खुद ही चुनाव न लड़ने की इच्छा जताई थी। ऐसे में बाकी बचे 15 विधायकों में से कई बागी तेवर अपनाते हुए दिख रहे हैं। वे किसी भी सूरत में चुनाव मैदान से हटने के लिए तैयार नहीं हैं।
चार विधायकों ने तो टिकट कटने के बावजूद चुनाव लड़ने का खुला ऐलान तक कर दिया है। सियासी जानकारों का मानना है कि कई विधानसभा क्षेत्र में आप के बागी विधायकों के चुनाव लड़ने के कारण पार्टी को सियासी नुकसान उठाना पड़ सकता है। आप से जुड़े सूत्रों का कहना है कि पार्टी ने चुनाव तारीखों के ऐलान से पहले ही इसलिए अपने प्रत्याशी घोषित कर दिए हैं ताकि पार्टी को डैमेज कंट्रोल का मौका मिल सके।
क्षेत्र में कार्यकर्ताओं और समर्थकों से साध रहे संपर्क
अभी तक जिन चार विधायकों ने चुनाव लड़ने का ऐलान किया है,उनमें देवली से प्रकाश जारवाल, जनकपुरी से राजेश ऋषि,कस्तूरबा नगर से मदनलाल और त्रिलोकपुरी से राकेश महरौलिया के नाम शामिल हैं। इन चार विधायकों के अलावा कई और विधायक भी चुप्पी साधे हुए हैं और भीतरी तौर पर अपना समीकरण साधने की कोशिश में जुटे हुए हैं।
टिकट कटने से पहले आप के लिए खुलकर बैटिंग करने वाले इन विधायकों ने आप की पोस्ट को शेयर करना भी बंद कर दिया है। इसे इन विधायकों की नाराजगी से जोड़कर देखा जा रहा है। इन विधायकों से जुड़े सूत्रों का कहना है कि वे लगातार अपने क्षेत्र में समर्थकों और कार्यकर्ताओं के साथ मंथन करने में जुटे हुए हैं और अपनी चुनावी संभावनाएं तलाश रहे हैं।
देवली और जनकपुरी में पार्टी को हो सकता है नुकसान
देवली से आप के टिकट पर तीन बार चुनाव जीतने वाले प्रकाश जारवाल की जगह इस बार पार्टी की ओर से प्रेम कुमार चौहान को चुनावी अखाड़े में उतर गया है। जारवाल ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो डालते हुए खुद के चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है। उन्होंने कहा कि जनता ने हमें चुनाव के दौरान साथ देने का भरोसा दिया है। एक अन्य पोस्ट में उन्होंने कहा कि कोई भी पार्टी हमें जनता की सेवा करने से नहीं रोक सकती। अन्ना आंदोलन के समय से ही आप के साथ रहने वाले जारवाल अब अपनी सियासी राह अलग करते हुए नजर आ रहे हैं।
इसी तरह जनकपुरी विधानसभा क्षेत्र पर मजबूत पकड़ रखने वाले राजेश ऋषि भी चुनाव लड़ने की तैयारी में जुटे हुए हैं। राजेश ऋषि ने 2015 और 2020 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के मजबूत नेता और पांच बार के विधायक जगदीश मुखी को हराया था। उन्होंने आप की बागी सांसद स्वाति मालीवाल के उन ट्वीट्स को भी शेयर करना शुरू कर दिया है जिनमें मालीवाल केजरीवाल पर तीखे हमले करती हैं। वे अपने चुनाव क्षेत्र में विकास के लिए किए गए कामों को भी गिना रहे हैं।
कस्तूरबा नगर और त्रिलोकपुरी में भी बगावत
इसी तरह कस्तूरबा नगर से विधायक मदनलाल ने भी टिकट कटने के बाद बागी तेवर अपना लिया है। आम आदमी पार्टी ने इस बार मदनलाल की जगह रमेश पहलवान को चुनाव मैदान में उतारा है। इसके बाद मदनलाल ने आप का झंडा और निशान भी पूरी तरह त्याग दिया है। वे लगातार जनता के बीच सक्रिय बने हुए हैं जो उनके चुनाव लड़ने के इरादे का संकेत देती है। हालांकि अभी तक यह साफ नहीं हो सका है मदनलाल निर्दलीय चुनाव मैदान में उतरेंगे या किसी पार्टी के टिकट पर।
टिकट कटने के बाद त्रिलोकपुरी विधानसभा सीट से विधायक रोहित कुमार महरौलिया ने भी चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है। वे इतने ज्यादा नाराज है कि उनका कहना है कि वे त्रिलोकपुरी से चुनाव लड़ सकते हैं या नई दिल्ली विधानसभा सीट पर आप मुखिया अरविंद केजरीवाल को भी चुनौती दे सकते हैं। वे भी लगातार अपने क्षेत्र में सक्रिय बने हुए हैं और जनता से एक बार फिर समर्थन देने की अपील कर रहे हैं। जानकारों का कहना है कि इन चारों विधायकों के अलावा आने वाले दिनों में टिकट कटने का शिकार बने कई और आप विधायक भी चुनावी अखाड़े में ताल ठोक सकते हैं।