राजस्थान: एसओजी के हाथ लगी बड़ी कामयाबी, ऑडियो टेप जांच में पाई गई सही

राजस्थान की राजनीति से जुड़ी बड़ी खबर सामने आई है। मामला राजस्थान में विधायकों की खरीद-फरोख्त से जुड़ा हुआ है। एसओजी ने ऑडियो टेप की एफएसएल जांच करवाई थी, जो सही पाई गई है और इसमें किसी तरह की छेड़छाड़ नहीं की गई है।

Update: 2020-08-01 06:16 GMT

जयपुर: राजस्थान की राजनीति से जुड़ी बड़ी खबर सामने आई है। मामला राजस्थान में विधायकों की खरीद-फरोख्त से जुड़ा हुआ है।

एसओजी ने ऑडियो टेप की एफएसएल जांच करवाई थी, जो सही पाई गई है और इसमें किसी तरह की छेड़छाड़ नहीं की गई है।

बताया जा रहा है कि अब एसओजी की तरफ से मजिस्ट्रेट कोर्ट में अर्जी दायर कर कहा गया है कि आगे की जांच के लिए केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह और कांग्रेस विधायक भंवरलाल शर्मा के वाइस सैम्पल की जांच जरूरी है।

जबकि कोर्ट में संजय जैन ने आवाज के नमूने देने से यह कहते हुए मना कर दिया कि यह राजनीतिक मामला है और मुझे जांच एजेंसियों पर भरोसा नहीं है। आवाज के नमूने का गलत प्रयोग कर मुझे फंसाया जा सकता है।

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इस मामले में एसओजी का कहना है कि, वायरल ऑडियो एफएसएल जांच के लिए 28 जुलाई को भेजा गया था जिसकी परीक्षण रिपोर्ट शुक्रवार को आ गई है।

एसओजी ने कोर्ट से कहा है कि नोटिस देने के बावजूद राजेंद्र सिंह और भंवर लाल शर्मा वॉयस सैंपलिंग के लिए नहीं आ रहे हैं इसलिए कोर्ट आदेश दे कि आगे की जांच के लिए वे अपना वॉयस सैंपल एसओजी को उपलब्ध कराये।

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हाईकोर्ट के फैसले ने बदली तस्वीर

राजस्थान हाईकोर्ट के फैसले के बाद राजस्थान के सियासी संकट ने नई करवट ले ली है। गहलोत भी इस बात को बखूबी समझ चुके हैं कि जब तक विधानसभा का सत्र नहीं चलेगा तब तक वह और कांग्रेस सचिन पायलट और उनके समर्थक 18 विधायकों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर सकेंगे। इसी कारण स्पीकर सीपी जोशी ने भी सुप्रीम कोर्ट से याचिका वापस ले ली है और कांग्रेस ने पूरे मामले को सियासी आधार पर लड़ने का फैसला ले लिया है।

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