ICICI Videocon Fraud Case: लोन फ्रॉड मामले में कोचर दंपति को मिली जमानत, कोर्ट ने कही ये बात
ICICI Videocon Fraud Case: दोनों ने अपनी गिरफ्तारी के विरूद्ध हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की थी। जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने कहा, दोनों की गिरफ्तारी कानून के अनुसार नहीं था।
ICICI Videocon Fraud Case: निजी क्षेत्र की दिग्गज बैंक आईसीआईसीआई बैंक की पूर्व सीईओ चंदा कोचर और उनके व्यवसायी पति दीपक कोचर को बॉम्बे हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है। कोचर दंपति को उच्च न्यायलय ने लोन फ्रॉड मामले में जमानत दे दी है। दोनों ने अपनी गिरफ्तारी के विरूद्ध हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की थी। जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने कहा, दोनों की गिरफ्तारी कानून के अनुसार नहीं था। इसलिए इन्हें जमानत दी जा रही है। ऐसे में चंदा और दीपक कोचर का जेल से बाहर आने का रास्ता साफ हो गया है।
सीबीआई ने 23 दिसंबर को चंदा और दीपक कोचर को गिरफ्तार किया था। 24 दिसंबर को स्पेशल कोर्ट ने दोनों को 26 तारीख तक सीबीआई कस्टडी में भेजा। इसके बाद 26 दिसंबर को वीडियोकॉन समूह के संस्थापक वेणुगोपाल धूत को भी गिरफ्तार किया गया। 29 दिसंबर को तीनों को अदालत ने 10 जनवरी तक यानी 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया था।
कोचर दंपति की गिरफ्तारी अवैध – कोर्ट
कोचर दंपति के वकील रोहन दक्षिणी ने बताया कि सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने गिरफ्तारी को अवैध पाया है। जस्टिस रेवती मोहिते डेरे और पीके चव्हाण की बेंच ने कहा कि उनकी गिरफ्तारी कोड ऑफ क्रिमिनल प्रोसीजर (CrPC) के सेक्शन 14ए का उल्लंघन है। इस सेक्शन में कहा गया है कि गिरफ्तारी से पहले पुलिस अधिकारी को एक नोटिस भेजना चाहिए। बेंच ने एक-एक लाख रूपये की जमानत राशि पर दोनों को रिहा करने का आदेश दिया।
कोचर दंपति पर धोखाधड़ी करने का आरोप
यह मामला तब का है जब चंदा कोचर आईसीआईसीआई बैंक की सीईओ हुआ करती थीं। साल 2012 में बैंक ने वीडियोकॉन समूह को 3250 करोड़ रूपये का लोन दिया था। इसमें चंदा के पति दीपक की 50 प्रतिशत हिस्सेदारी थी। जून 2017 में इसे एनपीए यानी नॉन परफॉर्मिंग एसेट घोषित कर दिया गया। सितंबर 2020 में प्रवर्तन निदेशालय ने इस मामले में चंदा कोचर के पति दीपक कोचर को गिरफ्तार भी किया था। इस खेल का पर्दाफाश 2018 में ही हो गया था, जिसके चलते चंदा कोचर को सीईओ का पद छोड़ना पड़ा था। उनके ऊपर अपने पति को फायदा पहुंचाने के आरोप लगे।