Congress Meeting: बिहार में कांग्रेस को नई धार देने की तैयारी, पार्टी नेताओं के साथ आज खड़गे और राहुल की अहम बैठक में होगा मंथन
Congress Meeting: बिहार में कांग्रेस का लंबे समय से लालू प्रसाद यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल के साथ गठबंधन है मगर पार्टी अब राजद की पिछलग्गू बनकर नहीं रहना चाहती।;

Mallikarjun kharge and Rahul Gandhi (photo: social media )
Congress Meeting: बिहार में कांग्रेस अपनी सियासी जमीन को मजबूत बनाने की कोशिश में जुटी हुई है। राज्य में इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव में पार्टी खुद को मजबूती से स्थापित करना चाहती है। इस सिलसिले में आज राजधानी दिल्ली में पार्टी की अहम बैठक होने वाली है। इस बैठक में बिहार में पार्टी को नई धार देने की रणनीति पर चर्चा की जाएगी।
बिहार कांग्रेस की यह महत्वपूर्ण बैठक पहले 12 मार्च को होने वाली थी मगर बाद में इसे टाल दिया गया था। इस बैठक के दौरान राजद समेत अन्य दलों के साथ तालमेल के मुद्दे पर भी चर्चा की जाएगी। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी की मौजूदगी में होने वाली इस बैठक में राज्य कांग्रेस के प्रभारी कृष्णा अल्लावरु और प्रदेश अध्यक्ष राजेश कुमार समेत अन्य सभी वरिष्ठ नेताओं को तलब किया गया है।
अब राजद की पिछलग्गू नहीं रहेगी पार्टी
कांग्रेस ने हिंदी पट्टी के दो सबसे अहम राज्यों उत्तर प्रदेश और बिहार में एक बार फिर मजबूती हासिल करने की कोशिश शुरू कर दी हैं। बिहार में कांग्रेस का लंबे समय से लालू प्रसाद यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल के साथ गठबंधन है मगर पार्टी अब राजद की पिछलग्गू बनकर नहीं रहना चाहती। हाल के दिनों में कांग्रेस ने बिहार पर अपना फोकस बढ़ा रखा है। खास तौर पर लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी बिहार में पार्टी की मजबूती पर खासा जोर दे रहे हैं और इस सिलसिले में वे बिहार का दौरा भी कर चुके हैं।
इसलिए आज होने वाली बैठक को काफी अहम माना जा रहा है। इस बैठक में पार्टी के बिहार प्रभारी कृष्ण अल्लावरु और प्रदेश कांग्रेस के नए अध्यक्ष राजेश कुमार के अलावा सभी सांसदों, विधायकों और पार्टी के प्रदेश स्तरीय अन्य नेताओं को तलब किया गया है। बैठक के दौरान पार्टी के वरिष्ठ नेता विपक्षी महागठबंधन में शामिल अन्य दलों के साथ तालमेल के मुद्दे पर चर्चा करेंगे।
बिहार में कांग्रेस की मजबूती पर राहुल का जोर
बिहार में कांग्रेस को मजबूती से स्थापित करने के लिए पार्टी की ओर से इन दिनों ‘नौकरी दो, पलायन रोको’ यात्रा निकाली गई है। इस यात्रा में पार्टी के युवा नेता कन्हैया कुमार बड़ी भूमिका निभा रहे हैं। हालांकि कांग्रेस नेतृत्व की ओर से कन्हैया कुमार को बढ़ावा देना राजद नेता तेजस्वी यादव को रास नहीं आ रहा है। वहीं पार्टी प्रभारी कृष्ण अल्लावरु भी लगातार बिहार का दौरा करने में जुटे हुए हैं।
कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी इस साल बिहार का दो बार दौरा कर चुके हैं। अपनी यात्रा के दौरान उन्होंने पार्टी को मजबूती से स्थापित करने पर जोर दिया था। माना जा रहा है कि राहुल गांधी के निर्देश के मुताबिक पार्टी के नेता राज्य में पार्टी की सियासी जमीन मजबूत बनाने की कोशिश में जुटे हुए हैं।
राज्य में दलित समीकरण पर पार्टी की निगाहें
पार्टी के शीर्ष नेतृत्व की ओर से पिछले दिनों कुटुंबा के विधायक राजेश कुमार को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद का दायित्व सौंपा गया था। भूमिहार बिरादरी से ताल्लुक रखने वाले अखिलेश प्रसाद सिंह की जगह यह जिम्मेदारी दलित नेता राजेश कुमार को सौंपी गई है। इसे कांग्रेस की ओर से दलित समीकरण साधने की बड़ी कोशिश के रूप में भी देखा जा रहा है।
अखिलेश प्रसाद सिंह को राजद मुखिया लालू प्रसाद यादव का करीबी माना जाता रहा है। ऐसे में माना जा रहा था कि पार्टी राजद के साथ सीटों की दावेदारी को लेकर पूरी मजबूती से बात नहीं कर पाएगी। इस कारण बिहार में किए गए बदलाव को सियासी नजरिए से काफी अहम माना जा रहा है। इसके साथ ही प्रदेश प्रभारी कृष्ण अल्लावरु को भी राहुल गांधी का करीबी माना जाता है। प्रदेश प्रभारी बनने के बाद उन्होंने अभी तक लालू के दरबार में हाजिरी नहीं लगाई है।
कन्हैया कुमार के जरिए युवाओं को जोड़ने की कोशिश
इसके साथ ही पार्टी नेतृत्व की ओर से कन्हैया कुमार को भी बिहार की सियासत में सक्रिय कर दिया गया है। बिहार से ताल्लुक रखने वाले कन्हैया कुमार को राज्य की सियासत में सक्रिय करना भी राहुल गांधी की रणनीति का बड़ा हिस्सा माना जा रहा है। कन्हैया कुमार राज्य की बेगूसराय लोकसभा सीट से चुनाव भी लड़ चुके हैं। हालांकि उस चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।
कन्हैया कुमार के जरिए पार्टी युवा नेताओं को आकर्षित करने की कोशिश में डटी हुई है। कन्हैया कुमार ने ‘नौकरी दो,पलायन रोको’ नामक पदयात्रा निकाल रखी है और इस यात्रा के जरिए वे युवाओं को कांग्रेस से जोड़ने की कोशिश में जुटे हुए हैं।
कन्हैया कुमार की इस पदयात्रा को विभिन्न जिलों में काफी सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली है। इसके साथ ही पार्टी की ओर से पूर्णिया के निर्दलीय सांसद पप्पू यादव को भी आने वाले दिनों में बड़ी जिम्मेदारी सौंपी जा सकती है। आज की बैठक के दौरान इन मुद्दों पर गहराई से मंथन होने की संभावना है।