Jharkhand Doctors Strike: झारखंड के डॉक्टर आज से हड़ताल पर, इमरजेंसी सेवाएं भी बंद, ये है पूरा मामला?
Jharkhand Doctors Strike: संगठन की ओर कहा गया है कि आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करने और गिरफ्तार करने का 21 सितंबर तक अल्टीमेटम दिया गया था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई, इसीलिए सभी डॉक्टरों ने एकजुट होकर अनिश्चितकाली हड़ताल पर जाने का फैसला किया है।
Jharkhand Doctors Strike: आईएमए और झारखंड राज्य स्वास्थ्य सेवा संघ (झासा) के आवाहन पर प्रदेश के सभी सरकारी और गैर सरकारी डॉक्टरों ने आज शुक्रवार (22 सितंबर) से अनिश्तिकालीन कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया है। हड़ताल के दौरान राज्य में इमरजेंसी सेवाएं भी बंद रहेंगी, जिसके कारण राज्य में आज से परेशानियां बढ़ने वाली हैं। मरीज अब भगवान भरोसे हो गए हैं। दरअसल, जमशेदपुर के महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) मेडिकल कॉलेज अस्पताल में पीजी छात्र डॉक्टर कमलेश उरांव के साथ हुई मारपीट की घटना को आईएमए ने गंभीरता से लिया है। प्रदेश के आईएमए के सचिव डॉक्टर प्रदीप सिंह ने कहा कि प्रदेश लगातार डॉक्टरों के साथ हो रही मारपीट की घटना को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
प्रदेश के आईएमए के सचिव ने कहा कि डॉक्टर अस्पतालों में तो पहुंचेगे, लेकिन किसी को परामर्श नहीं देंगे। साथ ही सरकारी और निजी अस्पतालों में सभी इमरजेंसी सेवाएं भी बंद रहेंगी। डॉक्टरों ने आज सुबह छह बजे से ही कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया है।
ये है पूरा मामला?
आपको बता दें कि जमशेदपुर के साकची थाने में दर्ज शिकायत में डॉक्टर की ओर से बताया गया है कि शिशु विभाग में इलाजरत अन्नू प्रधान की स्थिति काफी गंभीर थी। परिजनों को लगातार अपडेट दिया जा रहा था, बच्ची की मौत की बाद 10 से 15 लोग आईसीयू में घुस गए। इन लोगों ने गाली गलौज देते हुए पीजी मेडिकल के छात्र डॉ. कमलेश उरांव के साथ मारपीट की। जिसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था।
डॉक्टरों की ये हैं मांगे
डॉक्टरों की मांग है कि सभी दोषियों को बिना देरी किए गिरफ्तार किया जाए और उनके खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की जाए। सभी मेडिकल कॉलेज में प्रतिनियुक्ति प्रशासनिक अधिकारी को हटाया जाए और पहले की तरह मेडिकल कॉलेज की देखरेख का अधिकार निदेशक, अधीक्षक और डीन के जिम्मे किया जाए। इसके अलावा मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट लागू किया जाए।