नई दिल्ली: पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने एक बार फिर से पलटवार किया है। इस बार उन्होंने जवाब पीएम मोदी की अर्थव्यवस्था पर दी गयी सफाई के बाद दिया है। उन्होंने कहा कि मैं शल्य नहीं भीष्म हूं, भीष्म तो नहीं बोले थे लेकिन मैं बोलूंगा और अर्थव्यवस्था का चीरहरण नहीं होने दूंगा।
यह भी पढ़ें...मुंबई पुलिस की एडवाइजरी: बारिश में फंसें हैं तो हमें कॉल या ट्वीट करें
बतादे, बुधवार को द इंस्टीट्यूट ऑफ कंपनी सेक्रेटरीज ऑफ इंडिया (ICSI) के गोल्डन जुबली समारोह में पीएम ने अर्थव्यवस्था पर सवाल उठाने वालों को निराशावादी बताते हुए शल्य से उनकी तुलना की थी। शल्य महाभारत के युद्ध के दौरान कर्ण का सारथी था। जो युद्ध के दौरान कर्ण को हतोत्साहित करते थे।
यशवंत सिन्हा ने कहा, ”महाभारत में हर प्रकार के चरित्र हैं, शल्य भी उनमें से एक हैं। शल्य कौरवों की ओर कैसे शामिल हुए इसकी कहानी सबको पता है। दुर्योधन ने उन्हें ठग लिया था। शल्य नकुल और सहदेव के मामा थे। वो पांडवों के साथ लड़ना चाहते थे लेकिन ठगी का शिकार हो गए।”
उन्होंने कहा कि महाभारत में ही एक अन्य चरित्र हैं भीष्म पितामाह। भीषण पितामाह पर आरोप है कि जब द्रौपदी का चीर हरण हो रहा था तब वो खामोश रह गए। अब अगर अर्थव्यवस्था का चीर हरण होगा तो मैं बोलूंगा।”
यह भी पढ़ें...मुंबई पुलिस की एडवाइजरी: बारिश में फंसें हैं तो हमें कॉल या ट्वीट करें
यशवंत सिन्हा ने कहा, ”मुझे पता नहीं था कि मेरी बात का जवाब देने के लिए प्रधानमंत्री खुद सामने आ जाएंगे। आंकड़ों का खेल खतरनाक होता है। एक आंकड़ें से आप कुछ साबित करेंगे उसी आंकड़े से मैं दूसरी बात साबित कर दूंगा। इसलिए आंकड़े पर नहीं जमीनी हकीकत देखिए।”
पूर्व वित्त मंत्री ने यूपीए सरकार की नाकामी गिनाने वाले पीएम के बयान पर कहा, ”2019 में जब हम चुनाव में जाएंगे तो लोग हमारी तुलना यूपीए से नहीं करेंगे। वो उन वादों के बारे में पूछेंगे जो हमने किए थे। लोग पूछेंगे कि उन वादों का क्या हुआ। झब हम चुनाव में जाएंगे तो प्रधानमंत्री की तरह एक तरफा संवाद नहीं होगा, लोग सवाल पूछेंगे।”
बतादे, प्रधानमंत्री ने कहा था कि पिछली सरकार के 6 साल में 8 बार ऐसे मौके आए जब विकास दर 5.7 प्रतिशत या उससे नीचे गिरी।