लखनऊ: अखिलेश यादव की सरकार के कभी कद्दावर मंत्री रहे आजम खान की जौहर यूनिवर्सिटी पर संकट के बादल घिरने लगे हैं। इलाहाबाद राजस्व परिषद ने शुक्रवार (8 दिसंबर) को जौहर यूनिवर्सिटी पर नोटिस चस्पा किया। नोटिस में अपना पक्ष रखने को कहा गया है। बता दें, कि जांच के बाद डीएम ने राजस्व परिषद में वाद दायर कराया था, जिसके बाद ऐसा हुआ।
बताया जाता है कि जौहर यूनिवर्सिटी में करीब 14 एकड़ चकरोड की जमीन है। यह जमीन ग्राम पंचायत सींगनखेड़ा के रकवे की है। इसी मुद्दे पर इंडियन इंडस्ट्रीज एसोसिएशन की तरफ से मुख्यमंत्री से शिकायत की गई थी। सीएम कार्यालय ने रामपुर के डीएम को जांच कराने के लिए लिखा था। जांच में यूनिवर्सिटी में चकरोडों की जमीन पर कब्जा की बात सामने आई है। इस जमीन का रकवा करीब 14 एकड़ का है। इस पर डीएम ने राजस्व परिषद में 26 अक्टूबर को जौहर यूनिवर्सिटी और आजम खान के खिलाफ वाद दायर कराया था।
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इससे पहले, राजस्व परिषद ने जौहर यूनिवर्सिटी के संस्थापक आजम खान को नोटिस जारी किया था, लेकिन नोटिस तामील नहीं हुई। इसके बाद शुक्रवार को कमिश्नर के आदेश पर तहसील प्रशासन ने उस नोटिस को जौहर यूनिवर्सिटी के गेट पर चस्पा करा दिया। साथ ही इसकी वीडियोग्राफी भी कराई। ताकि इसका साक्ष्य रखा जा सके। नोटिस में परिषद ने आजम खान से अपना पक्ष रखने को कहा गया है। इस मामले की सुनवाई 20 दिसंबर को होगी।
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