Jharkhand: मंत्री के पीएस के नौकर के घर से मिला नोटों का खजाना, बीजेपी ने साधा निशाना

Jharkhand ED Raid: ईडी ने रांची में कई ठिकानों पर छापेमारी की है। वीरेंद्र राम मामले में झारखंड के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के पीएस-संजीव लाल के घरेलू सहायक से भारी मात्रा में नकदी बरामद हुई।

Written By :  Ashish Kumar Pandey
Update:2024-05-06 11:21 IST

Ed action in Jharkhand   (photo: social media )

Jharkhand ED Raid: लोकसभा चुनावों के बीच प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) का ताबड़तोड़ कार्रवाई चल रही है। ईडी ने झारखंड के रांची में कई ठिकानों पर छापेमारी कर बड़े पैमाने पर कैश बरामद किया है। ईडी ने राज्य सरकार में ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के निजी सचिव संजीव लाल के नौकर के घर से ईडी ने भारी कैस जब्त की है। सूत्रों के मुताबिक, नकदी 20 से 30 करोड़ रुपये के बीच होने का अनुमान है। ईडी ने नोट गिनने वाली मशीनें मंगाई है।

ईडी ने कुछ योजनाओं के कार्यान्वयन में कथित अनियमितताओं से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में फरवरी 2023 में झारखंड ग्रामीण विकास विभाग के मुख्य अभियंता वीरेंद्र के. राम को गिरफ्तार किया था।

ईडी का मानना है कि यह काली कमाई का हिस्सा है।

दरअसल ईडी 10 हजार रुपये रिश्वत के मामले की जांच चल रही थी और उसी दौरान ईडी को कुछ ऐसी कड़ियां मिली जिसके तार मंत्री तक जुड़ते नजर आए। ईडी को जानकारी मिली थी कि आलमगीर आलम के मंत्रालय में भ्रष्टाचार चल रहा था और ये पैसा नौकरों के घर पर जा रहा था। इसके बाद ईडी ने आलमगीर के निजी सचिव के नौकर के घर पर छापेमारी की और वहां इतना कैश देखकर ईडी भी हैरान रह गई।

बता दें कि कुछ दिन पहले ही पीएम मोदी जब झारखंड में चुनावी रैली कर रहे थे तो उन्होंने भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाया था और उनकी रैली के कुछ दिन बाद ही यह कार्रवाई हुई है जिसमें बड़ी मात्रा में कैश मिला है।

बीजेपी सांसद ने बोला हमला, कही ये बात-

वहीं बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने इसे लेकर कांग्रेस पर हमला करते हुए कहा, काउंटिंग होने दीजिए ये गिनती 50 करोड़ तक जाएगी। पूरी झारखंड सरकार गले तक भ्रष्टाचार में डूबी हुई है।

जब कांग्रेस सांसद के यहां से मिला 350 करोड़ से अधिक कैश-

बता दें कि दिसंबर 2023 में भी झारखंड में बड़ी संख्या में कैश बरामदगी हुई थी। कांग्रेस के राज्यसभा सांसद और कारोबारी धीरज साहू के ठिकानों से आईटी ने 350 करोड़ से ज्यादा कैश बरामद किया था। इस पर उन्होंने प्रतिक्रिया देते हुए कहा था कि छापेमारी में जो कैश बरामद किया गया है, वो मेरी शराब की कंपनियों का है। शराब का कारोबार नकदी में ही होता है और इसका कांग्रेस पार्टी से कोई लेना-देना नहीं है।

जब आलमगीर ने किया था साहू का बचाव

तब बीजेपी विधायकों ने कहा था कि धीरज साहू ने ये संपत्ति झारखंड के संसाधनों का दोहन और गरीबों का हक मार कर एकत्रित की है। बीजेपी विधायक विधानसभा में अपने-अपने गले में प्लेकार्ड पहनकर आए थे, जिस पर लिखा था कि कांग्रेस का काला साम्राज्य। उस समय आलमगीर आलम ने धीरज साहू का बचाव किया था। आलम ने साहू का बचाव करते हुए कहा कि ये मामला विधानसभा का नहीं है, बीजेपी अपनी राजनीति चमकाने के लिए विधानसभा को बतौर प्लेटफॉर्म यूज कर रही है, जो ठीक नहीं है। न तो आईटी ने अभी तक कोई बयान दिया है। वैसे भी पैसे सिर्फ धीरज साहू के नहीं हैं, बल्कि उनके व्यवसाई परिवार के हैं।

जानिए कौन हैं आलमगीर आलम

आलमगीर आलम पाकुड़ विधानसभा से कांग्रेस के चार बार विधायक रहे हैं और अभी राज्य सरकार में संसदीय कार्य और ग्रामीण विकास मंत्री हैं। इससे पहले आलम 20 अक्टूबर 2006 से 12 दिसंबर 2009 तक झारखंड विधानसभा अध्यक्ष भी रहे थे। विरासत में राजनीति मिलने के बाद आलमगीर ने सरपंच का चुनाव जीतकर राजनीति में प्रवेश किया। 2000 में पहली बार वह विधायक बने और तब से लेकर अभी तक 4 बार विधानसभा का चुनाव जीत चुके हैं और विधायक बनते रहे हैं।

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